निजी अस्पताल में दोबारा कोरोना संक्रमित होने का पहला मामला सामने आया
जीएसटी के दोषपूर्ण कार्यान्वयन ने अर्थव्यवस्था सर्वनाश की : राहुल
देश में एक तरफ गिरती इकॉनमी ने जनता की चिंता बढ़ा दी है, वहीं कोरोना के मामले भी लगातार बढ़ रहे हैं। सीमा पर चीन से तनाव अलग से बना हुआ है। कांग्रेस अब इन मसलों पर तेजी से भाजपा सरकार और पीएम मोदी को निशाने पर ले रही है। पार्टी की तरफ से मोदी सरकार के खिलाफ सबसे ज्यादा सक्रिय राहुल गांधी हैं, जो लगातार इन मुद्दों को उठा रहे हैं।
राहुल गांधी ने रविवार को मोदी सरकार पर हमला जारी रखते हुए जीएसटी को लेकर सरकार की कड़ी आलोचना की और कहा इसके दोषपूर्ण कार्यान्वयन ने देश की अर्थव्यवस्था का सर्वनाश कर दिया है, और इसकी सबसे बड़ी मार जनता पर पड़ रही है। राहुल ने अपनी सीरीज के तीसरे वीडियो में कहा – ”यह (जीएसटी) अर्थव्यवस्था के असंगठित क्षेत्र के लिए दूसरा बड़ा आक्रमण है। जीएसटी यूपीए सरकार का आइडिया था। एक टैक्स, सरल टैक्स और साधारण। लेकिन एनडीए ने इसे जटिल बनाकर रख दिया।”
कांग्रेस नेता ने कहा कि एनडीए सरकार की तरफ से लागू जीएसटी में चार अलग-अलग टैक्स हैं और टैक्स भी 28 प्रतिशत तक है। सबसे खराब बात यह है कि यह बहुत जटिल और समझने को बहुत मुश्किल टैक्स है। उन्होंने कहा – ”जो छोटे और मझोले व्यापार वाले हैं, वो इस टैक्स को भर ही नहीं सकते जबकि बड़ी कंपनियां बड़ी आसानी से भर सकती हैं, वे पांच-10 अकाउंटेंट लगा सकती हैं।”
इसके बाद वीडियो में राहुल गांधी ने पूछा – ”देश में ये चार अलग-अलग टैक्स रेट क्यों हैं ? देश में ये चार अलग-अलग टैक्स रेट क्यों हैं ? ये ऐसा इसलिए है क्योंकि सरकार चाहती है कि जिसकी जीएसटी तक पहुंच हो वो इसे आसानी से बदल पाए और जिसकी पहुंच न हो वो जीएसटी के बारे में कुछ न कर पाए। पहुँच किसकी है, हिंदुस्तान के 15-20 उद्योगपतियों की पहुंच है तो वे जो भी टैक्स का कानून वे बदलना चाहते हैं तो वे इस जीएसटी रेजीमे में आसानी से बदल सकते हैं।”
कांग्रेस नेता ने कहा कि यह जीएसटी पूरी तरह से विफल है, यह गरीबों पर और छोटे और मझोले व्यवसायों पर हमला है। जीएसटी एक कर प्रणाली नहीं है, यह भारत के गरीबों पर आक्रमण है। छोटे दुकानदारों, छोटे और मझोले व्यवसायों, किसानों और मजदूरों पर आक्रमण है। राहुल ने कहा कि हमें इस आक्रमण को पहचानना होगा और मिलकर इसके खिलाफ हम सबको खड़े होना होगा।
उन्होंने कहा – ”एनडीए की जीएसटी का नतीजा क्या है? कि आज हिंदुस्तान की सरकार राज्यों को जीएसटी का पैसा ही नहीं दे पा रही है। प्रदेश कर्मचारियों को राज्य पैसा नहीं दे पा रहे हैं।
राहुल गांधी का ट्वीट –
@RahulGandhi
GDP में ऐतिहासिक गिरावट का एक और बड़ा कारण है- मोदी सरकार का गब्बर सिंह टैक्स (GST)। इससे बहुत कुछ बर्बाद हुआ जैसे – लाखों छोटे व्यापार, करोड़ों नौकरियाँ और युवाओं का भविष्य, राज्यों की आर्थिक स्थिति। GST मतलब आर्थिक सर्वनाश। अधिक जानने के लिए मेरा वीडियो देखें।
अभिनेता अर्जुन कपूर कोरोना पॉजिटिव, देश में एक दिन में रेकॉर्ड 90,632 केस
जिस रफ़्तार से देश में कोविड-19 के मामले बढ़ रहे हैं उससे लगता है कि यह जल्दी ही रोजाना एक लाख का आंकड़ा छू लेंगे। उधर इस वायरस से मरने वालों की संख्या भी 70 हजार के पार चली गयी है। उधर खबर है कि अभिनेता अर्जुन कपूर भी कोरोना पॉजिटिव पाए गए हैं।
आज सुबह स्वास्थ्य मंत्रालय की तरफ से जो आंकड़े जारी किये गए हैं उनके मुताबिक अब तक वायरस संक्रमण के एक दिन में पहली बार 90,000 से ज्यादा मामले सामने आए हैं। मंत्रालय के अनुसार सुबह आठ बजे तक पिछले 24 घंटों में (शनिवार सुबह 8 बजे से लेकर रविवार सुबह 8 बजे तक) रेकॉर्ड 90,632 नए मामले सामने आए हैं। कुल संक्रमितों की संख्या अब 41,13,811 हो गई है।
इन 24 घंटों में 1065 मरीजों की मौत हुई है और कुल मृतकों की संख्या 70,626 हो चुकी है। पिछले काफी दिन से हर रोज मरने वालों की संख्या 1000 के आसपास चल रही है, जिससे यह खतरा भी बन रहा है कि भारत में मरने वालों की संख्या एक लाख का दुर्भाग्यपूर्ण आंकड़ा भी छू सकती है।
उधर पिछले 24 घंटों में 73,642 मरीज इस खतरनाक वायरस के संक्रमण से उबर चुके हैं। यह एक दिन में ठीक होने वालों की भी सबसे बड़ी संख्या है। अब तक ठीक होने वाले मरीजों की संख्या 31 लाख के पार जा चुकी है। देश में इस वक्त 8,62,320 सक्रिय मामले हैं।
आंकड़ों बताते हैं कि देश में रिकवरी रेट बढ़ोतरी के साथ 77.32 प्रतिशत पर पहुंच गया है। पिछले दो दिन में ठीक होने वालों की संख्या में भी इजाफा देखने को मिल रहा है। उधर खबर है कि अभिनेता अर्जुन कपूर भी कोरोना पॉजिटिव पाए गए हैं।
मजदूरों ने बताया कि कोरोना बढ़ने का कारण वो नहीं है
जब देश में कोरोना महामारी को लेकर मार्च के आखिरी सप्ताह में लाँकडाउन लगा था, तब रोजी-रोटी कमाने आये मजदूरों को नौकरी जाने के कारण, अपने गांवों में जाने को मजबूर होना पड़ा था। वो भी तब संसाधन व वाहन नहीं थी , पैदल मजदूर अपने घरों में गये थे। अब अनलाँक होने से मजदूर फिर से शहरों में रोजी–रोटी और रोजगार के लिये आने लगे है।
मौजूदा समय में देश में खासकर शहरों में फिर से कोरोना की रफ्तार बढ़ने से अब इन मजदूरों को लोग शक की नजर से देखने लगे और आते –जाते लोग तंज कस रहे है कि कोरोना के मामलों के बढ़ने की जड़ दिल्ली फिर से आ रही है। मजदूरों का कहना है कि वे दिल्ली के पिछडे इलाकों में गरीब वस्तियों में रहते है। गरीबी के मारे है । लेकिन उनको कोरोना जैसी बीमारी नहीं है । फिर अब अफवाहें फैलाई जा रही है कि दिल्ली में बिहार , मध्य-प्रदेश और उत्तर –प्रदेश से जो मजदूर आ रहे है, उससे दिल्ली में कोरोना बढ रहा है। जबकि ये सच्चाई नहीं है।
उत्तर–प्रदेश, मध्य –प्रदेश और बिहार के मजदूरों ने तहलका संवाददाता को बताया कि दिल्ली में कोरोना की जांच चल रही है । जो बीमार हो रहे है। वे गांवों में भी हो रहे है । लेकिन इसका मतलब ये तो नहीं कि जो दिल्ली में रोजी-रोटी के लिये वो ही कोरोना महामारी लेकर आ रहा है। मजदूर भोले सिंह ने बताया कि उनके भाई रमेश को बैक पैन की शिकायत पर दिल्ली सरकार के डीडीयू अस्पताल ले जा रहे थे, तभी कुछ लोगों ने कहा कि बीमारी फैलाने आ गये हो । गरीबी का मारा भोले सिंह सुनता रहा लेकिन उसके भाई रमेश की कहा सुनी हो गयी । मामला इतना बिगड गया बिना इलाज के ही भोला सिंह और रमेश को अपने घर आना पडा।
इसी तरह दिल्ली एनसीआर में तामाम तरह के मामले सामने आ रहे है। मजदूर नेता पीयूष कुमार ने बताया कि ये सरकार की लचर और दोहरी नीतियों का नतीजा है जो आज ऐसे मामले सामने आ रहे है। क्योंकि एक ओर तो सरकार का कहना है कि काम मे तेजी लाओं और वही कुछ लोग इस तरह का वाताबरण पैदा कर रहे है कि कोरोना के बढते मामलों को लेकर मजदूरों को दोषी ठहराकर अपनी गलतियों को छिपाने का प्रयास किया जा रहा है । फिलहाल जो भी हो पर मजदूरों के आने से कोरोना की संख्या नही बढ रही है । लेकिन ये बात बडी जोर- शोर उठाई जा रही है बाहरी लोगों के आने से कोरोना की गति ने जोर पकडा है। ये सब कोरोना से ध्यान भटकाने का खेल है ।
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शौविक चक्रवर्ती और सैमुअल मिरांडा को एनसीबी ने अदालत में पेश किया
सुशांत सिंह राजपूत की संदिग्ध हालात में मौत के मामले में चल रही जांच फिलहाल ड्रग्स के आसपास घूम रही है और इस मामले में नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (एनसीबी) की तरफ से गिरफ्तार किये गए अभिनेत्री रिया चक्रवर्ती के भाई शौविक चक्रवर्ती और सुशांत के हाउस मैनेजर रहे सैमुअल मिरांडा को मुंबई की एक अदालत में शनिवार को पेश किया गया है। उनका 6 दिन का रिमांड एनसीबी ने मांगा है।
शौविक और मिरांडा को एनसीबी ने शुक्रवार की रात गिरफ्तार किया था। एनसीबी की अभी तक की जांच से ड्रग्स का मामला एक दिशा की तरफ बढ़ता दिख रहा है। अभिनेत्री रिया चक्रवर्ती भी सुशांत के मामले में अभी तक ईडी और सीबीआई की पूछताछ का सामना कर चुकी है। इन सभी के गैजेट्स भी जांच एजंसियों ने कब्जे में लिए हैं।
उधर इस समय सीबीआई इस समय सुशांत के घर में उनकी बहन मीतू सिंह, सिद्धार्थ पिठानी और अन्य के साथ सीन रीक्रिएट कर रही है। मीतू सिंह ही सुशांत की मौत के बाद के घर पहुँचने वाले सबसे पहले लोगों में शामिल हैं। मीतू से पहले भी सीबीआई पूछताछ कर चुकी है। सीबीआई सुशांत मामले में अपराध पक्ष की जांच कर रही है। इससे पहले भी सीबीआई सुशांत के घर की गहन जांच कर चुकी है। बता दें एनसीबी टीम शुक्रवार को रिया चक्रवर्ती के घर की तलाशी लेने के लिए पहुंची थी, जिसके बाद शौविक को गिरफ्तार कर लिया गया था।
राजनाथ-फेंघे की मुलाकात के बीच अरुणाचल से चीनी सेना ने पांच 5 भारतीयों का अपहरण किया
उधर मॉस्को में भारत के रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और चीन के रक्षा मंत्री वेई फेंघे की मुलाकात के बीच यह सनसनीखेज खबर सामने आयी है कि अरुणाचल प्रदेश से चीनी सेना पीएलए ने सीमा क्षेत्र से 5 भारतीयों का अपहरण कर लिया है। अरुणाचल प्रदेश के कांग्रेस विधायक निनॉन्ग एरिंग ने इसका दावा किया है। उधर मॉस्को में राजनाथ और फेंघे की मुलाकात में चीनी रक्षा मंत्री ने बातचीत की मेज पर बहुत सकरात्मक रुख नहीं दिखाया है और आरोप लगाया है कि गलवान में मुठभेड़ और सीमा पर तनाव के लिए भारत जिम्मेदार है। इस बीच अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने भी कहा है कि दोनों देशों के बीच शांति के लिए अगर वह (अमेरिका) कोई रोल अदा कर सके तो उन्हें खुशी होगी।
अरुणाचल प्रदेश से 5 भारतीय युवाओं के अपहरण की खबर विचलित करने वाली है। वहां सीमा क्षेत्र सुबनसिरी जिले में चीनी सेना ने इन भारतीयों को अगवा किया है। एक ट्वीट में क्षेत्र के विधायक कांग्रेस के निनॉन्ग एरिंग ने इसका खुलासा किया है। उन्होंने अपने इस ट्वीट में #CCPChina और @PMOIndia को भी टैग किया है।
एरिंग ने दावा किया है कि ऊपरी सुबनसिरी जिले के रहने वाले इन पांच लोगों का कथित तौर पर चीन की पीपुल्स लिबरेशन आर्मी ने अपहरण किया है। एक ट्वीट में उन्होंने इसका दावा किया और कहा कि कुछ महीने पहले भी इसी तरह की घटना हुई थी। ट्वीट में विधायक ने मांग की है कि चीनी सेना को इसका जवाब दिया जाना चाहिए।
यह खबर तब आई है जब रूस के दौरे पर गए भारत के रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह की चीन के रक्षा मंत्री वेई फेंघे से करीब 2 घंटे 20 मिनट तक मुलाकात हुई है। माना जा रहा है कि रूस दोनों देशों के बीच तनाव कम करने की कोशिश कर रहा है। हालांकि, इस मुलाकात से कोई बहुत सकारात्मक संकेत सामने नहीं आए हैं। रिपोर्ट्स के मुताबिक बातचीत की मेज पर चीनी रक्षा मंत्री ने यहाँ तक कहा कि ‘चीन की सेना किसी भी मुकाबले का सामना करने को तैयार है’।
रिपोर्ट्स के मुताबिक भारत के रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने इस मुलाक़ात में साफ़ शब्दों में कहा कि उन्हें उम्मीद है कि चीन एक जिम्मेदार राष्ट्र जैसा रवैया दिखाएगा और लद्दाख में एलएसी पर तैनात अपनी सेना को पूरी तरह से वापस करने के लिए कदम उठाएगा। भारत ने कहा कि चीन को कोई भी ऐसा कदम नहीं उठाना चाहिए जिससे दोनों देश के रिश्ते और बिगड़ें।
हालांकि, चीन के रक्षा मंत्रालय ने कहा है कि इस बैठक में चीनी रक्षा मंत्री वेई फेंघे ने कहा कि बॉर्डर से जुड़े मुद्दों की वजह से दोनों देशों और दोनों सेनाओं के बीच रिश्ते बुरी तरह से प्रभावित हुए हैं। चीन ने कहा कि विवादों को बातचीत और संपर्कों के जरिए सुलझाने के लिए राष्ट्रपति शी जिनपिंग और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बीच सहमत हुए मुद्दों को गंभीरता से लागू करना चाहिए। बैठक में रक्षा सचिव अजय कुमार और रूस में भारत के राजदूत डी बी वेंकटेश वर्मा भी उपस्थित थे।
इस बीच अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने भी दोनों कहा है कि दोनों देशों के बीच शांति के लिए अगर वह (अमेरिका) कोई रोल अदा कर सके तो उन्हें खुशी होगी।
कांग्रेस विधायक एरिंग का ट्वीट
Ninong Ering
@ninong_erring
SHOCKING NEWS: Five people from Upper Subansiri district of our state Arunachal Pradesh have reportedly been ‘abducted’ by China’s People’s Liberation Army (PLA). Few months earlier,a similar incident happened. A befitting reply must be given to #PLA and #CCPChina.
@PMOIndia
पायलट का मोदी सरकार पर हमला, बोले अर्थव्यवस्था पुनर्जीवित करने का उसके पास कोई रोड मैप नहीं
कांग्रेस नेता और राजस्थान के पूर्व उपमुख्यमंत्री सचिन पायलट ने मोदी सरकार पर करारा हमला करते हुए शुक्रवार को कहा कि केंद्र सरकार के पास अर्थव्यवस्था को पटरी पर लाने की कोई योजना और खाका नहीं है। उन्होंने कहा कि जीडीपी के जो आंकड़े कुछ दिन पहले सामने आये हैं, वे बहुत चौंकाने वाले हैं लेकिन ऐसा लगता है कि मोदी सरकार इसकी कोई चिंता नहीं है।
रिपोर्ट्स के मुताबिक सचिन पायलट, जो नाराजगी के बाद राहुल-प्रियंका गांधी के हस्तक्षेप से फिर कांग्रेस की मुख्य धारा में लौटे हैं ने मीडिया के लोगों से कहा – ”मैं बहुत चिंतित हूं। सबको मालूम है कि अर्थव्यवस्था में गिरावट तो हो रही है लेकिन चिंता मुझे इस बात की है कि गिरावट रूकने के बाद एक अर्थव्यवस्था को पुनर्जीवित करने के लिये केंद्र सरकार के पास कोई रोड मैप तैयार नहीं है।”
कांग्रेस नेता ने कहा कि अभी तक सिर्फ घोषणाएं (मोदी सरकार की तरफ से) हो रही हैं। इतने महीने निकल गये। प्रोत्साहन की घोषणाएं वित्तमंत्री ने कीं लेकिन धरातल पर छोटे उद्योगपतियों को, कारखाने चलाने वालों को, मध्यमवर्ग और वेतनभोगी श्रेणी के लोगों को आर्थिक मदद नहीं पहुंच रही है। पायलट कहा – ”जीडीपी के आंकड़े बहुत चौंकाने वाले हैं लेकिन इसके भविष्य की जो कार्ययोजना है उसके बारे में केन्द्र सरकार को है न तो चिंता है और न ही उसने कोई ठोस नीति अभी तक बनाई है।”
पायलट ने कहा कि अर्थव्यवस्था में सुधार के लिये सरकार को एक सर्वदलीय बैठक बुलानी चाहिए और अर्थव्यवस्था को पुर्नजीवित करने के लिये क्या कर सकते हैं इस पर सबकी राय लेनी चाहिए।” संसद सत्र के दौरान प्रश्नकाल नहीं करवाने पर उन्होंने कहा – ”सवाल पूछना सबसे बड़ा अधिकार होता है एक सांसद का। आप उसको छीन रहे हैं तो फिर संसद चलाने का मतलब क्या है। केंद्र सरकार का यह गलत निर्णय है और उसे इसपर पुनर्विचार करना चाहिए।”
ड्रग्स मामले में कन्नड़ अभिनेत्री के आवास पर छापे
राजनाथ की आज चीनी रक्षा मंत्री से मुलाकात संभव ; सेना प्रमुख नरवणे ने कहा सीमा पर स्थिति है नाजुक
भारत और चीन के बीच सीमा पर तनाव जारी है और इस बीच सेनाध्यक्ष जनरल मनोज मुकुंद नरवणे लेह के दो दिन के दौरे पर पहुंचे हैं। दौरे के पहले दिन नरवणे ने शुक्रवार कहा कि वास्तविक नियंत्रण रेखा पर तनाव बरकरार है और स्थिति बहुत ही नाजुक और गंभीर है। सेना प्रमुख ने कहा कि देश के जवानों का मनोबल काफी ऊंचा है और वो हर तरह की परिस्थिति से निपटने के लिए तैयार हैं। उधर रूस के दौरे पर गए भारत के रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह के आज चीनी रक्षा मंत्री जनरल वी फेंघे से मुलाकात की संभावना है।
सेना प्रमुख नरवणे ने कहा कि अभी वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पर स्थिति तनावपूर्ण है और हालात बहुत नाजुक हैं। उन्होंने साथ ही कहा – ”लेकिन इस बीच लगातार हम बातचीत करने पर विचार कर रहे हैं। फिलहाल सीमा पर सुरक्षा के पूरे इंतजाम किए गए हैं।”
सेनाध्यक्ष ने शुक्रवार लेह पहुँचाने पर कहा – ”मैंने लेह पहुंचने के बाद विभिन्न स्थानों का दौरा किया। अधिकारियों, जेसीओ से बात की और तैयारियों का जायजा लिया। जवानों का मनोबल ऊंचा है और वे सभी चुनौतियों से निपटने के लिए तैयार हैं। एलएसी पर स्थिति तनावपूर्ण है और स्थिति नाजुक और गंभीर है। स्थिति को ध्यान में रखते हुए, हमने अपनी रक्षा और सुरक्षा के लिए एहतियाती कदम उठाए हैं ताकि हमारी सुरक्षा और अखंडता की रक्षा हो सके। हम बातचीत के जरिए स्थिति से निपटेंगे।”
सेनाध्यक्ष ने कहा कि जवान पूरी तरह से सक्षम हैं। उनका मनोबल ऊंचा है और वे किसी भी स्थिति से निपटने के लिए पूरी तरह तैयार हैं। मैं फिर से दोहराना चाहूंगा कि हमारे अधिकारी और जवान दुनिया में सबसे अच्छे हैं। वे न केवल सेना को बल्कि देश को भी गौरवान्वित करेंगे।
इस बीच पूर्वी लद्दाख में बढ़ रहे तनाव के बीच रूस के दौरे पर भारत के रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह की आज चीनी रक्षा मंत्री वी फेंघे से मुलाकात होने की संभावना है। रिपोर्ट्स में बताया गया है कि राजनाथ शुक्रवार शाम मॉस्को में चीनी रक्षा मंत्री वी फेंघे के साथ शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) के एक मंत्रिस्तरीय बैठक के मौके पर बातचीत कर सकते हैं। अभी तक की ख़बरों के मुताबिक यह बैठक होने की काफी ज्यादा संभावना है। रिपोर्ट्स के मुताबिक चीनी रक्षा मंत्री फेंघे ने बैठक से इतर राजनाथ सिंह से मिलने की इच्छा जताई की है।