Home Blog Page 776

गूगल प्ले म्यूजिक होगा बंद, यूट्यूब म्यूजिक लेगा जगह

गूगल प्ले म्यूजिक को यूट्यूब म्यूजिक (Youtube Music) जल्द ही  रीप्लेस करने जा रहा है। इससे संगीत प्रेमियों को गाने सुनने और सर्च करने का नया ठिकाना मिल जाएगा। दरअसल, इसी साल अक्टूबर के अंत तक गूगल प्ले म्यूज़िक (Google Play Music) की सेवा हमेशा के लिए बंद करने जा रहा है। दिसंबर से यह दिखना भी बंद हो जाएगा।
गूगल की ओर से भेजे गए संदेश में कहा गया है, हमको मालूम है कि आपने अपना गूगल प्ले म्यूजिक लाइब्रेरी बनाने में काफी समय बिताया है। इसलिए हमने प्लेलिस्ट, अपलोड और अनुशंसाओं सहित, केवल एक क्लिक के साथ आपकी म्यूजिक लाइब्रेरी को यूट्यूब म्यूजिक में स्थानांतरित करने की आसान सुविधा दी है।
यदि आपने यूट्यूब म्यूजिक को अभी तक आज़माया नहीं है, तो आप पाएंगे कि यह गूगल प्ले म्यूजिक से थोड़ा अलग है, लेकिन यह जान लें कि इसे भी उसी जुनून के साथ एक ही टीम द्वारा बनाया गया था। इस पर 6.50 करोड़  से ज़्यादा गाने, एल्बम और प्लेलिस्ट आपको मिलते हैं। इसके साथ ही आपको गूगल प्ले म्यूजिक की बहुत सी सुविधाएं यहां पर मिलेंगी। उम्मीद है यह आपको पसंद आएगा।

कोरोना के 68,898 नए मामले सामने आए, 983 लोगों की मौत

भारत में कोरोना संक्रमण का ग्राफ अभी भी तेजी से ऊपर चढ़ रहा है। पिछले 24 घंटे में देश में कोरोना के 68,898 नए मरीज सामने आए हैं जबकि 983 लोगों की मौत हुई है। नए मरीजों की यह संख्या दुनिया में एक दिन की सबसे ज्यादा संख्या है।
स्वास्थ्य मंत्रालय के शुक्रवार सुबह आठ बजे तक के जारी आंकड़ों के मुताबिक भारत में यह कोरोना के मामलों की दुनिया भर में एक दिन की सबसे ज्यादा संख्या है।  अमेरिका और ब्राजील में बीते दिन क्रमश: 45,341 और 44,684 नए मामले आए हैं।  भारत में 19 अगस्त को रेकॉर्ड 69,652 कोरोना मामले आए थे।
आंकड़ों के मुताबिक, देश में अबतक 29 लाख 5 हजार 823 लोग कोरोना से संक्रमित हैं। इनमें से 54,849 लोगों की मौत हो चुकी है। एक्टिव केस की संख्या 6 लाख 92 हजार हो गई और 21 लाख 58 हजार 946 लोग ठीक हो चुके हैं. संक्रमण के सक्रिय मामलों की संख्या की तुलना में स्वस्थ हुए लोगों की संख्या करीब तीन गुना अधिक है।
वैसे मृत्यु दर और एक्टिव केस रेट में लगातार गिरावट दर्ज की जा रही है। मृत्यु दर गिर कर 1.89 फीसदी हो गई। जिनका इलाज चल रहा है उनकी दर भी घटकर 24 फीसदी हो गई है। ठीक होने की दर 74 फीसदी हो गई है। आईसीएमआर के मुताबिक, 20 अगस्त तक कोरोना वायरस के कुल 3 करोड़ 36 लाख सैंपल टेस्ट किए जा चुके हैं, जिनमें से 9 लाख सैंपल की टेस्टिंग कल की गई। पॉजिटिविटी रेट 8 प्रतिशत से कम है।
देश में सबसे ज्यादा एक्टिव केस महाराष्ट्र में हैं। दूसरे नंबर पर तमिलनाडु, तीसरे पर दिल्ली, चौथे पर गुजरात और पांचवे पर पश्चिम बंगाल है। एक्टिव मामलों में भारत, अमेरिका और ब्राजील के बाद दुनिया भर में सबसे प्रभावित तीसरे नंबर का देश है।

देश में रेकार्ड कोविड-19 मामले सामने आए, कुल संक्रमित 27 लाख के पार

बहुत से विशेषज्ञों की इस राय कि भारत में कोविड-19 अभी चरम (पीक) पर नहीं पहुंचा है, देश में पिछले 24 घंटों में कोरोना के अब तक के सबसे ज्यादा 64,531 नए मामले आये हैं और 1092 की मौत हुई है। देश में अब तक संक्रमण के कुल मामले 27 लाख के पार पहुंच गए हैं, हालांकि, वर्तमान में संक्रमित लोगों की संख्या 6,76,514 है।

स्वास्थ्य मंत्रालय के आज सुबह 8 बजे तक के जारी आंकड़ों के मुताबिक देश में कोविड19 के अब तक के कुल मामले 27,67,274 हो चुके हैं। इसमें से सक्रिय मामले (वर्तमान में संक्रमित) मामले 6,76,514 हैं। अब तक 20,37,871 मरीज ठीक हुए हैं और 52,889 लोगों की मौत हुई है। देश में कोरोना से रिकवरी रेट 72 फीसदी से अधिक हो चुका है।

वैसे भारत में पिछले 24 घंटों में कोरोना के अब तक के सबसे ज्यादा 64,531 न मामले सामने आए हैं और 1092 लोगों की मौत हुई है। उधर आईसीएमआर के मुताबिक देश भर में 17 अगस्त तक 3,17,42,782 सैंपल्स (कोविड19 टेस्ट) किये गए। अकेले 18 अगस्त को 8,01,518 सैंपल्स की टेस्टिंग हुई। देश में महामारी से मृत्यु दर 2 फीसदी से नीचे है, जो दुनिया भर में सबसे कम दर वाले देशों में शामिल है।

दिल्ली में बुधवार को होटल खोलने को मंजूरी दे दी गई हालांकि, जिम अभी बंद रहेंगे। राजधानी दिल्ली में कोविड-19 के 1,398 नए मामले सामने आए हैं जबकि  1,320 ठीक हुए हैं और 9 लोगों की मौत पिछले 24 घंटे में हुई है। अब दिल्ली में कुल मामले 1,56,139 हैं जिनमें वर्तमान में संक्रमित मामले 11,137 हैं जबकि अब तक  4,235 लोगों की मौत हुई है।

सबसे ज्यादा मामले अभी भी महाराष्ट्र में हैं जहाँ पिछले 24 घंटे में 13,165 नए मामले सामने आए हैं और 346 लोगों की मौत हुई है। इसी तरह 9,011 मरीजों को डिस्चार्ज किया गया है। राज्य में अब तक 21,033 लोगों की मौत हुई है और वर्तमान में सक्रिय मामले 1,60,413 हैं।

गूगल का सर्वर डाउन, जीमेल से ईमेल में दिक्कत

गूगल का सर्वर डाउन होने की वजह से इसकी सेवाएं प्रभावित हुई हैं। इससे भारत समेत कई देशों के यूजर्स ईमेल नहीं भेज पा रहे हैं। कई यूजर्स ने अटैचमेंट फेल होने या उसके डाउनलोड न होने की भी शिकायत की है। जीमेल के अलावा यूट्यूब, गूगल ड्राइव, गूगल डॉक्स, गूगल कीप, गूगल चैट और गूगल मीट में भी लोगों को दिक्कत आ रही है।
गूगल जल्द-से-जल्द इस एरर को फिक्स करने के लिए काम में जुटी है। वहीं, डाउनडिटेक्टर के मुताबिक यूट्यूब के सर्वर में भी समस्या है जिसके कारण लोगों को वीडियो अपलोड करने में परेशानी हो रही है। गूगल ने कहा है कि जीमेल की समस्या दोपहर के बाद तक फिक्स कर दी जाएगी, इसके लिए टीम काम में जुटी है।
डाउनडिटेक्टर के मुताबिक, जीमेल में यह एरर सुबह 9.50 बजे से शुरू हुई और खबर लिखे जाने तक बनी हुई थी। जीमेल में 62 फीसदी लोगों को अटैचमेंट में, 30 फीसदी लोगों को लॉगिन में और 10 फीसदी लोगों को ई-मेल प्राप्त करने में दिक्कत हुई।
ट्विटर पर कई लोगों ने इसकी शिकायत की और समस्या से रूबरू कराया। एक यूजर ने लिखा न तो मेल भेजने में कोई फाइल अटैच हो रही ही और न ही कोई फाइल  डाउनलोड हो पा रही है।

केंद्र का जम्मू कश्मीर से 10,000 जवान हटाने का फैसला

भारत सरकार ने समीक्षा के बाद जम्मू कश्मीर से तत्काल अर्द्धसैनिक बलों के 10,000 जवानों को वापस बुलाने का आदेश दिया है। इन 100 कंपनियों को जम्मू कश्मीर में तैनाती से पहले वाले स्थानों को भेजा जा रहा है। गृह मंत्रालय ने मई में भी जम्मू कश्मीर से सीएपीएफ की करीब 10 कंपनियों को वापस बुलाया था।
दरअसल पिछले साल जम्मू कश्मीर में धारा 370 ख़त्म करने से पहले सुरक्षा कारणों से अतिरिक्त सुरक्षा बलों को जम्मू कश्मीर में तैनात किया गया था। अब इनमें से 100 कंपनियों को जम्मू कश्मीर से हटाकर देश के उन हिस्सों में वापस जाने को कहा गया है जहां उनकी तैनाती अनुच्छेद 370 ख़त्म होने से पहले थी।
रिपोर्ट्स के मुताबिक केंद्रीय गृह मंत्रालय की एक बैठक हुई है जिसमें जम्मू कश्मीर में अर्द्धसैनिक बलों की संख्या को लेकर समीक्षा की है। इनमें जम्मू कश्मीर में केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बलों (सीएपीएफ) की समीक्षा के बाद फैसला किया गया कि वहां से तत्काल प्रभाव से 100 कंपनियों (10,000 जवान) को हटाया जाएगा।
गृह मंत्रालय ने मई में भी जम्मू कश्मीर से सीएपीएफ की करीब 10 कंपनियों को वापस बुलाया था। बताया गया है कि केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) की कुल 40 कंपनियों और केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल (सीआईएसएफ), सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) और सशस्त्र सीमा बल (एसएसबी) की 20-20 कंपनियों को एक हफ्ते के भीतर जम्मू कश्मीर से वापस बुला लिया जाएगा।

सुशांत मामले की जांच सीबीआई करेगी : सुप्रीम कोर्ट

सर्वोच्च न्यायालय ने बुधवार को एक्टर सुशांत सिंह राजपूत, जिनकी दो महीने पहले मुंबई में संदिग्ध हालात में मौत हो गयी थी, की जांच का मामला सीबीआई को देने के हक़ में फैसला सुनाया है। सुशांत के परिवारजन इस मामले को सीबीआई को देने की मांग कर रहे थे। साथ ही सर्वोच्च अदालत ने सुशांत की मौत से जुड़ी बिहार पुलिस के सामने दर्ज की गयी एफआईआर को भी उचित ठहराते हुए मुंबई पुलिस को इस जांच में सहयोग का आदेश दिया है।

सर्वोच्च न्यायालय ने कहा कि मुंबई पुलिस ने इस मामले में जांच नहीं की बल्कि सिर्फ पूछताछ (मृत्यु का मामला) की थी। कोर्ट ने मुंबई पुलिस को सभी दस्तावेज सीबीआई को सौंपने को भी कहा है। जाहिर है सर्वोच्च अदालत के फैसले के बाद अब सुशांत मामले की जाँच सीबीआई के जिम्मे आ गयी है।

चर्चा है कि महाराष्ट्र सरकार सुप्रीम कोर्ट के फैसले को चुनौती दे सकती है। सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद सुशांत के परिजनों ने इसका स्वागत किया है। सुशांत के मित्र रहीं अंकिता लोखंडे ने सके बाद ट्वीट में कहा – ‘यह न्याय की जीत है’।

बिहार के डीजीपी गुप्तेश्वर पांडे ने भी केस सीबीआई को सौंपे जाने पर खुशी जताई है। अभी तक इस मामले में काफी सक्रिय रहीं एक्टर कंगना रणौत ने भी सुप्रीम कोर्ट के फैसले का स्वागत किया है।

भाजपा ने बताया पीएम केयर्स का पैसा कहां-कितना खर्च किया

सुप्रीम कोर्ट ने मंगलवार को पीएम केयर्स फंड मामले में अपना फैसला सुनाया। अब इस मामले को लेकर केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी पर निशाना साधा है। उन्होंने दावा किया कि मोदी सरकार ईमानदारी से काम करती है।
रविशंकर प्रसाद ने कहा, पीएम केयर्स फंड से अब तक 3,100 करोड़ रुपये कोरोना से लड़ाई के लिए जारी किए गए हैं। इसमें 2,000 करोड़ रुपये सिर्फ वेंटिलेटर के लिए दिए गए हैं।
पीएम केयर्स फंड का हिसाब देते हुए केंद्रीय मंत्री ने कहा कि 1000 करोड़ रुपये राज्यों को प्रवासी मजदूरों की व्यवस्था करने के लिए दिए गए। 100 करोड़ रुपये कोरोना की वैक्सीन के अनुसंधान के लिए दिए गए हैं। पीएम केयर्स फंड पंजीकृत सार्वजनिक ट्रस्ट है, जिसके प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदीजी अध्यक्ष हैं, ये कोविड-19 जैसी आपातकाल स्थितियों के लिए बनाया गया है। मोदी सरकार पूरी ईमानदारी से काम करती आ रही है, उसे जनता का भी आशीर्वाद मिलता है। यही ईमानदारी पीएम केयर्स फंड में भी दिखाई देती है।

कांग्रेस पर निशाना साधते हुए केंद्रीय मंत्री ने कहा, राजीव गांधी फाउंडेशन एक फैमिली फाउंडेशन था। आपको मालूम है कि उसे चीन से भी मदद मिली थी। उस फाउंडेशन की रिपोर्ट में भारत के बाजार को चीनी उत्पाद के लिए खोलने की बात भी कही गई थी।

पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी पर तंज कसते हुए उन्होंने कहा, कोरोना के खिलाफ लड़ाई में राहुल ने पहले दिन से देश की एकता को कमजोर करने की कोशिश की है। प्रधानमंत्री जी ने कहा था कि देश के डॉक्टर-नर्सेज, सफाई कर्मचारी, पुलिसकर्मी जैसे कोरोना योद्धाओं के सम्मान में ताली बजाई जाए, इसका भी राहुल गांधी ने मजाक उड़ाया।

राहुल के ‘कुटिल’ मंसूबों को झटका : नड्डा
भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने सिलसिलेवार ट्वीट कर राहुल गांधी पर निशाना साधा। उन्होंने कहा, पीएम केयर्स को लेकर सर्वोच्च अदालत का फैसला राहुल गांधी के कुटिल मंसूबों और उनके सहयोगियों की कोशिशों को तगड़ा झटका है। यह दर्शाता है कि कांग्रेस और उसके सहयोगियों की दुर्भावना और द्वेषपूर्ण कोशिशों के बावजूद सत्य की चमक बरकरार रहती है। उन्होंने कहा कि राहुल के हल्ला मचाकर दोषारोपण करने की आदत को जनता ने लगातार नकारा है और उसी जनता व अन्य ने पीएम केयर्स कोष में दिल खेलकर दान किया है।

राजीव गांधी खेल रत्न पुरस्कार के लिए रोहित शर्मा, फोगाट, मनिका, थंगावेलू के नाम की सिफारिश

क्रिकेटर रोहित शर्मा, एशियन स्वर्ण पदक विजेता पहलवान विनेश फोगाट, टेबल टेनिस चैंपियन मनिका बत्रा और पैरालंपिक स्वर्ण पदक विजेता मरियप्पन थंगावेलू देश के उन चार खिलाड़ियों में शामिल हैं, जिनके नाम की सिफारिश देश के सबसे बड़े खेल सम्मान ‘राजीव गांधी खेल रत्न पुरस्कार’ के लिए की गयी है। उधर अर्जुन पुरस्कार के लिए खेल मंत्रालय चयन समिति ने क्रिकेटर ईशांत शर्मा और तीरंदाज अतनु दास सहित 29 खिलाड़ियों के नाम की सिफारिश की है।
याद रहे द्रोणाचार्य और ध्यानचंद पुरस्कार के लिए नामों की सिफारिश सोमवार को ही कर दी गयी थी। द्रोणाचार्य और ध्यानचंद पुरस्कारों के लिए क्रमश: 13 और 15 खिलाड़ियों के नाम की सिफारिश की गई है। राष्ट्रीय खेल पुरस्कारों में राजीव गांधी खेल रत्न, अर्जुन पुरस्कार, द्रोणाचार्य पुरस्कार और ध्यानचंद पुरस्कार शामिल हैं, जो हर साल 29 अगस्त को राष्ट्रपति भवन में भारत के राष्ट्रपति देते हैं। उस दिन हॉकी के जादूगर मेजर ध्यानचंद का जन्मदिन होता है।
बता दें क्रिकेटर सचिन तेंदुलकर खेल रत्न हासिल करने वाले पहले खिलाड़ी थे, जिन्हें 1997-1998 में यह सम्मान मिला। साल 2007 में महेंद्र सिंह धोनी और 2018 में विराट कोहली को भी यह सम्मान मिला था।
इस साल जूनियर भारतीय पिस्टल टीम के मुख्य कोच जसपाल राणा, ओलंपिक कोटा हासिल करने वाले सौरभ चौधरी और मनु भाकर को द्रोणाचार्य अवॉर्ड के लिए चुना गया है। राणा को पिछले साल यह अवॉर्ड नहीं मिलने पर बहुत विवाद हुआ था। राणा के अलावा डेविस कप टीम के कप्तान और कोच रहे नरेश कुमार और पूर्व हॉकी कप्तान और जूनियर पुरुष हॉकी टीम के कोच जूड फीलिक्स के नाम की सिफारिश द्रोणाचार्य के लिए हुई है।
इस बार कोविड-19 के चलते राष्ट्रीय खेल पुरस्कार समारोह ऑनलाइन आयोजित हो सकता है। ऐसा होने पर विजेता अपने-अपने स्थानों से 29 अगस्त को लॉग इन करके अपने नामों की घोषणा होते हुए सुनेंगे।
जहां तक राजीव गांधी खेल रत्न की बात है रोहित शर्मा जबरदस्त फ़ार्म में हैं। साल 2019 के लिए उन्हें वनडे क्रिकेटर ऑफ द ईयर चुना गया, आईसीसी क्रिकेट विश्व कप के एक संस्करण में पांच वनडे शतक लगाने वाले और टी20 इंटरनेशनल में चार शतक जमाने वाले पहले बल्लेबाज हैं। उधर महिला पहलवान विनेश फोगाट 2018 में कॉमनवेल्थ और एशियाई खेलों में स्वर्ण पदक जीत चुकी हैं जबकि 2019 एशियाई कुश्ती चैम्पियनशिप में कांस्य पदक जीता। थंगावेलु ने 2016 के रियो पैरालंपिक में  टी42ऊंची कूद में स्वर्ण पदक जीता था। पैडलर मनिका ने 2018 में राष्ट्रमंडल खेलों का स्वर्ण पदक और महिला एकल में कांस्य पदक जीता था।

आईपीएल टाइटल स्पॉन्सरशिप मिली ‘ड्रीम इलेवन को, इसमें भी है चीनी कंपनी की हिस्सेदारी, वीवो के 440 के मुकाबले ड्रीम 11 देगी सिर्फ 222 करोड़

चीनी कंपनी ‘वीवो’ के हाथ से निकली इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) की टाइटल स्पॉन्सरशिप मंगलवार को भारत की ऑनलाइन गेमिंग कंपनी ‘ड्रीम इलेवन’ को मिली है। उसने इस साल के लिए इसके 222 करोड़ रूपये अदा किये हैं। इससे पहले वीवो इसके लिए हर सीजन के 440 रूपये अदा कर रही थी। दिलचस्प यह है कि ड्रीम इलेवन कंपनी में चीनी कंपनी ‘टेंसेंट’ की कुछ हिस्सेदारी है।

आईपीएल के चेयरमैन बृजेश पटेल ने मंगलवार इसकी जानकारी दी  है। बता दें ‘ड्रीम इलेवन’ भारत की एक ऑनलाइन गेमिंग कंपनी है जो फैंटेसी क्रिकेट, हॉकी, फुटबॉल, कबड्डी और बास्केटबॉल गेमिंग में काम करती है। साथ ही ड्रीम इलेवन देश की पहली गेमिंग कंपनी है, जो यूनिकॉर्न बनी। इसके फाउंडर भवित शाह, हर्ष जैन हैं और कंपनी का मुख्यालय मुंबई में है।

जानकारी के मुताबिक ‘ड्रीम इलेवन’ में चीनी कंपनी ‘टेंसेंट’ की कुछ हिस्सेदारी है। भारत और चीन के बीच सीमा पर तनाव बढ़ने के बाद वीवो ने अपना नाम वापस लेने का फैसला किया था। इसके बाद इसके लिए बिड आमंत्रित की गयी थीं। पहले बाबा रामदेव की पतंजलि भी आईपीएल टाइटल स्पॉन्सरशिप की दौड़ में शामिल थी। टाटा का नाम भी सामने आया था।

पीएम केयर्स फंड का पैसा एनडीआरएफ में ट्रांसफर नहीं हो सकता : सुप्रीम कोर्ट

कोरोना की शुरुआत के समय 28 मार्च को मोदी सरकार की तरफ से बनाए गए प्राइम मिनिस्टर्स सिटिजन असिस्टेंस ऐंड रिलीफ इन इमर्जेंसी सिचुएशंस (पीएम केयर्स फंड ) को लेकर दायर याचिका का निपटारा करते हुए मंगलवार को सर्वोच्च न्यायालय ने कहा कि पीएम केयर्स फंड का पैसा नेशनल डिजास्टर रिस्पांस फंड (एनडीआरएफ) में ट्रांसफर नहीं किया जा सकता।

सुप्रीम कोर्ट में पीएम केयर्स फंड का पैसा ट्रांसफर करने को लेकर आज हुई सुनवाई में कहा कि एनडीआरएफ में पैसा ट्रांसफर करने का आदेश नहीं दिया जा सकता।  न ही किसी नई आपदा राहत योजना की अभी जरूरत है। सुप्रीम कोर्ट में इस मसले पर दायर दायर याचिका आज खारिज कर दी गई। एक एनजीओ सेंटर फॉर पब्लिक इंट्रेस्ट लिटिगेशन (सीपीआईएल) यह याचिका दायर कर मांग की थी कि पीएम केयर फंड में जमा रकम को कोरोना महामारी के मद्देनजर एनडीआरएफ में ट्रांसफर किया जाए। अदालत ने इसके लिए आदेश पारित करने से इनकार कर दिया।

कोरोना महामारी से लड़ने के लिए केंद्र सरकार की ओर पीएम केयर्स फंड ट्रस्ट का गठन किया गया था। सुप्रीम कोर्ट ने आज कहा कि एनडीआरएफ में योगदान करने के लिए किसी भी व्यक्ति और कॉरपोरेट के लिए कोई वैधानिक बाधा नहीं है। इसके अलावा सुप्रीम कोर्ट ने ये भी कहा कि सरकार पीएम केयर्स फंड की राशि को उचित जगह ट्रांसफर करने के लिए स्वतंत्र है क्योंकि ये दोनों फंड अलग हैं।

इससे पहले इस जनहित याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने 17 जून को सुनवाई पूरी कर फैसला सुरक्षित रखा था। याचिका में पीएम केयर फंड में जमा हुई राशि को राष्ट्रीय आपदा राहत कोष में ट्रांसफर करने की मांग की गई थी।
सुनवाई के दौरान केंद्र सरकार की ओर से पेश सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने जस्टिस अशोक भूषण की अगुवाई वाली बेंच के सामने कहा था कि पीएम केयर फंड स्वैच्छिक फंड है जबकि एनडीआरएफ और एसडीआरएफ फंड बजट आवंटन के दायरे में हैं।

उधर सीनियर एडवोकेट दुष्यंत दवे ने याचिकाकर्ता एनजीओ की ओर से दलील पेश करते हुए कहा था कि हम किसी पर सवाल नहीं उठा रहे है लेकिन पीएम केयर फंड का गठन नैशनल डिजास्टर मैनेजमेंट ऐक्ट के प्रा‌वधान के विपरीत है। दवे ने कहा था कि एनडीआरएफ का ऑडिट सीएजी करता है लेकिन सरकार कह रही है कि पीएम केयर फंड का ऑडिट प्राइवेट ऑडिटर से कराया जाएगा।

पीएम केयर फंड के खिलाफ दाखिल याचिका पर सुप्रीम कोर्ट में केंद्र सरकार ने हलफनामा दायर कर पीएम केयर फंड का बचाव किया था। अपने हलफनामे में केंद्र सरकार ने कहा था कि राष्ट्रीय और राज्यों के आपदा में राहत कार्यों के लिए पीएम केयर फंड दूसरे किसी फंड पर रोक नहीं लगाता है। इन फंड में लोग स्वेच्छा से डोनेट करते हैं। सुप्रीम कोर्ट में केंद्र सरकार ने कहा है कि एनडीआरएफ जैसी वैधानिक फंड होने के बावजूद ऐसे कोष यानी पीएम केयर फंड के गठन पर कोई रोक नहीं है।

वैसे पीएम केअर्स फंड पर विपक्ष का मोदी सरकार पर लगातार हमला रहा है।  कांग्रेस इसके ऑडिट की मांग कर चुकी है। प्रधानमंत्री कार्यालय की ओर से इस फंड के पैसे आवंटित करने की जो जानकारी दी गई है, उसके मुताबिक 31 मई तक  कोरोना से लड़ाई के लिए 3100 करोड़ आवंटित किए गए हैं। इनमें 2000 करोड़ रुपये स्वदेशी वेंटिलेटर पर, 1000 करोड़ रुपये प्रवासी मजदूरों की देखभाल और 100 करोड़ रुपये वैक्सीन की रिसर्च पर खर्च किये गए हैं या हो रहे हैं।