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विधानसभा में एक-दूसरे पर जमकर बरसे सीएम नीतीश कुमार और तेजस्वी यादव

बिहार विधानसभा में शुक्रवार को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार काफी उखड़े हुए नजर आये। उन्होंने सदन में आरजेडी नेता तेजस्वी यादव के भाषण के जवाब में कई बार कड़वे शब्दों का इस्तेमाल करने से परहेज नहीं किया। सीएम, तेजस्वी के आरोपों से काफी बोखलाए हुए दिखे और उन्होंने तेजस्वी पर ताबड़ तोड़ हमले किये। हाल के विधानसभा के चुनाव में नीतीश को क्षेत्रीय दल के तौर पर तेजस्वी  उनकी आरजेडी से न केवल तगड़ी चुनौती मिली बल्कि तेजस्वी की पार्टी सबसे ज्यादा सीटें में भी सफल रही।

विधानसभा में आज पहले तेजस्वी यादव ने नीतीश यादव पर जबरदस्त हमले किये और जवाब में नीतीश उनपर खूब बरसे। नीतीश ने कहा कि ‘हम अब तक चुप थे। यह हमारे बेटे के समान हैं। इनके पिताजी (लालू प्रसाद) हमारी उम्र के हैं। तुमको डिप्टी सीएम किसने बनाया था? आप चार्जशीटेड हो, तुम क्या करते हो, हम सब जानते हैं।’

अब यह बता देते हैं कि तेजस्वी यादव ने विधानसभा में क्या कहा था। तेजस्वी ने कहा कि ‘मुख्यमंत्री नीतीश कुमार जी अपनी चुनावी सभाओं में लालू को 9 बच्चों की बात करते थे। कहते थे बेटी पर भरोसा नहीं था, बेटा के लिए 9 बच्चे हुए। क्या नीतीश जी को लड़की पैदा होने का डर था, इसलिए उन्होंने दूसरा बच्चा नहीं पैदा किया? वह (नीतीश) 1991 में हुई एक हत्या के मामले में शामिल हैं।’

यही नहीं तेजस्वी ने नीतीश पर कंटेंट चोरी के मामले में उन पर लगे 25 हजार रुपये जुर्माने का भी जिक्र किया। इसके अलावा तेजस्वी ने सृजन घोटाले से भी नीतीश कुमार का नाम जोड़ा। राज्यपाल के अभिभाषण पर चर्चा के दौरान नीतीश कुमार पर तेजस्वी की टिप्पणी के बाद सदन में जमकर हंगामा हुआ। एक मौके पर स्पीकर विजय कुमार सिन्हा ने नेता प्रतिपक्ष से संयमित भाषा का इस्तेमाल करने और निजी बातों की बजाए विकास की बातों पर चर्चा करने का आग्रह किया।

अब बारी नीतीश कुमार की थी। तेजस्वी के आरोपों से बौखलाये नीतीश कुमार ने सदन में कहा ‘कि हम अब तक चुप थे। यह हमारे बेटे के समान हैं। इनके पिताजी हमारी उम्र के हैं। ये झूठ बोलते हैं। जो चार्जशीटेड हैं, वो हम पर सवाल उठा रहे हैं। मेरे खिलाफ हत्या के एक मामले को लेकर सुप्रीम कोर्ट लोग गए, लेकिन वहां से भी हार का सामना करना पड़ा। भला बताइए क्या हम यह काम कर सकते हैं।’

मुख्यमंत्री ने कहा कि नियमों का उल्लंघन कर काम नहीं होना चाहिए। अध्यक्ष महोदय को भी चाहिए कि नियमों का उल्लंघन नहीं हो, ताकि सदन की गरिमा बनी रहे। नीतीश कुमार ने कहा एक वोट से भी जीत जीत होती है। किसी को कोई परेशानी है तो कोर्ट जाए।

सुशील मोदी बिहार से राज्य सभा चुनाव के लिए भाजपा के उम्मीदवार होंगे

एनडीए की साथी चिराग पासवान की लोक जनशक्ति पार्टी को झटका देते हुए भाजपा ने बिहार की खाली राज्य सभा सीट के लिए पूर्व उप मुख्यमंत्री सुशील मोदी को उम्मीदवार बनाने का फैसला किया है। सुशील मोदी ने दो दिन पहले ही पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव के भाजपा के एक विधायक को ‘लालच देकर’ तोड़ने की कोशिश का ‘खुलासा’ किया था।

इस बार नीतीश सरकार में भाजपा ने जब सुशील मोदी को उप मुख्यमंत्री नहीं बनाया था तो मोदी के खेमे से कुछ नाराजगी वाली बातें सामने आई थीं, हालांकि, खुद मोदी ने सिर्फ एक ट्वीट में ‘नाराजगी’ वाली भाषा इस्तेमाल की थी जब उन्होंने लिखा कि ‘एक भाजपा कार्यकर्ता के नाते तो उन्हें कोइ बाहर नहीं कर सकता’।

बता दें बिहार की राज्य सभा सीट एलजेपी नेता और मंत्री राम विलास पासवान के निधन से खाली हुई है। चिराग पासवान के नेताओं ने इस सीट से दिवंगत नेता की पत्नी रमा पासवान को उमीदवार बनाने की मान वाली मुहिम तेज की हुए थी, लेकिन भाजपा ने जदयू को नाराज नहीं करते हुए सुशील मोदी को उमीदवार  बना दिया है।

यह माना जाता है कि सुशील मोदी को केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार में अगले  फेरबदल में मंत्री बनाया जा सकता है।

पश्चिम बंगाल में मंत्री सुवेंदु अधिकारी का मंत्री पद से इस्तीफा

पश्चिम बंगाल में मुख्यमंत्री ममता बनर्जी को बागी तेवर दिखा रहे सुवेंदु अधिकारी ने शुक्रवार को परिवहन मंत्री के पद से इस्तीफा दे दिया। अब उनके तृणमूल कांग्रेस छोड़ने की अटकलें लगाई जा रही हैं। भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष दिलीप घोष ने कहा है कि अगर वह पार्टी में आना चाहते हैं तो उनके लिए दरवाजे खुले हैं। बता दें कि अगले साल राज्य में विधानसभा चुनाव होने हैं। इसलिए आवाजाही का दौर आने वाले समय में और देखने को मिल सकता है।
ममता दीदी को सत्ता तक पहुंचाने वाले नंदीग्राम आंदोलन का चेहरा रहे अधिकारी ने मुख्यमंत्री को अपना इस्तीफा फैक्स करने के बाद राज्यपाल को ई-मेल किया। इससे पहले, अधिकारी ने बुधवार को हुगली रिवर ब्रिज कमिश्नर का चेयरमैन पद छोड़ दिया दिया था। इतना ही नहीं, उन्होंने राज्य सरकार से मिली जेड श्रेणी की सुरक्षा भी वापस कर दी थी। इसके बाद उनके पार्टी छोड़ने की अटकलें लगाई जाने लगी थीं।
इस पर, भाजपा महासचिव कैलाश विजयवर्गीय ने कहा कि मंत्री का इस्तीफा शीर्ष नेतृत्व के खिलाफ टीएमसी नेताओं का गुस्सा है। हालांकि उन्होंने अधिकारी के भाजपा में शामिल होने पर कुछ नहीं कहा। सूत्रों का कहना है कि अधिकारी पार्टी में संगठनात्मक बदलाव से खुश नहीं थे।
तृणमूल कांग्रेस के सांसद सौगत रॉय और सुदीप बंदोपाध्याय को अधिकारी को मनाने का जिम्मा सौंपा गया था। अपने गृह जिले पूर्वी मिदनापुर के अलावा सुवेंदु अधिकारी का पश्चिमी मिदनापुर, बांकुड़ा, पुरुलिया और झारग्राम की करीब 35 से 40 सीटों पर खासा प्रभाव रखते हैं।
इस बीच, पार्टी छोड़ने की इच्छा जता चुके टीएमसी विधायक मिहिर गोस्वामी शुक्रवार को भाजपा सांसद निशीथ प्रमाणिक के साथ दिल्ली रवाना हो गए। वे जल्द भाजपा में शामिल होंगे।
तृणमूल सांसद सौगत राय ने कहा, सुवेंदु ने पार्टी या विधायक पद से इस्तीफा नहीं दिया है। मुझे विश्वास है कि वह दिल्ली नहीं जाएंगे। आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत से उनकी मुलाकात की खबरें सरासर झूठी हैं।

राजौरी-पुंछ में पाकिस्तान की गोलीबारी में जेसीओ सहित 3 जवान शहीद

सीमा पर पाकिस्तान लगातार युद्धविराम उल्लंघन कर रहा है और उसकी तरफ से गोलीबारी की घटनाएं बढ़ गयी हैं। नई घटना में जम्मू संभाग के सुंदरबनी सैक्टर में शुक्रवार को सेना के 2 जवान शहीद हो गए जबकि गुरुवार देर शाम पुंछ सेक्टर में एक जेसीओ शहीद हुए हैं। रिपोर्ट्स के मुताबिक पाकिस्तानी सेना ने जम्मू संभाग के राजौरी जिले के सुंदरबनी सेक्टर में भारतीय चौकियों और नागरिक क्षेत्रों को निशाना बनाते हुए अंधाधुंध गोलीबारी की।

सेना प्रवक्ता लेफ्टिनेंट कर्नल देवेंद्र आनंद ने शुक्रवार कहा कि पाकिस्तान सेना ने आज सुबह राजौरी के सुंदरबनी सेक्टर में नियंत्रण रेखा (एलओसी) के पास  युद्धविराम उल्लंघन किया और गोलीबारी की। भारतीय सेना ने दुश्मन की गोलाबारी का मुंहतोड़ जवाब दिया। प्रवक्ता के मुताबिक पाकिस्तानी फाइरिंग के बाद लगी आग बुझाते हुए सेना के दो जवान नाइक प्रेम बहादुर खत्री और राइफलमैन सुखबीर सिंह गंभीर रूप से घायल हो गए और बाद में उन्होंने दम तोड़ दिया।

जानकारी के मुताबिक सुखबीर सिंह पंजाब के तरनतारन जिले के खवासपुरा और प्रेम बहादुर खत्री यूपी के महाराजगंज जिले के सरोजनी नगर के रहने वाले थे।

पुंछ सेक्टर में गुरुवार शाम एक जूनियर कमीशंड अफसर (जेसीओ) भी शहीद  हो गए थे जब पाकिस्तानी सैनिकों ने अंधाधुंध मोर्टार दागे। उनका नाम सूबेदार स्वतंत्र सिंह था।  पाक हमले में एक नागरिक भी घायल हो गया। सिंह उत्तराखंड के कोटद्वार तहसील के ओडियारी गांव के रहने वाले थे।

राजकोट में कोविड-19 अस्पताल में आग से 5 मरीजों की मौत, पीएम ने दुःख जताया

गुजरात के राजकोट में एक कोविड-19 अस्पताल में आग लग जाने से गुरुवार देर रात  5 मरीजों की मौत हो गयी। गुरात में यह इस तरह की दूसरी घटना है। पीएम मोदी ने इस पर गहरा दुःख जताया है।

जानकारी के मुताबिक घटना राजकोट सिटी के शिवानंद कोविड-19 अस्पताल की है जहाँ आज सवेरे आग लगने की घटना हुई। आग अस्पताल के आईसीयू विभाग में लगी और पूरी भवन में फ़ैल गयी। हादसे में 5 मरीजों की जान चली गयी।

दमकल विभाग के मुताबिक अस्पताल में कोरोना वायरस से पीड़ित जिन 30 अन्य मरीजों का इलाज चल रहा था, उन्हें सुरक्षित बचा लिया गया है। दमकल विभाग के मुताबिक मावडी इलाके के उदय शिवानंद अस्पताल के आईसीयू में गुरुवार देर रात करीब एक बजे आग लगी। आईसीयू में उस समय सात मरीज भर्ती थे।

आग लगने की जानकारी मिलते ही दमकल टीम तुंरत मौके पर पहुँची और 30 मरीजों को सुरक्षित वहां से निकाला। आईसीयू में भर्ती पांच मरीजों की मौत हो गई।

आग पर बाद में काबू पा लिया गया। आग लगने के कारण का अभी पता नहीं चल पाया।

बता दें अगस्त में भी गुजरात के ही अहमदाबाद के चार मंजिला निजी अस्पताल की सबसे ऊपर की मंजिल पर आग लगने से कोविड-19 से पीड़ित आठ मरीजों की मौत हो गई थी। पीएम मोदी ने राजकोट की इस घटना में हुई जनहानि पर गहरा दुख व्यक्त किया है। पीएमओ ने पीएम मोदी के हवाले से ट्वीट में कहा – ‘राजकोट में अस्पताल में आग लगने से हुई जनहानि से बेहद दुखी हूं। मेरी संवेदनाएं इस त्रासदी में अपने प्रियजनों को खोने वालों के साथ हैं। घायलों के जल्द स्वस्थ होने की प्रार्थना करता हूं। प्रशासन प्रभावित लोगों को हरसंभव सहायता सुनिश्चित कर रहा है।’

देश में  कोरोना के मामले
देशभर में कोरोना वायरस के अब 93,09,788 मामले हो गए हैं। अब तक 1,35,752 लोग अपनी जान गंवा चुके हैं। कुल 87,18,517 इस वायरस को मात देकर ठीक हो चुके हैं। देश में कोरोना को मात देकर ठीक होने वालों की संख्या सक्रिय मामलों की संख्या से अधिक है। सक्रिय मामलों की कुल संख्या 4,55,555  है।

सिंघु बार्डर पहुंचे आंदोलनकारी किसान, आंसू गैस के गोले दागे पुलिस ने; एक हादसे में किसान की मौत

आंदोलनकारी किसान सोनीपत-दिल्ली के बीच सिंघु (कुंडली) बार्डर पहुँच गए हैं। दिल्ली कूच के तहत सिंधु बार्डर पहुंचे किसानों पर पुलिस ने अब से कुछ देर पहले आंसू गैस के गोले छोड़े हैं, लेकिन किसान दिल्ली जाने पर अड़े हुए हैं। वहां बड़ी संख्या में पुलिस तैनात है। किसानों का कहना है कि सरकार चाहे गोलियां चला ले, वो दिल्ली जाने से पीछे नहीं हटेंगे। किसानों के साथ उनके परिवार, महिलाऐं और बच्चे भी शामिल हैं।
इस बीच दिल्ली कूच पर जा रहे एक किसान की सड़क हादसे में मौत हो गई। हादसा भिवानी जिले के मुंढाल गांव के पास बैरियर पर हुआ। एक ट्रक ने किसानों की ट्रैक्टर ट्राली को पीछे से टक्कर मार दी जिससे ट्रैक्टर में सवार किसान धन्ना सिह (45) की मौके पर ही मौत हो गई। धन्ना सिंह पंजाब के खयाली चेहला वाली गांव जिला मानसा थाना चनीर निवासी था। गुस्साए किसानों ने पुलिस को किसान का शव कब्जे में नहीं लेने दिया। हादसे के बाद वहां भारी पुलिस बल तैनात किया गया। पुलिस ने आरोपी ट्रक चालक के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया है। दो किसान घायल भी हुए।
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उधर हलदाना बॉर्डर से रात को चलकर सुबह किसान दिल्ली की ओर कूच कर गए। दस बजे के करीब ट्रैक्टर-ट्रालियों में सवार होकर करीब 500 किसानों का जत्था सोनीपत-दिल्ली सीमा पर सिंघु बार्डर (कुंडली बार्डर) पहुंचा। वहां बीएसएफ और सीआइएसएफ के जवानों ने पहले से ही भारी पत्थरों को अड़ाकर बैरिकेडिंग की हुई है लेकिन किसान बेरिकेडिंग तोड़कर आगे जाने की कोशिश कर रहे हैं और पुलिस उन्हें रोकने के लिए आंसू गैस के गोले छोड़ रही है।
बैरिकेडिंग पर कांटेदार तारों की बाड़ लगाई गई है। किसान हर बाधा को पार कर दिल्ली जाने की जिद पर अड़े हैं। पुलिस और अर्धसैनिक बलों की ओर से लगातार एनाउंसमेंट की जा रही है कि किसान पीछे हट जाएं, लेकिन किसान हर हाल में दिल्ली जाने की बात कह रहे हैं। बॉर्डर पर किसान और पुलिस बल आमने-सामने हैं। पानीपत की ओर से लगातार किसान आकर बार्डर पर एकत्र हो रहे हैं। पुलिस ने किसानों को बार्डर से पहले कुंडली की सीमा में ही रोक लिया है।
कृषि कानूनों के विरोध में दिल्ली जाने वाले किसानों का एक जत्था पंजाब से नेशनल हाईवे पर समालखा-गन्नौर के बीच हलदाना बार्डर पर रात को ही पहुंच गया था। देर रात को हलदाना बार्डर पर पुलिस के भारी इंतजामों को फेल करते हुए किसान दिल्ली की ओर रवाना हो हुए। ट्रैक्टर-ट्रालियों में सवार होकर किसान सुबह सोनीपत-दिल्ली सीमा पर भारी पुलिस बल ने कुंडली की सीमा पर बैरिकेड की मदद से किसानों को रोका।
जत्थे में शामिल किसानों का कहना है कि वे हर हाल में रात को ही यहां से दिल्ली जाएंगे। बैरिकेड्स के एक तरफ किसानों का जत्था था तो दूसरी तरफ भारी संख्या में पुलिस बल तैनात है। पुलिस ने जत्थे को चेताया कि कानून व्यवस्था बिगड़ने नही दी जाएगी धारा 144 का उल्लंघन करने पर कार्रवाई की जाएगी। आगे जाने का रास्ता नहीं होने के कारण फिलहाल किसान बार्डर के पास डटे हुए हैं।
उधर कुंडली बार्डर पर पहुंचे किसानों को रोकने के लिए भारी संख्या में पुलिस बल तैनात किया है। पुलिस के अलावा रैपिड एक्शन फोर्स और पुलिस के जवान यहां पर तैनात हैं। बैरिकेडिंग पर कंटीले तारों की बाड़ लगाई गई है। सोनीपत के जिला उपायुक्त श्यामलाल पूनिया और पुलिस अधीक्षक जशनदीप सिंह रंधावा मौके पर मौजूद रहकर हालात का जायजा ले रहे हैं। पुलिस ने एक नाका बहालगढ़ में लगाया है। यहां पर दिल्ली की ओर किसी भी वाहन को नहीं जाने दिया जा रहा है। यहां पर पुलिस ने बैरिकेडिंग की है। वाहनों को वापस लौटाया जा रहा है।

किसान आंदोलन हो रहा है उग्र, हजारों किसान हरियाणा-दिल्ली मार्ग पर जमा

हरियाणा सरकार की सख्ती के बाद मोदी सरकार के तीन किसान कानूनों का जबरदस्त विरोध कर रहे किसान उग्र हो उठे हैं और उनके आंदोलन स्थल पर तनाव है। पंजाब में हरियाणा की सीमा पर कई जगह गुरुवार शाम को हजारों प्रदर्शनकारी किसान जुटे हुए हैं। ये किसान ‘दिल्ली चलो’ अभियान के तहत राष्ट्रीय राजधानी की ओर बढ़ रहे हैं, हालांकि उन्हें हरियाणा पुलिस ने सीमा पर रोक लिया है। प्रदर्शन कर रहे लोगों में पुरुष-महिलाएं, युवा और छात्रों के अलावा बुजुर्ग भी शामिल हैं। कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी ने किसानों के आंदोलन का समर्थन करते हुए उनसे ज्यादती का आरोप लगाया है।
गुरुवार को बड़ी संख्या में किसान अंबाला-पटियाला बॉर्डर पर पहुंच गए। इस दौरान जब पुलिस ने उन्हें बैरिकेटिंग लगाकर रोकने की कोशिश की तो उनका प्रदर्शन उग्र हो गया। किसानों ने सबसे पहले बैरिकेटिंग तोड़कर नदी में फेंक दी। जिस पर पुलिस ने भी आंसु गैस के गोले दागे और उन पर पानी की बैछार की। अभी भी इलाके में किसानों का प्रदर्शन जारी है।
आंदोलनकारी किसान ट्रैक्टर-ट्रेलर, कार और मोटरसाइकिल के जरिए पंजाब से हरियाणा में प्रवेश करने में कामयाब रहे। इन पर पानी की तेज धार भी छोड़ी गई। उनपर आंसू गैस  भी हरियाणा सरकार ने छोड़े। दिल्ली के मुख़्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल ने किसानों के आंदोलन को रोकने की निंदा की है। किसी अप्रिय स्थिति से निपटने के लिए रैपिड एक्शन फोर्स समेत पुलिस की एक बड़ी टुकड़ी को तैनात किया गया है।
जबरदस्त सुरक्षा और राजमार्ग पर बैरिकेडिंग से गुस्साए एक किसान का कहना था कि सरकार ने जो रास्ता रोका है उन बाधाओं को हम हटा देंगे। उसने कहा – ‘हम गोलियां खाने को भी तैयार हैं।’ क्षेत्र में धारा 144 लगी हुई है। है। प्रदर्शनकारियों का  नेतृत्व भारतीय किसान यूनियन (बीकेयू) के राज्य प्रमुख गुरनाम सिंह चारुनी कर रहे हैं। चारुनी ने कहा – ‘पुलिस को हमारे कार्यकर्ताओं और वाहनों को छोड़ देना चाहिए। हम बैरिकेड्स तोड़ते हुए दिल्ली की ओर मार्च करेंगे।’
उधर गुरुवार दोपहर किसान नेता योगेंद्र यादव जब किसानों के साथ गुरुग्राम पहुंचे उनको पुलिस ने हिरासत में ले लिया। उनके साथ 50 से ज्यादा किसानों को भी पुलिस बैन में भरकर अपने साथ ले गई। योगेंद्र और उनके समर्थकों के खिलाफ ये कार्रवाई पैंडमिक एक्ट के तहत की जा रही है। गिरफ्तारी के बाद योगेंद्र यादव ने कहा कि पुलिस कह रही है कि मैं और मेरे समर्थक शांति भंग कर रहे हैं। साथ ही मुझ पर पैंडमिक एक्ट के उल्लंघन का आरोप लगाया जा रहा है। मैं पूछता हूं कि जब रविवार को हरियाणा के मेवात में डिप्टी सीएम दुष्यंत चौटाला ने रैली की थी, तो क्या वहां पर नियमों को उल्लंघन नहीं  हुआ ?
हरियाणा पुलिस ने 100 के करीब किसान नेताओं को एहतियात के तौर पर हिरासत में लिया है। पुलिस के अनुमान के मुताबिक दोनों राज्यों के लगभग 3 लाख किसान दिल्ली चलो आंदोलन के तहत दिल्ली पहुंचने के लिए तैयार हैं। बता दें मोदी सरकार की नीतियों के खिलाफ आज देश की 10 केंद्रीय यूनियनों ने हड़ताल का ऐलान किया है। इसके अलावा किसानों ने भी नए कृषि कानूनों को लेकर मोर्चा खोल दिया है।
उधर किसानों के ‘दिल्‍ली चलो’ मार्च को लेकर स्थिति गंभीर हो रही है। फरीदाबाद, गुड़गांव, नोएडा और गाजियाबाद से लगी सीमाओं पर भारी फोर्स तैनात है। सिंघू सीमा पर दिल्ली पुलिस ने किसानों के ट्रैक्टरों की आवाजाही रोकने के लिए रेत से भरे ट्रकों को तैनात किया है। पुलिस के मुताबिक, कोई बॉर्डर सील नहीं है लेकिन राजधानी में घुसने वाली हर गाड़ी की चेकिंग हो रही है। इसकी वजह से बॉर्डर के पास भारी जाम लग गया है।
दिल्‍ली पुलिस ने किसानों को मार्च की इजाजत नहीं दी है। पंजाब-हरियाणा सीमा के पास स्थित कई इलाकों के निवासियों को पिछले 24 घंटों में सुरक्षा बलों की भारी तैनाती और बस सेवाओं के ठप होने के कारण कठिनाई का सामना करना पड़ रहा है। किसानों ने सड़कों और अन्य खुले स्थानों पर भीड़ जमा कर ली है। हरियाणा में प्रवेश करने वाली कई लिंक सड़कों को भी बंद कर दिया गया है। शाम में प्रदर्शन के चलते बहादुरगढ़ से दिल्ली की ओर वाहनों की आवाजाही बंद कर दी गई।

श्रीनगर में आतंकी हमला, 2 जवान शहीद

श्रीनगर में गुरुवार को एक आतंकी हमले में 2 जवान शहीद हो गए हैं। एक कार में आये आतंकियों ने जवानों पर फाइरिंग कर दी जिसमें यह जवान शहीद हो गए। हमला करने के बाद आतंकी वहां से भाग निकले।

जानकारी के मुताबिक इन आतंकियों की सुरक्षा बलों ने बड़े पैमाने पर तलाश शुरू कर दी है। आईजी विजय कुमार ने बताया कि 3 आतंकी एक कार में आए थे।  उनके मुताबिक इनमें से 2 विदेशी (पाकिस्तानी) होने की आशंका है।

सुरक्षा बलों ने पूरे इलाके की घेरा बंदी करने के बाद आतंकियों की तलाश शुरू कर दी है। सर्च अभियान के तहत पूरे इलाके को घेर लिया गया है। अभी तक आतंकियों के सुराग नहीं मिला है। यह पता नहीं चला कि आतंकी वहां पहुंचे कैसे।

सरकार की तानाशाही अन्नदाताओं के साथ मंहगी पड़ेगी: किसान संगठन

कृषि कानून के विरोध में देश भर के किसान अपनी मांगों को लेकर दिल्ली आना चाहते है । भारतीय किसान संघ से जुड़े नेता धरमबीर सिंह ने तहलका संवाददाता को बताया कि कोरोना महामारी के नांम पर अगर दिल्ली सरकार और केन्द्र की भाजपा सरकार रोकना चाहती है। तो ये उनकी भूल है कि किसान रूक जायेगे। धरमबीर सिंह का कहना है कि किसानों को कोई रोक नहीं सकता है। क्योंकि आज जो किसानों ने प्रदर्शन कर हरियाणा के अंबाला , फरीदाबाद में किया है, उससे नेताओं को और पुलिस को समझ जाना चाहिये कि किसान अपने अधिकारों को लेकर आर –पार की लड़ाई भी कर सकते है।

किसानों का कहना है कि सरकार की तानाशाही अन्नदाताओं के साथ मंहगी पड़ेगी। किसान ने नोटबंदी से लेकर देश में कोरोना काल में मजबूती के साथ आर्थिक व्यवस्था से लेकर जीडीपी को मजबूती प्रदान की है।  किसान नेता चन्द्रपाल सिंह का कहना है कि दिल्ली में किसान आकर सरकार की किसान विरोधी नीतियों का विरोध करेगा। उन्होंने कहा कि कोरोना महामारी के नाम पर किसानों को आने नहीं दिया जा रहा है। जबकि चुनाव में रैलियों के दौरान जमकर भीड़ हुई है। उसी के कारण देश में कोरोना के मामले बढ़े है और मौतें भी। चन्द्रपाल सिंह का कहना है कि “नये –नये कानून लाकर किसानों को परेशान किया जा रहा है। जिससे आज देश का किसान परेशान है। किसानों ने भी ठाना है , किसान विरोधी सरकार को भगाना है। आज का उग्र प्रदर्शन इसी बात का निशाना है।”

दिग्गज फुटबॉलर डिएगो माराडोना का निधन

मशहूर फुटबॉल खिलाड़ी डिएगो माराडोना का निधन हो गया है। उनकी उम्र 60 साल थी। तबीयत खराब होने के बाद उन्हें अस्पताल में भर्ती किया गया था। लेकिन दिल का दौरा पड़ने से उनका अब से कुछ देर पहले निधन हो गया।

जानकारी के मुताबिक माराडोना को सेहत बिगड़ने के बाद अस्पताल में भर्ती कराया गया था जहाँ उनके कई टेस्ट किए गए। इस दौरान स्कैन में उनके ब्रेन में खून का थक्का जमने की बात उजागर हुई थी।

बता दें माराडोना का कुछ समय पहले कोविड -19 का भी टेस्ट हुआ था, हालांकि,  उनकी रिपोर्ट निगेटिव आई थी। दो हफ्ते पहले उन्हें अस्पताल से छुट्टी मिली थी।  उन्हें ब्रेन सर्जरी के लिए भर्ती करवाया गया था।

माराडोना की गिनती दुनिया के दिग्गज फुटबॉल खिलाडियों में होती है और उन्होंने 1986 में अर्जेंटीना को वर्ल्ड कप जिताने में अहम रोल निभाया था। उस टूर्नामेंट में उनका विश्व प्रसिद्ध गोल भी शामिल है, जिसे ‘हैंड ऑफ गॉड’ के नाम से जाना जाता है। इसी गोल की मदद से अर्जेंटीना ने इंग्लैंड को टूर्नामेंट से बाहर कर दिया है। उनके निधन पर संवेदना के सन्देश आ रहे हैं।