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लखीमपुर हत्याकांड में मुख्य आरोपी आशीष से शुरू हुई पूछताछ, लगी है धारा 302

लखीमपुर खीरी में किसानों को वाहन से कुचलकर मार देने की घटना में मुख्य आरोपी केंद्रीय गृह राज्यमंत्री अजय मिश्रा टेनी का बेटा आशीष मिश्रा अब से कुछ देर पहले लखीमपुर खीरी में क्राइम ब्रांच दफ्तर पहुंच गया है और उससे पूछताछ शुरू हो गयी है। मुख्य आरोपी का कलमबद्ध ब्यान दर्ज करने के लिए वहां पुलिस अधिकारियों के अलावा मजिस्ट्रेट भी उपस्थित हैं। बता दें किसानों के हत्याकांड मामले में आशीष मिश्रा के खिलाफ धारा 302 जैसी गंभीर धाराएं लगाई गयी हैं। यदि अधिकारी आशीष के जवाबों से संतुष्ट नहीं होते हैं तो उसे गिरफ्तार करके अदालत में पेश किया जा सकता है।

क्राइम ब्रांच के दफ्तर के बाहर सुरक्षा के कड़े इंतजाम किये गए हैं। आशीष के घर पेशी के लिए पुलिस को दो बार नोटिस चस्पा करना पड़ा था। हिंसा के मुख्य आरोपी आशीष मिश्रा से क्राइम ब्रांच में अब पूछताछ जारी है। केंद्रीय मंत्री के बेटे पर किसानों को कुचलने का आरोप है। केंद्रीय मंत्री अपने बेटे को इस मामले में निर्दोष बताते रहे हैं। उधर आशीष के समर्थक दफ्तर के बाहर बड़ी संख्या में मौजूद हैं। आशीष के वकील और मंत्री पिता भी साथ हैं।

बता दें आशीष को सुबह 11 बजे पेश होना था, लेकिन वह करीब 20 मिनट पहले ही क्राइम ब्रांच के दफ्तर पहुंच गया। पहले मीडिया में आशीष मिश्रा के फरार होने की रिपोर्ट्स भी आई थीं। उसके वकील ने आज बताया कि आशीष मिश्रा तय समय पर पुलिस के सामने पेश होंगे। पहले अजय मिश्रा ने अपने बेटे को ‘निर्दोष’ बताते हुए शुक्रवार को उसके ‘अस्वस्थ’ होने की बात कही थी।

इस बीच सीएम योगी ने कहा है कि किसी को भी कानून हाथ में लेने की छूट नहीं है।  लेकिन ‘किसी दबाव में भी कोई कार्रवाई नहीं होगी’। योगी ने कहा, ‘लखीमपुर खीरी की घटना दुखद और दुर्भाग्यपूर्ण है। सरकार उसकी तह तक जा रही है। लोकतंत्र में हिंसा का कोई स्थान नहीं है, जब कानून सबको सुरक्षा प्रदान करने की गारंटी दे रहा है, तो किसी को भी अपने हाथ में कानून लेने का अधिकार नहीं है, चाहे वह कोई भी हो।’

भारत-चीन के बीच फिर हुआ टकराव, कई घंटे रहा तनाव 

लम्बे अंतराल के बाद भारत और चीन के बीच फिर बड़ा तनाव देखने को मिला है। अरुणाचल सेक्टर में भारत और चीन के सैनिक आमने-सामने आ गए। दोनों देशों के सैनिकों में यह टकराव पिछले हफ्ते हुआ और कई घंटे चला। रिपोर्ट्स के मुताबिक अब मसला फिलहाल सुलझा लिया गया है।

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक पिछले हफ्ते अरुणाचल सेक्टर में भारत और चीन के सैनिक आमने-सामने आ गए। यह टकराव चीन के सैनिकों की पेट्रोलिंग के दौरान हुआ और इसमें दोनों देशों के सैनिक बाकायदा आपस में भिड़ गए।

यह टकराव काफी घंटों तक चला। बाद में इसे बातजीत से प्रोटोकॉल के तहत सुलझाया गया। दोनों पक्षों को इस टकराव में कोई जानी नुकसान नहीं हुआ। इस विवाद के पीछे कारण सीमा को लेकर बनी ग़लतफ़हमी थी। भारत और चीन के बीच सीमा का औपचारिक रूप से सीमांकन नहीं हुआ है, लिहाजा दोनों देशों के सैनिक धारणा के आधार पर गश्त लगाते हैं।
गलवान घाटी में पिछले साल दोनों देशों के बीच हुई खूनी भिड़ंत के बाद लगातार तनाव बना हुआ है, हालांकि इस मामले में कई दौर के बातचीत हो चुकी है।

सुप्रीम कोर्ट की लखीमपुर ममले में यूपी सरकार को कड़ी फटकार

सर्वोच्च न्यायालय ने शुक्रवार को लखीमपुर खीरी हत्याकांड पर उत्तर प्रदेश सरकार को कड़ी फटकार लगाई है। सुप्रीम कोर्ट ने सरकार से पूछा कि आरोप 302 का है तो गिरफ्तारी क्यों नहीं हुई। कोर्ट ने सरकार से कहा कि आप उसे भी वैसे ही ट्रीट करें जैसे बाकी मर्डर केस में आरोपी के साथ किया जाता है। बता दें इस मामले में मुख्य आरोपी केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा का पुत्र आशीष मिश्रा है जिसके खिलाफ एफआईआर दर्ज है लेकिन उसकी गिरफ्तारी आज तक नहीं हुई है। इस मामले पर अगली सुनवाई अब 20 अक्टूबर को होगी।

लखीमपुर खीरी हिंसा मामले पर आज सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने पुलिस के सामने आरोपी के पेश होने पर दो टूक कहा कि 302 के आरोप में ये नहीं होता कि प्लीज आ जाएं। नोटिस किया गया है कि प्लीज आइए। प्रधान न्यायाधीश एनवी रमना ने कहा कि ‘मौके पर चश्मदीद गवाह हैं। हमारा मत है कि जहां 302 का आरोप है वह गंभीर मामला है और आरोपी के साथ वैसा ही व्यवहार होना चाहिए जैसे बाकी मामलों में ऐसे आरोपी के साथ होता है। क्या बाकी केस में आरोपी को नोटिस जारी किया जाता है कि आप प्लीज आ जाइए?’

यूपी सरकार के वकील साल्वे ने कहा कि आरोप लगाया गया था कि गोली मारी गई है लेकिन गोली की बात पोस्टमॉर्टम में नहीं है। चीफ जस्टिस ने कहा कि क्या ये ग्राउंड है कि आरोपी को न पकड़ा जाए? साल्वे बोले कि नहीं केस गंभीर है। प्रधान न्यायाधीश ने इस पर कहा कि ‘गंभीर केस है, लेकिन केस को वैसे नहीं देखा जा रहा है। हम समझते हैं कि इस तरह से कार्रवाई नहीं होनी चाहिए। कथनी और करनी में फर्क नजर आ रहा है।’

प्रधान न्यायाधीश ने कहा कि साधारण स्थिति में 302 यानी मर्डर केस में पुलिस क्या करती है? वह आरोपी को गिरफ्तार करती है। जस्टिस सूर्यकांत ने कहा कि आरोपी कोई भी हो, कानून को अपना काम करना चाहिए। साल्वे ने कहा कि जो भी कमी है कल तक ठीक हो जाएगी। सर्वोच्च अदालत ने उत्तर प्रदेश सरकार को एक वैकल्पिक एजेंसी के बारे में अदालत को अवगत कराने के लिए कहा है जो मामले की जांच कर सकती है।

आज की सुनवाई में लखीमपुर खीरी मामले पर प्रधान न्यायधीश ने उत्तर प्रदेश सरकार को अपने डीजीपी से यह सुनिश्चित करने के लिए कहा है कि जब तक कोई अन्य एजंसी इसे संभालती है, तब तक मामले के सबूत सुरक्षित रखे जाएं। प्रधान न्यायधीश ने एक मीडिया रिपोर्ट, जिसमें कहा गया था कि प्रधान न्यायाधीश पीड़ितों  से मिलने लखनऊ गए हैं, पर कहा कि ‘ये खुद समझना चाहिए कि ये कैसे हो सकता है…मैं कोर्ट में हूं।’

लखीमपुर जा रहे सिद्धू, अन्य कांग्रेस नेताओं को यूपी की पुलिस ने हिरासत में लिया

उत्तर प्रदेश के लखीमपुर खीरी में किसान हत्याकांड के आरोपियों को गिरफ्तार करने को लेकर कांग्रेस लगातार दबाव बढ़ाती जा रही है। पंजाब कांग्रेस के अध्यक्ष नवजोत सिंह सिद्धू के नेतृत्‍व में कांग्रेस नेताओं का काफिला सहारनपुर में रोक दिया गया है और सिद्धू को हिरासत में ले लिया है। उनके साथ आये कांग्रेस के कई नेताओं और पंजाब के मंत्रियों को भी यूपी पुलिस ने हिरासत में ले लिया है।

इससे पहले जब यूपी पुलिस ने सिद्धू के काफिले को आगे बढ़ने की अनुमति नहीं दी तो पुलिस के लगाए गए बेरिकेट्स को कांग्रेस के कार्यकर्ताओं ने तोड़ दिया। इसके बाद पुलिस ने सिद्धू, पंजाब के मंत्री अमरिंदर सिंह राजा वडिंग और परगट सिंह सहित अन्य नेताओं को हिरासत में ले लिया।

पुलिस का कहना है कि लखीमपुर में धारा 144 लागू है और ऐसे में केवल पांच लोगों को आगे जाने की अनुमति है। लेकिन कांग्रेस नेता सिद्धू बड़े काफिले के साथ जाने पर अड़ हुए थे। इसी दौरान काफिले में शामिल नेताओं की पुलिस अधिकारियों से जबरदस्त बहस हुई। सिद्धू और अन्य नेताओं को पुलिस ने आगे जाने से रोक दिया।

इससे पहले सिद्धू के काफिले को यमुनानगर (हरियाणा) से आगे बढ़ने पर यूपी में   सहारनपुर की सीमा पर रोक दिया गया। इसके बाद वहां काफी हंगामा हुआ। कांग्रेस नेताओं ने इसके बाद वहां जमकर नारेबाजी की। सिद्धू ने पुलिस के रोके जाने पर सवाल उठाया। उन्‍होंने कहा कि उन्हें और अन्‍य नेताओं को रोकना गैरकानूनी और उनके अधिकारों का हनन है।

बता दें सिद्धू का काफिला सुबह पंजाब के मोहाली से लखीमपुर खीरी रवाना हुआ था। काफिले के रवाना होने से पहले सिद्धू ने कहा – ‘यदि कल तक लखीमपुर की घटना के लिए दोषी की गिरफ्तारी नहीं हुई तो भूख हड़ताल करुंगा।’ मुख्‍यमंत्री चरणजीत सिंह चन्‍नी भी इस मौके पर पहुंचे थे। उनके काफिले में पंजाब के कांग्रेस विधायक और मंत्री शामिल हैं। यह दल मोहाली में चंडीगढ़ अंतरराष्‍ट्रीय हवाई अड्डा के पास से रवाना हुआ। काफिले में पंजाब के शिक्षामंत्री परगट सिंह पूर्व मंत्री सुंदर शाम अरोड़ा भी लखीमपुर खीरी जाने वाले काफिल में शामिल हैं । काफिले को मोहाली से मुख्‍यमंत्री चरणजीत सिंह चन्‍नी ने रवाना किया।

लखीमपुर मामले में सुप्रीम कोर्ट ने यूपी सरकार से स्टेटस रिपोर्ट माँगी

लखीमपुर खेरी हत्याकांड के मामले में सर्वोच्च न्यायालय ने गुरुवार को उत्तर प्रदेश सरकार को एक दिन के भीतर मामले की स्टेटस रिपोर्ट दाखिल करने का निर्देश दिया है। आज इस मामले में सर्वोच्च अदालत ने कहा कि मामले पर शुक्रवार को ही सुनवाई की जाएगी। अदालत ने राज्य सरकार को घटना के दौरान जान गंवाने वाले किसान लवप्रीत सिंह की मां के उचित इलाज का भी निर्देश दिया है।

सर्वोच्च अदालत ने आज यूपी सरकार से कहा कि इस मामले में विस्तृत स्टेटस रिपोर्ट दाखिल की जाए, जिसमें जिन लोगों के खिलाफ एफआईआर की गई है, उनके नाम और पीड़ित कौन हैं उनके नाम भी शामिल होने चाहिए। इसके अलावा अब तक क्या कदम उठाया गया है और जांच की स्थिति क्या है, यह सब कुछ रिपोर्ट में बताया जाए।

याद रहे पहले यह रिपोर्ट्स आई थीं कि सर्वोच्च अदालत ने मामले का स्वत: संज्ञान लिया है, हालांकि, आज की सुनवाई के दौरान प्रधान न्यायाधीश एनवी रमना ने कहा कि हमने रजिस्ट्री से कहा था कि वकीलों के पत्र को पीआईएल के तौर पर ट्रीट किया जाए। पत्र लिखने वाले वकीलों को सुप्रीम कोर्ट ने सुनवाई में जोड़ने का निर्देश दिया। अदालत ने कहा कि दो वकीलों शिवकुमार त्रिपाठी और सीएस पांडा ने लखीमपुर मुद्दे पर पत्र लिखा था, वो भी अपना पक्ष रखें। आज यूपी सरकार कि ओर से वकील गरिमा प्रसाद पेश हुईं।

आज कोर्ट ने राज्य सरकार को जान गनवाने वाले किसान लवप्रीत सिंह की मां के उचित इलाज देने भी निर्देश दिया। सुनवाई के दौरान प्रधान न्यायधीश ने साफ किया कि सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले पर संज्ञान दोनों वकीलों के पत्र पर लिया है। दोनों वकीलों के पेश होने पर हम आगे कि सुनवाई करेंगे, उन्हें तत्काल पेश होने का निर्दश दिया जाए। साथ ही कहा कि रजिस्ट्री ने इस मामले को स्वत: संज्ञान के तौर पर गलती से लगा दिया। मैंने वकीलों के पत्र को पीआईएल के तौर पर ट्रीट करने को कहा था।

वकील शिव कुमार त्रिपाठी ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट को लखीमपुर कि घटना को लेकर इसलिए पत्र लिखा क्योंकि प्रशासन के नजरअंदाज किए जाने कि वजह से किसान मारे गए। मानवाधिकार का सीधे तौर पर उल्लंघन हुआ है और यूपी सरकार ने इस मामले में जरूरी कदम नहीं उठाए। इसके बाद सीजेआई ने यूपी सरकार कि ओर से पेश हुई गरिमा प्रसाद को बोलने को कहा।

श्रीनगर में फिर आतंकियों का हमला, महिला प्रिंसिपल समेत 2 की हत्या

कश्मीर में तीन लोगों की हत्या की खबर की स्याही अभी सूखी भी नहीं थी कि आतंकवादियों ने गुरुवार को राजधानी श्रीनगर में एक बार फिर बड़ी घटना की है। आतंकियों ने श्रीनगर के ईदगाह संगम इलाके में एक सरकारी स्कूल में घुसकर दो शिक्षकों की हत्या कर दी है, जिनमें एक महिला प्रिंसिपल शामिल है।

जानकारी के मुताबिक श्रीनगर के ईदगाह संगम इलाके में  आतंकियों ने अचानक हमला किया। इसमें दो शिक्षकों की मौत हो गई है। जम्मू कश्मीर पुलिस के मुताबिक ईदगाह इलाके में गोलीबारी की घटना की उन्हें सूचना मिली। यह घटना सुबह की है।   कुछ अज्ञात लोगों ने बालक उच्चतर माध्यमिक विद्यालय में प्रवेश किया और उसके प्रधानाध्यापक और अन्य शिक्षक की गोली मारकर हत्या कर दी।

रिपोर्ट के मुताबिक मृतकों की पहचान विद्यालय की प्रिंसिपल सतिंदर कौर और टीचर दीपक के रूप में हुई है। अंधाधुंध गोलीबारी में दोनों की मौके पर ही मौत हो गई। कश्मीर में पिछले तीन दिन में यह दूसस्री बड़ी वारदात है जिसमें पांच लोगों की मौत हुई है।

याद रहे दो दिन पहले आंतकवादियों ने श्रीनगर में मेडिकल स्टोर के मालिक एक कश्मीरी पंडित को निशाना बनाया था। श्रीनगर में बिंदरू मेडिकेट के मालिक माखन लाल बिंदरू की गोली मारकर हत्‍या करने के अलावा उन्होंने एक स्ट्रीट वेंडर की भी हत्या कर दी थी।

प्रियंका-राहुल-चन्नी पीड़ित किसान परिवार से मिले, उन्हें सांत्वना दी

करीब 60 घंटे उत्तर प्रदेश की जेल में रहने के बाद आखिर कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी आज देर रात अपने भाई राहुल गांधी, पंजाब के मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी और छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के साथ लखीमपुर खेरी में हिंसा के शिकार हुए किसान के परिवारों से मिलीं। दोनों ने लवप्रीत के परिवार से मिलकर उनका दुःख साझा किया और उन्हें सांत्वना दी। इस बीच पंजाब कांग्रेस के अध्यक्ष नवजोत सिंह सिद्धू गुरुवार को मोहाली से कांग्रेस कार्यकर्ताओं का बड़ा जत्था लेकर लखीमपुर के लिए रवाना होंगे। चर्चा है कि कांग्रेस आलाकमान सिद्धू का इस्तीफा रद्द कर सकती है।  राहुल गांधी को भी लखीमपुर जाने से पहले मुश्किलों का पड़ा क्योंकि योगी सरकार ने पहले तो उन्हें जाने की इजाजत नहीं दी और फिर जब दी तो लखनऊ में उनपर शर्त लगा दी कि उन्हें सरकारी वहां में उसकी ही एस्कॉर्ट में जाना पडेगा जिससे राहुल ने मन कर दिया और इस शर्त पर कड़ा प्रतिवाद किया। बाद में सरकार को राहुल के आगे झुकना पड़ा और उनके ही वहां में जाने देने की इजाजत देनी पड़ी। प्रियंका और राहुल के मामले में एक  योगी सरकार को फ़ज़ीहत झेलनी पडी है।
राहुल गांधी ने परिवार से मिलने के बाद एक ट्वीट भी किया। उन्होंने ट्वीट में कहा – ‘शहीद लवप्रीत के परिवार से मिलकर दुख बांटा। जब तक न्याय नहीं मिलेगा, तब तक ये सत्याग्रह चलता रहेगा। तुम्हारा बलिदान भूलेंगे नहीं, लवप्रीत।
प्रियंका गांधी और राहुल गांधी समेत कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं का प्रतिनिधिमंडल बुधवार देर रात पलिया तहसील पहुंचा और उसने रविवार को भड़की हिंसा में मारे गए चार किसानों में से एक किसान लवप्रीत सिंह के परिवार से मुलाकात की। जानकारी के मुताबिक दोनों कांग्रेस नेता किसान के चौखड़ा फार्म स्थित आवास पहुंचे, जहां उन्होंने शोक संतप्त परिवार से बात की और उनके प्रति गहरी संवेदना व्यक्त की।
प्रतिनिधिमंडल में कांग्रेस की राष्ट्रीय महासचिव प्रियंका गांधी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी के अलावा पंजाब के मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी और छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल और शामिल रहे। प्रतिनिधिमंडल में कांग्रेस नेता दीपेंद्र सिंह हुड्डा और महासचिव किसी वेणुगोपाल और रणदीप सुरजेवाला भी शामिल थे।
कांग्रेस प्रतिनिधिमंडल हिंसा में जान गंवाने वाले स्थानीय पत्रकार रमन कश्यप के परिवार से मिलने निघासन और हिंसा का शिकार हुए एक अन्य किसान नछत्तर सिंह के परिजनों से मिलने लखीमपुर के धौरहरा भी जा सकता है।
इस बीच पंजाब कांग्रेस के अध्यक्ष पद से इस्तीफा देने वाले नवजोत सिंह सिद्धू गुरुवार को  किसानों और कांग्रेस नेताओं, कार्यकर्ताओं का बड़ा जत्था लेकर लखीमपुर के लिए जा रहे हैं। चर्चा है कि कांग्रेस आलाकमान सिद्धू का इस्तीफा रद्द कर सकती है। पंजाब कांग्रेस प्रभारी हरीश रावत भी करीब 1000 वाहनों का काफिला लेकर कल लखीमपुर आ रहे हैं और वे सिद्धू के हिंसा के विरोध में किये जाने वाले प्रदर्शन के साथ जुड़ेंगे।

राहुल गांधी का ट्वीट
Rahul Gandhi
@RahulGandhi
शहीद लवप्रीत के परिवार से मिलकर दुख बाँटा लेकिन जब तक न्याय नहीं मिलेगा, तब तक ये सत्याग्रह चलता रहेगा।
तुम्हारा बलिदान भूलेंगे नहीं, लवप्रीत।

सुप्रीम कोर्ट ने लखीमपुर घटना का स्वत: संज्ञान लिया, कल इस मामले पर अदालत में सुनवाई

उत्तर प्रदेश के लखीमपुर खेरी में रविवार को हुई हिंसा, जिसमें चार किसानों और एक पत्रकार सहित 8 लोगों की मौत हो गयी थी, का सर्वोच्च न्यायालय ने स्वत: संज्ञान लेते हुए इसपर गुरुवार को सुनावी करने का फैसला किया है। प्रधान न्ययाधीश एनवी रमना, जस्टिस सूर्य कांत और हीमा कोहली की पीठ  इस मामले पर सुनवाई करेगी। बता दें यूपी पुलिस ने इस मामले में केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा के बेटे आशीष मिश्रा को मुख्य आरोपी बनाते हुए उनके खिलाफ एफआईआर दर्ज की है, हालांकि उसकी अभी तक गिरफ्तारी नहीं हुई है।
दो अधिवक्ताओं ने चिट्ठी लिखकर सीजेआई एनवी रमना से अनुरोध किया है कि इसे जनहित याचिका स्वीकार करते हुए सुनवाई की जाए ताकि घटना के दोषियों को न्याय के कठघरे में लाया जा सके। अनुरोध में गृह मंत्रालय और पुलिस को मामले में प्राथमिकी दर्ज करने का निर्देश देने और घटना में कथित रूप से शामिल लोगों को दंडित करने की मांग है।
बता दें आरोप है कि मंत्री के बेटे ने शान्ति से चल रहे चार किसानों को पीछे से अपनी थार गाड़ी से कुचलकर मार डाला। मंत्री और बेटा दावा करते रहे हैं कि आशीष  घटनास्थल पर नहीं था। इस घटना के बाद हुई हिंसा में एक पत्रकार और तीन अन्य लोगों की भी मौत हुई।
अब लखीमपुर घटना पर सर्वोच्च न्यायालय ने स्वतः संज्ञान लिया है और इस मामले की सुनवाई कल सीजेआई की अदालत में होगी। लखीमपुर हिंसा की घटना को लेकर सुप्रीम कोर्ट की कार्रवाई को लेकर लगातार मांग उठ रही है। लखीमपुर खीरी में किसानों के प्रदर्शन के दौरान हुई हिंसा में आठ लोगों की जान चली गई थी।
कांग्रेस नेता और जाने माने वकील कपिल सिब्बल ने भी आज लखीमपुर हिंसा मामले का हवाला देते हुए कहा था कि उच्चतम न्यायालय को इस मामले पर स्वत: संज्ञान लेते हुए कदम उठाना चाहिए।

राहुल, प्रियंका को यूपी सरकार की लखीमपुर जाने की इजाजत

उत्तर प्रदेश सरकार ने कांग्रेस नेताओं राहुल गांधी और पार्टी महासचिव प्रियंका गांधी को पांच लोगों के साथ लखीमपुर खेरी जाने की इजाजत दे दी है। जानकारी के मुताबिक वे दो पीड़ित परिवारों से मिल सकेंगे। राहुल और प्रियंका के साथ पंजाब के मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी और छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल भी होंगे।

यूपी सरकार के फैसले से लगता है कि कांग्रेस इस मामले में दबाव बनाने में सफल रही है। बता दें प्रियंका गांधी पिछले 55 घंटे से पुलिस के हिरासत में हैं।

कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने बुधवार को आरोप लगाया कि देश में लोकतंत्र को कुचलकर तानाशाही चल रही है। लखीमपुर खेरी में किसानों के साथ हुई घटना की कड़ी निंदा करते हुए राहुल ने घोषणा की है कि वे पंजाब के मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी और छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के साथ आज लखीमपुर जा रहे हैं। उधर उत्तर प्रदेश प्रशासन ने राहुल को राज्य में आने की अनुमति देने से इंकार कर दिया है। उधर किसानों से मिलने जा रहीं कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी को यूपी पुलिस ने पिछले 48 घंटे से जेल में बंद हुआ है।

राहुल ने सवाल किया कि कोई उन्हें नहीं बता रहा कि उन्हें  किसानों से मिलने जाने से  क्यों रोका जा रहा है। कांग्रेस नेता ने कहा कि जिन्होंने मर्डर किया वे भाग कर निकल रहे हैं और जो किसानों की पीड़ा साझा करना चाहते हैं उन्हें रोका और गिरफ्तार किया जा रहा है। राहुल ने इसके लिए प्रियंका गांधी का नाम लिया और कहा कि कांग्रेस महासचिव बहुत बहादुरी से वहां हैं।कांग्रेस नेता ने सवाल किया कि भाजपा ने मंत्री और उनके बेटे के खिलाफ तो कुछ नहीं किया है, दूसरे लोगों को जेल में बंद कर रही है। किसानों से मिलने जाने से भी सिर्फ हमें ही रोका जा रहा है। उन्होंने कहा कि वे आज लखीमपुर खेरी किसानों से मिलने जा रहे हैं और उनके साथ पंजाब के मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी और छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बधेल भी होंगे।

प्रेस कॉन्‍फ्रेंस में गांधी ने मोदी सरकार पर जमकर हमला बोला। राहुल गांधी ने कहा – ‘भूमि अधिग्रहण किसानों पर पहला हमला था और कृषि कानून देश के किसानों पर दूसरा आक्रमण है। विरोध कर रहे किसानों का जीप के नीचे कुचला जा रहा है और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लखीमपुर खीरी की घटना पर कुछ नहीं बोला है। आरोपी मंत्री और उनके बेटे पर कोई कार्रवाई अभी तक नहीं हुई है।”

लखीमपुर खेरी में कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी को गिरफ्तार किये जाने के बाद वहां जाने की  दूसरे बड़े नेता होंगे। राहुल गांधी ने आज पीएम मोदी पर हमला करते  हुए कहा – कल प्रधानमंत्री लखनऊ में थे, ‘लेकिन लखीमपुर खेरी नहीं जा पाए। ठीक से पोस्टमार्टम नहीं किया जा रहा है। आज हम 2 मुख्यमंत्रियों के साथ लखीमपुर खेरी जाकर उन परिवारों से मिलने की कोशिश करेंगे।’

बता दें कि उत्‍तर प्रदेश प्रशासन ने राहुल गांधी को लखीमपुर जाने की अनुमति नहीं दी है। उन्‍हें नोएडा में भी रोकने की पूरी तैयारी हो गई है। देखना है कि राहुल गांधी का वहां जाने का अब वहां जाने का अब क्या कार्यक्रम बनता है।

कश्मीर में आतंकवादियों ने 3 लोगों की हत्या की, इनमें एक कश्मीरी पंडित दुकानदार भी

अफगानिस्तान में तालिबान के बाद कश्मीर को लेकर अल-कायदा जैसे आतंकवादी संगठनों की तरफ से भले फिलहाल ब्यानबाजी बंद हो, वहां आतंकवाद की घटनाएँ  रुकती नहीं दिख रही हैं। आतंकवादियों ने जहाँ बहुत साल बाद किसी कश्मीरी पंडित की हत्या की वहीं दो और लोगों को भी जान से मार दिया। आतंकियों ने श्रीनगर में बिंदरू मेडिकेट स्टोर के मालिक माखन लाल बिंदरू की मंगलवार को गोली मारकर  हत्या कर दी। बिंदरू की हत्या की जिम्मेदारी द रेजिस्टेंस फ्रंट (टीआरएफ) नामक आतंकी संगठन ने ली है।

आतंकवादियों ने 3 नागरिकों की हत्या दो घंटे के भीतर कीं। इनमें से दो हत्याएं तो श्रीनगर में महज एक घंटे के भीतर हुईं। सरकार के इन दावों कि कश्मीर में आतंकवाद पर काबू पाने में काफी हद तक सफलता मिली है, के बावजूद आतंकी काफी सक्रिय दिख रहे हैं। आतंकियों ने सबसे पहले श्रीनगर के इकबाल पार्क के पास मशहूर फार्मेसी स्टोर बिंदरू मेडिकेट के मालिक माखन लाल बिंदरू को गोली मारकर घायल कर दिया। बाद में अस्पताल में उनकी मौत हो गयी।

बिंदरू काफी लम्बे समय से वहां दुकान चला रहे थे और उनकी काफी लोकप्रियता थी। आतंकवादियों ने उस वक्त गोलियां चलाईं, जब वह लोगों को दवाइयां दे रहे थे।  गंभीर रूप से घायल बिंदरू को अस्पताल ले जाया गया, जहां उन्होंने दम तोड़ दिया।

आतंकियों ने इसके बाद श्रीनगर में ही पानीपुरी बेचने वाले एक स्ट्रीट वेंडर को गोलियों का निशाना बनाया। उनकी मौके पर ही मौत हो गयी। मृतक की पहचान बिहार के भागलपुर निवासी वीरेंद्र पासवान के रूप में हुई है। आतंकवादियों ने गोलियां मारकर उसे बुरी तरह घायल कर दिया जिससे उनकी वहीं मौत हो गयी।

तीसरी हत्या आतंकियों ने बांदीपुरा में की। बांदीपोरा जिले में अज्ञात बंदूकधारी ने एक नागरिक की गोली मारकर हत्या कर दी। मोहम्मद शफी लोन उर्फ सोनू को हाजिन में गोली मारी गई। उन्हें इलाज के लिए अस्पताल लाया गया, लेकिन वहां उन्होंने दम तोड़ दिया।

हत्याओं की राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने शोक जताते हुए इसकी निंदा की। उन्होंने बिंदरू की मौत को खौफनाक बताते हुए कहा कि वह एक सज्जन इंसान थे। अब्दुल्ला ने कहा कि इन वारदातों की निंदा करने के लिए शब्द कम पड़ रहे हैं। केंद्र सरकार के दावे के विपरीत हाल में जम्मू-कश्मीर में आतंकवादी घटनाएं बढ़ी हैं। 2 अक्टूबर को 6 घंटे के भीतर कश्मीर में तीन आतंकी वारदातें हुई थीं।