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चंद्रयान-3 का चांद पर नया कारनामा, प्रज्ञान ने कर दी बहुत बड़ी खोज; वैज्ञानिकों के लिए बड़ी उपलब्धि

अहमदाबाद  : भारत के चंद्र मिशन चंद्रयान-3 ने एक बार फिर वैज्ञानिकों को चकित कर दिया है। चंद्रयान-3 का प्रज्ञान रोवर चंद्रमा की सतह पर लगातार नई खोज कर रहा है। इसी क्रम में रोवर ने चंद्रमा पर 160 किलोमीटर चौड़ा एक नया गड्ढा खोजा है।

यह नया गड्ढा चंद्रमा के शुरुआती भूवैज्ञानिक इतिहास के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी प्रदान कर सकता है। माना जाता है कि यह गड्ढा चंद्रमा के सबसे बड़े और सबसे पुराने प्रभाव बेसिन, ऐटकेन बेसिन के बनने से पहले ही अस्तित्व में था। इस गड्ढे की नई परत पर मौजूद धूल और चट्टानों का अध्ययन करके वैज्ञानिक चंद्रमा की उत्पत्ति और विकास के बारे में अधिक जान सकेंगे।

रोवर ने इस गड्ढे की उच्च गुणवत्ता वाली तस्वीरें ली हैं, जिनसे वैज्ञानिक इसकी संरचना का विस्तृत अध्ययन कर रहे हैं। रोवर द्वारा एकत्रित किए गए डेटा से चंद्रमा के बारे में कई नए तथ्य सामने आ रहे हैं। यह खोज वैज्ञानिकों के लिए बेहद उत्साहवर्धक है। इससे चंद्रमा के बारे में हमारे ज्ञान में वृद्धि होगी और भविष्य के चंद्र मिशनों के लिए नई राहें खुलेंगी। चंद्रयान-3 मिशन भारत की वैज्ञानिक उपलब्धियों का प्रमाण है। यह मिशन भारत को अंतरिक्ष अनुसंधान के क्षेत्र में एक अग्रणी देश बना रहा है।

रिया सिंघा ने जीता मिस यूनिवर्स इंडिया 2024 का खिताब

मुंबई : भारतीय सुंदरी रिया सिंघा को मिस यूनिवर्स इंडिया का ताज पहनाया गया है। वह अब वैश्विक स्तर पर मिस यूनिवर्स 2024 प्रतियोगिता में भारत का प्रतिनिधित्व करेंगी। प्रतिष्ठित खिताब के लिए देश भर से 50 से अधिक प्रतियोगियों ने अपनी दावेदारी पेश की थी।

रिया सिंघा ने समाचार एजेंसी से कहा, “आज मैंने मिस यूनिवर्स इंडिया 2024 का खिताब जीत लिया। मैं बहुत आभारी हूं। मैंने इस मुकाम तक पहुंचने के लिए बहुत मेहनत की है, जहां मैं खुद को इस ताज के काबिल समझ सकती हूं। मैं पिछले विजेताओं से बहुत प्रेरित हूं।” सोशल मीडिया पर भी सभी रिया सिंघा को ढेर सारी बधाई दे रहे हैं और आने वाले प्रतियोगिताओं के लिए शुभकामनाएं भी दे रहे हैं। इस प्रतियोगिता का आयोजन हर साल किया जाता है और इसकी विजेता इंटरनेशनल स्तर पर आयोजित मिस यूनिवर्स प्रतियोगिता में भारत का प्रतिनिधित्व करती हैं।

क्वाड शिखर सम्मेलन में हिस्सा लेने अमेरिका दौरे पर रवाना हुए पीएम मोदी

नई दिल्ली : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शनिवार को अमेरिका की तीन दिवसीय यात्रा पर रवाना हो गए हैं। अमेरिका में पीएम मोदी क्वाड शिखर सम्मेलन में हिस्सा लेंगे और संयुक्त राष्ट्र के ‘भविष्य के शिखर सम्मेलन’ को संबोधित करेंगे। इसके अलावा, प्रधानमंत्री एक सामुदायिक कार्यक्रम में भी हिस्सा लेंगे और वहां भारतीय प्रवासियों से बातचीत करेंगे।

प्रधानमंत्री मोदी ने शनिवार को इस यात्रा से पहले कहा, ‘आज, मैं अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन द्वारा उनके गृहनगर विलमिंगटन में आयोजित किए जा रहे क्वाड शिखर सम्मेलन में हिस्सा लेने और न्यूयॉर्क में संयुक्त राष्ट्र महासभा (यूएनजीए) में भविष्य के शिखर सम्मेलन को संबोधित करने के लिए अमेरिका की तीन दिवसीय यात्रा पर जा रहा हूं।”

पीएम मोदी ने आगे कहा, “मैं क्वाड शिखर सम्मेलन में अपने सहयोगियों राष्ट्रपति जो बाइडेन, ऑस्ट्रेलिया के प्रधानमंत्री अल्बानीज और जापान के प्रधानमंत्री फुमियो किशिदा के साथ शामिल होने के लिए उत्सुक हूं। यह मंच हिंद-प्रशांत क्षेत्र में शांति, प्रगति और समृद्धि के लिए काम करने वाले समान विचारधारा वाले देशों के एक प्रमुख समूह के रूप में उभरा है।”

पीएम मोदी ने आगे कहा कि राष्ट्रपति जो बाइडेन के साथ उनकी बैठक ‘हमें अपने लोगों और वैश्विक भलाई के लाभ के लिए भारत-अमेरिका व्यापक वैश्विक रणनीतिक साझेदारी को और गहरा करने के लिए नए रास्तों की समीक्षा करने और उनकी पहचान करने की अनुमति देगी’।

प्रधानमंत्री ने कहा है कि वह भारतीय प्रवासी समुदाय और अमेरिकी महत्वपूर्ण व्यावसायिक नेताओं से बातचीत करेंगे। उनका कहना है कि यह यात्रा दुनिया की सबसे बड़ी और सबसे पुरानी लोकतंत्रों (भारत और अमेरिका) के बीच संबंधों को मजबूत करने में मदद करेगी।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ‘भविष्य के शिखर सम्मेलन’ को वैश्विक समुदाय के लिए मानवता की बेहतरी के लिए आगे का रास्ता तय करने का अवसर बताते हुए कहा, “मैं मानवता के छठे हिस्से के विचारों को साझा करूंगा क्योंकि शांतिपूर्ण और सुरक्षित भविष्य में उनकी हिस्सेदारी दुनिया में सबसे अधिक है।”

तिरुपति मंदिर के प्रसाद  में जानवरों की चर्बी और मछली के तेल का इस्तेमाल

नई दिल्ली: आंध्र प्रदेश के तिरुपति मंदिर के प्रसाद (लड्डू) में जानवरों की चर्बी और मछली के तेल का इस्तेमाल होने की बात सामने आने के बाद देशभर में सियासी हंगामा मचा हुआ है। इस मामले को लेकर हर कोई सवाल उठा रहा है। आरोप लग रहा है कि प्रसाद में मिलावट करके हिंदुओं की आस्था के साथ खिलवाड़ किया गया है। हालांकि, ये पहली बार नहीं है, जब तिरुपति मंदिर के प्रसाद ने विवाद को जन्म दिया है। करीब 40 साल पहले भी ऐसे ही सवाल उठे थे।

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, मंदिर के प्रसाद की क्वालिटी को लेकर पहली बार सवाल 80 के दशक में उठे थे। एक रिटायर्ड अफसर ने दावा किया था कि उन्होंने तिरुपति मंदिर से जो लड्डू लिए थे, उस प्रसाद में फफूंदी और कील निकली थी। अधिकारी के इन आरोपों के बाद मामले ने तूल पकड़ा और विवाद आंध्र प्रदेश विधानसभा तक पहुंच गया।

प्रसाद की क्वालिटी गिरने को लेकर सवाल उठाए गए और फिर इसकी जांच भी की गई। रिपोर्ट्स के अनुसार, इस संबंध में 1985 में एक रिपोर्ट भी सामने आई। इसके बाद तत्कालीन मुख्यमंत्री एनटी रामाराव ने एक्शन लिया और कई कर्मचारियों को काम से निकाल दिया गया। साथ ही प्रसाद को बनाने में वैज्ञानिक तरीके के इस्तेमाल को मंजूरी दी गई थी। हालांकि, नए विवाद ने 300 साल पुराने तिरुपति प्रसाद की मिठास में कड़वाहट ला दी है।

बता दें कि तिरुपति वेंकटेश्वर मंदिर आंध्र प्रदेश के तिरुपति जिले के पहाड़ी शहर तिरुमला में स्थित है। यह मंदिर भगवान विष्णु के एक रूप भगवान वेंकटेश्वर को समर्पित है। ऐसा माना जाता है कि वे मानव जाति को परेशानियों से बचाने के लिए पृथ्वी पर प्रकट हुए थे। इसलिए इस स्थान को कलियुग वैकुंठ भी कहा जाता है।

इस मंदिर को तिरुमाला मंदिर, तिरुपति मंदिर और तिरुपति बालाजी मंदिर जैसे अन्य नामों से भी पुकारा जाता है। इस मंदिर को तिरुमला तिरुपति देवस्थानम (टीटीडी) द्वारा चलाया जाता है, जो आंध्र प्रदेश सरकार के अधिकार क्षेत्र में आता है। तिरुपति का इतिहास भी सदियों पुराना है, लेकिन इसे लेकर भी इतिहासकारों में काफी मतभेद देखने को मिलता है। कहा जाता है कि चोल, होयसल और विजयनगर के राजाओं ने इस मंदिर के निर्माण में खास योगदान दिया था। इस मंदिर के प्रसाद का इतिहास भी 300 साल पुराना बताया जाता है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, मंदिर में प्रसाद बनाने की प्रथा साल 1715 के आसपास शुरू हुई थी, जिन्हें साल 2014 में जाई टैग भी दिया गया।

इजरायल-लेबनान तनाव के बीच मिडिल ईस्‍ट जाने वाली सभी उड़ानें कैंसिल

नई दिल्‍ली : इजरायल-लेबनान के बीच बढ़ रहे तनाव के मद्देनजर कई एयरलाइनों ने यात्रियों की सुरक्षा को ध्‍यान में रखते हुए मिडिल ईस्‍ट में अपनी उड़ानें निलंबित कर दी हैं। ऐसे में मिडिल ईस्‍ट की यात्रा की योजना बना रहे यात्रियों को अपनी प्लानिंग में बदलाव करना पड़ सकता है।

एयर इंडिया, एयर फ्रांस-केएलएम, लुफ्थांसा, कैथे पैसिफिक और डेल्टा एयरलाइंस सहित कई कंपनियों ने सुरक्षा कारणों से तेल अवीव, बेरूत और अन्य गंतव्यों के लिए सेवाएं रोक दी हैं।

जानकारी के अनुसार भारतीय एयरलाइन कंपनी एयर इंडिया ने तेल अवीव के लिए सभी उड़ानें अगली सूचना तक रद्द कर दी हैं। अल्जीरियन एयरलाइन एयर अल्जेरी ने लेबनान के लिए अपनी उड़ानें अगली सूचना तक रद्द कर दी हैं। एयर फ्रांस-केएलएम ने 19 सितंबर तक बेरूत और तेल अवीव के लिए सेवाएं रद्द की थीं, जोकि अभी भी बंद है। इसके अलावा केएलएम ने तेल अवीव के लिए 26 अक्टूबर तक की सभी उड़ानें और बेरूत व अन्य गंतव्यों के लिए 31 मार्च 2025 तक की सेवाएं निलंबित कर दी हैं। कैथे पैसिफिक ने मार्च 2025 तक तेल अवीव के लिए उड़ानें निलंबित कर दी हैं। डेल्टा एयरलाइंस ने 31 दिसंबर 2024 तक न्यूयॉर्क और तेल अवीव के बीच की उड़ानें स्थगित कर दी हैं।

तिरुपति मंदिर प्रसाद में मिलावट मामला, कांग्रेस प्रवक्ता पवन खेड़ा बोले- भक्तों की आस्था संग खिलवाड़

नई दिल्ली : तिरुपति मंदिर के प्रसाद में मिलावट को लेकर कांग्रेस प्रवक्ता पवन खेड़ा ने बयान दिया है। उन्होंने कहा है कि अगर प्रसाद में जानवरों की चर्बी मिलाए जाने की बात सच है, तो इसकी निष्पक्ष जांच हो और इसमें शामिल आरोपियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई हो। इसके साथ ही उन्होंने इस मसले के तार ‘ध्रुवीकरण की साजिश’ संग जुड़े होने की आशंका जताई है।

खेड़ा ने एक्स पर आगे लिखा, “अगर तिरुपति मंदिर में भगवान को चढ़ाए जाने वाले प्रसाद में जानवरों के मांस होने के संबंध में किए गए दावे गलत हुए, तो मैं एक बात स्पष्ट कर देना चाहता हूं कि श्रद्धालु और भक्तगण कभी माफ नहीं करेंगे। ऐसा करके भक्तों की आस्था के साथ खिलवाड़ किया जा रहा है, जिसे किसी भी कीमत पर स्वीकार नहीं किया जा सकता है।”

कांग्रेस नेता ने भाजपा पर निशाना साधाते हुए कहा, “भाजपा चुनावी माौसम के बीच ध्रवीकरण की साजिश के सिद्धांतों को हवा देने में माहिर है।”

बता दें कि राष्ट्रीय विकास बोर्ड के तहत सेंटर फॉर एनालिसिस एंड लर्निंग इन लाइवस्टॉक एंड फुड लैब की रिपोर्ट में हुए खुलासे में यह बात सामने आई है कि तिरुपति मंदिर में भगवान को चढ़ाए जाने वाले प्रसाद में पशु चर्बी का इस्तेमाल किया जा रहा है। इस खुलासे ने देश में नई बहस को जन्म दे दिया है।

एनडीडीबी की रिपोर्ट में इस बात का खुलासा हुआ है कि तिरुपति मंदिर में भगवान को चढ़ाए जाने वाले प्रसाद में जानवरों के मांस की चर्बी और फिश ऑयल का इस्तेमाल किया गया। दावा किया गया है कि यह सबकुछ उस घी में इस्तेमाल किया गया है, जिसका उपयोग प्रसाद बनाने के लिए किया जाता है। इस प्रसाद का इस्तेमाल ना सिर्फ भगवान को चढ़ाने के लिए किया गया, बल्कि भक्तों के बीच भी इसे बड़े पैमाने पर बांटा गया।

भारत में बनेगा क्वांटम और 6जी टेक्नोलॉजी के लिए सेंटर ऑफ एक्सीलेंस

नई दिल्ली : भारत की 6जी और क्वांटम टेक्नोलॉजी में स्थिति मजबूत करने के लिए टेलीकॉम सेंटर ऑफ एक्सीलेंस (टीसीओई) इंडिया और कर्नाटक की विश्वेश्वरैया टेक्नोलॉजिकल यूनिवर्सिटी (वीटीयू) की ओर से सेंटर ऑफ एक्सीलेंस (सीओई) स्थापित करने के लिए करार किया गया है।

संचार मंत्रालय द्वारा दी गई जानकारी के मुताबिक, वीटीयू – विश्वेश्वरैया रिसर्च और इनोवेशन फाउंडेशन (वीआरआईएफ) बेंगलुरु का उद्देश्य भारत की प्रगति को इन सेक्टरों में बढ़ाना है।

सीओई को हब एंड स्पोक मॉडल आधार पर डिजाइन किया जाएगा। टीसीओई इंडिया एक सेंट्रल हब के रूप में काम करेगा।

सरकार के मुताबिक, वीटीयू से जुड़े 228 कॉलेज के बौद्धिक और ढांचागत क्षमता का फायदे उठाते हुए सीओई रिसर्च और डेवलपमेंट के लिए एक मुख्य सुविधा के तौर पर कार्य करेगी।

सीओई के जरिए क्वांटम और 5जी एवं 6जी टेक्नोलॉजी में कटिंग एज रिसर्च को बढ़ावा दिया जाएगा। साथ ही साझेदारी और इनोवेशन को भी प्रोत्साहित किया जाएगा।

सीओई में टेलीकॉम स्टैंडर्डाइजेशन को लेकर काम कर रही मुख्य संस्थाएं जैसे टेलीकॉम इंजीनियरिंग सेंटर (टीईसी), भारत 6जी एलायंस, टीसीडीएसआई, एकेडमिक नेटवर्क और स्टार्टअप इकोसिस्टम में साझेदारी को बढ़ाया जाएगा।

इससे 4 लाख से ज्यादा छात्रों और 2,000 से ज्यादा पीएचडी और वीटीयू नेटवर्क में रिसर्च कर रहे रिसचर्स को मदद मिलेगी। साथ ही इनोवेशन के कमर्शियलाइजेशन में मदद मिलेगी।

राष्ट्रीय क्वांटम मिशन में मिशन गवर्निंग बोर्ड के चेयरमैन अजय चौधरी ने कहा कि देश में 600 वैज्ञानिक और 50 स्टार्टअप क्वांटम टेक्नोलॉजी में काम कर रहे हैं।

भारत की ओर से अप्रैल 2023 में राष्ट्रीय क्वांटम मिशन लॉन्च किया था। इसका उद्देश्य क्वांटम से जुड़े विज्ञान और टेक्नोलॉजी में क्षमताएं विकसित करना है।

हाईकोर्ट जज के बयान पर भड़का सुप्रीम कोर्ट, लिया स्वत संज्ञान; मुस्लिम इलाके को बताया था पाकिस्तान

बेंगलुरु : कर्नाटक हाई कोर्ट के जज वेदव्यासचार श्रीशानंद की मुश्किलें बढ़ गई हैं। जज ने हाल ही में बेंगलुरु के एक मुस्लिम बहुल इलाके, गोरी पाल्या, को “पाकिस्तान” बताया, जिसका वीडियो सोशल मीडिया  पर वायरल हो गया। इस मामले पर अब सुप्रीम कोर्ट  ने स्वत: संज्ञान लिया है।

चीफ जस्टिस  डी वाई चंद्रचूड़ ने कहा है कि इस मुद्दे पर दिशा-निर्देश जारी किए जाएंगे। उन्होंने कहा कि अदालती कार्यवाही के दौरान जज द्वारा की गई टिप्पणियों पर मीडिया रिपोर्ट्स ने ध्यान आकर्षित किया है। जस्टिस श्रीशानंद ने यह टिप्पणी 28 अगस्त को एक मामले की सुनवाई के दौरान की थी।

सीजेआई (CJI) ने कर्नाटक हाई कोर्ट के जज से अनुरोध किया है कि वह हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस से निर्देश लेकर रिपोर्ट प्रस्तुत करें। इस रिपोर्ट के लिए दो दिन का समय दिया गया है, और इसे हाई कोर्ट के सेक्रेटरी जनरल द्वारा तैयार किया जा सकता है। एजी (AG) और एसजी इस प्रक्रिया में कोर्ट की सहायता करेंगे। इस मामले में अगली सुनवाई 25 सितंबर को होगी।

जस्टिस वेदव्यासचार श्रीशानंद ने 28 अगस्त को सुनवाई के दौरान गोरी पाल्या को पाकिस्तान बताया और कहा कि “यहां कानून लागू नहीं होता”। उन्होंने यह भी कहा कि “गोरी पाल्या से मैसूर फ्लाईओवर तक का इलाका पाकिस्तान में है, भारत में नहीं।” जज श्रीशानंद किराया नियंत्रण अधिनियम से संबंधित मामले की सुनवाई कर रहे थे।

जस्टिस श्रीशानंद ने 5 मई 2020 को कर्नाटक हाई कोर्ट के एडिशनल जज के रूप में शपथ ली थी और 25 सितंबर 2021 को स्थायी जज बने।

प्रधानमंत्री मोदी को मिले इन खास गिफ्ट्स की हो रही है नीलामी

नई दिल्ली :  हर साल की तरह इस साल भी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को मिले गिफ्ट्स की नीलामी की जा रही है। इन गिफ्ट्स में पैरालिंपिक पदक विजेताओं की वस्तुएं और अयोध्या के राम मंदिर की प्रतिकृति या रेप्लिका समेत करीब 600 चीजें शामिल हैं।

प्रधानमंत्री ने सोशल मीडिया हैंडल पर लिखा, ‘हर साल मैं सार्वजनिक कार्यक्रमों के दौरान मिलने वाले विभिन्न स्मृति चिह्नों की नीलामी करता हूं। नीलामी की आय नमामि गंगे पहल में जाती है। मुझे यह बताते हुए खुशी हो रही है कि इस साल की नीलामी शुरू हो गई है। उन स्मृति चिन्हों के लिए बोली लगाएं जो आपको दिलचस्प लगते हैं।’

कितनी हो सकती है कीमत–  संस्कृति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने सोमवार को यहां नेशनल गैलरी ऑफ मॉडर्न आर्ट में, प्रधानमंत्री को मिले स्मृति चिह्न का प्रदर्शन करने वाली प्रदर्शनी का अवलोकन किया। बाद में उन्होंने एक संवाददाता सम्मेलन में बताया कि इन उपहारों की नीलामी के लिए आधार मूल्य एक सरकारी समिति तय करती है और कीमतें न्यूनतम 600 रुपये से लेकर अधिकतम 8.26 लाख रुपये तक होती हैं। जिन वस्तुओं का आधार मूल्य सबसे ज्यादा रखा गया है, उनमें पैरालिंपिक कांस्य पदक विजेता नित्या श्री सिवन और सुकांत कदम के बैडमिंटन रैकेट के अलावा रजत पदक विजेता योगेश खातुनिया का ‘डिस्कस’ शामिल है। इनका आधार मूल्य 5.50 लाख रुपये के आसपास तय किया गया है। पैरालंपिक कांस्य पदक विजेता अजीत सिंह और सिमरन शर्मा तथा रजत पदक विजेता निशाद कुमार द्वारा भेंट किए गए जूतों के अलावा रजत पदक विजेता शरद कुमार की हस्ताक्षरित टोपी का आधार मूल्य 2.86 लाख रुपये के आसपास रखा गया है।

राम मंदिर की एक प्रतिकृति जिसकी कीमत 5.50 लाख रुपये है, मोर की एक मूर्ति जिसकी कीमत 3.30 लाख रुपये है, राम दरबार की एक मूर्ति जिसकी कीमत 2.76 लाख रुपये है और चांदी की वीणा जिसकी कीमत 1.65 लाख रुपये है, उच्च आधार मूल्य वाली अन्य वस्तुओं में शामिल हैं। सबसे कम आधार मूल्य वाले उपहार में सूती अंगवस्त्रम, टोपी और शॉल शामिल हैं, जिनकी कीमत 600 रुपये रखी गई है।

इस तरह ले सकते है भाग- https://pmmementos.gov.in/ वेबसाट पर रजिस्टर कर नीलामी में भाग ले सकते हैं। अगर आपके पास पहले ही लॉगिन डिटेल्स मौजूद हैं, तो इनकी मदद से आप पसंदीदा चीजों को कार्ट में जोड़ सकते हैं। वहीं, नए यूजर मोबाइल नंबर, ई-मेल जैसी जानकारी की मदद से साइन अप कर सकते हैं। साथ ही अगर ममेंटोज को राजधानी दिल्ली स्थित जयपुर हाउस में नेशनल गैलरी ऑफ मॉडर्न आर्ट में देख सकते हैं। इन्हें सुबह 11 बजे से लेकर शाम 6 बजे तक देखा जा सकता है।

बिहार के नवादा में दबंगों ने फायरिंग कर 80 घरों को किया आग के हवाले

नवादा :बिहार के नवादा में जमीन विवाद को लेकर दबंगों ने दलित बस्ती में आग लगा दी। करीब 80 घर इस आग में जलकर खाक हो गए। पुलिस का कहना है कि 20 घर ही आग में जले हैं और इस घटना में किसी की मौत नहीं हुई है। इस मामले में पुलिस ने 10 आरोपियों को गिरफ्तार भी कर लिया है। वहीं आरजेडी नेता तेजस्वी यादव ने इस घटना पर नीतीश सरकार को घेरा है। यह घटना नवादा के मुफस्सिल थाना क्षेत्र के ननौरा के पास स्थित कृष्णा नगर दलित बस्ती की है। यहां दो पक्षों में जमीन को लेकर विवाद चल रहा था। जिसको लेकर बुधवार रात दबंगों ने दलित परिवारों के साथ मारपीट की थी और फिर हवाई फायरिंग के बाद उनके घरों को आग लगा दी।

बताया जा रहा है कि गांव में जमीन के एक हिस्से पर फिलहाल दलित परिवारों का कब्जा है। इस जमीन पर कब्जे को लेकर दूसरे पक्ष से विवाद चल रहा है। पीड़ितों का आरोप है कि बुधवार रात को अचानक दबंगों ने हमला कर दिया। मारपीट के साथ उनके घरों में आग लगा दी गई। एसपी अभिनव धीमान ने बताया, कि सूचना मिली थी कि कुछ व्यक्तियों द्वारा घरों को जलाया गया है। शुरुआत में दावा किया गया था कि 40-50 घर जलाए गए, लेकिन हमने जितना अभी तक सिविल साइड और पुलिस ने रात के अंधेरे में जितना सर्वे किया है, करीब 21 घरों के परिवारों को हमने चिन्हित किया है।इसके साथ ही पुलिस अधीक्षक ने यहां हवाई फायरिंग की घटना से इनकार किया है।

एसपी ने बताया कि इस घटना के जो मुख्य आरोपी बताए जा रहे थे, उनको हमने गिरफ्तार कर लिया है। मुख्य आरोपी के साथ-साथ 10 लोगों को गिरफ्तार किया है। उन्होंने कहा, जब तक हालात सामान्य नहीं हो जाते, तब तक पुलिस फोर्स तैनात रहेगी। बताया जा रहा है कि लगभग 5 थानों की पुलिस को यहां बुलाया गया है।

नवादा की घटना पर तेजस्वी यादव का बयान आया है। तेजस्वी ने इस घटना की तुलना महा जंगलराज, महा दानवराज, महा राक्षसराज से की है। उन्होंने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘X’ पर लिखा, “महा जंगलराज महा दानवराज महा राक्षसराज। नवादा में दलितों के 100 से अधिक घरों में लगाई आग। नरेंद्र मोदी और नीतीश कुमार के राज में बिहार में आग ही आग। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार बेफिक्र, NDA के सहयोगी दल बेखबर। गरीब जले, मरे-इन्हें क्या? दलितों पर अत्याचार बर्दाश्त नहीं होगा।