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कोरोना की तरह नये कोरोना वायरस से करें बचाव, घबरायें नहीं

भले ही ब्रिटेन में कोरोना वायरस का नया रूप हडकंप मचाये हुये है पर भारत में इस नये वायरस का कोई मामला सामने नहीं आया है। लेकिन देश में स्वास्थ्य सेवायें चौकस और सतर्क कर दी गयी है। लोगों को जागरूक भी किया जा रहा है।

स्वास्थ्य महकमें में जरूर हडकंप है पर डाँक्टरों का कहना है कि नया कोरोना ज्यादा घातक नहीं है। लेकिन बच्चों को अपने चपेट में ले सकता है। नेशनल मेडिकल फोरम के चेयरमैन डाँ प्रेम अग्रवाल का कहना है कि जिस प्रकार लोगों ने कोरोना से बचाब किया है उसी तरह, इस वायरस से बचाव की जरूरत है। घबरानें की नहीं बल्कि सतर्कता बरतनें की जरूरत है।

सीनियर डाँ दिव्यांग देव गोस्वामी का कहना है कि पहले ही कोरोना वैज्ञानिकों और चिकित्सा जगत के लिये एक अबूझ पहेली बना हुआ है। अब नये रूप में आने से चिंता बढ़ा दी है। डाँ दिव्यांग का कहना है कि ब्रिटेन और दक्षिण अफ्रीका में मिले नये स्ट्रेन में वायरल लोड पाया गया है। जो चिंता का कारण है।

एम्स के डाँ अजय पाल का कहना है कि, कोरोना से जिस तरीके से बचाव किया है। उसी तरह इसका बचाव है। मास्क , सोशल डिस्टेंसिंग है। बाल रोग विशेषज्ञ डाँ राकेश जैन का कहना है कि बच्चों में अभी नये स्ट्रेन से इंफेक्शन के कोई मामले सामने नहीं आये है पर बच्चों को इस मामलें ज्यादा सावधान रहने की आवश्यकता है।

यमुना एक्सप्रेस वे पर कंटेनर से टकराने के बाद कार में आग, पांच लोग जिंदा जले 

यमुना एक्सप्रेस वे पर मंगलवार तड़के आगरा से नोएडा की ओर जा रही कार कंटेनर के डीजल टैंक से टकरा गई। टक्कर के बाद कार में आग लग गई। इसमें सवार लोगों को बाहर निकलने का भी मौका नहीं मिला। कार सवार सभी पांच लोग जिंदा जल गए। दमकल ने जब तक आग बुझाई, तब तक सभी जान गंवा चुके थे।
स्विफ्ट डिजायर कार नंबर यूपी 32 केवी 6788 आगरा से लखनऊ की ओर जा रही थी। जानकारी के अनुसार, कन्टेनर चालक ने कंटेनर को अचानक मोड़ दिया। कार तेज रफ्तार में थी। वह अनियंत्रित होकर कंटेनर के डीजल टैंक से जा टकराई। इसके बाद कार में आग लग गई।  कार सेंट्रल लॉक हो जाने के कारण लॉक नहीं खुल सका। यमुना एक्सप्रेस के बूथ के कर्मचारी ने पुलिस को सूचना दे दी। तब तक कंटेनर छोड़कर चालक भाग गया। कार में फंसे लोग नहीं निकल सके। मरने वालों में एक बच्चा, एक महिला और तीन पुरुष शामिल हैं।

डीडीसी नतीजों में कश्मीर में गुपकार गठबंधन बहुत आगे, जम्मू में भाजपा की बढ़त, कांग्रेस को भी अच्छी सीटें

जम्मू-कश्मीर में जिला विकास परिषद यानी (डीडीसी) के लिए हुए चुनाव के मतों की गिनती शुरू हो गयी है। अभी (12.45 बजे) तक के रुझानों में 280 में से 174 सीटों के रुझान/नतीजे आए हैं। गुपकार गठबंधन 64 सीटों पर आगे है, जबकि भाजपा 48  सीटों पर आगे चल रही है जिनमें जम्मू में ज्यादा सीटें हैं। कांग्रेस, जिसने इस चुनाव में प्रचार तक नहीं किया था, को भी 19, जेकेएपी 5 और अन्य 38 सीटों पर आगे चल रहे हैं। इस बीच कांग्रेस नेता सैफ-उद-दिन सोज ने कहा है कि यदि जरूरत पड़े तो कांग्रेस को गुपकार का समर्थन करना चाहिए।

कुल 2178 उम्मीदवारों की किस्मत का फैसला होना है। चुनाव के 8 चरणों में 51.42 फीसदी मतदान हुआ था। रुझानों से जाहिर होता है कि भाजपा ने जम्मू डीडीसी चुनाव में बेहतर प्रदर्शन किया है, हालांकि कश्मीर में गुपकार गठबंधन को जबरदस्त समर्थन मिला है।

इस बीच कांग्रेस नेता सैफ-उद-दिन सोज ने कहा है कि यदि जरूरत पड़े तो कांग्रेस को गुपकार का समर्थन करना चाहिए। सोज ने कहा कि भाजपा धन दौलत खर्च करके लोगों को फंसाने की कोशिश कर रही है। कहा कि कांग्रेस के सामने गुपकार अलायंस मेन स्ट्रीम पार्टी है,  मेरी निजी राय यही है कि अगर जरूरत पड़ी तो कांग्रेस को गुपकार अलायंस को सपोर्ट करना चाहिए। उन्होंने कहा – ‘भाजपा के लिए शर्म और शैतानी की बात है जो गुपकार को गैंग कहते हैं, जम्हूरियत हिंदुस्तान में ऐसी हिमाकत की जाए ऐसा झूठ बोला जाए यह गलत है। जो पार्टी वहां इकट्ठा हुई है वह बड़ी पार्टी है, कांग्रेस की पोजीशन अलग है’।

कश्मीर में गुपकार गठबंधन का पलड़ा भारी है। जम्मू संभाग के पहले नतीजे में  कांग्रेस उम्मीदवार ने रियासी सीट पर जीत दर्ज की है। भाजपा कई सीटों पर बढ़त बनाए है। देश की नजर कश्मीर पर है जहाँ गुपकार गठबंधन धारा 370 हटाने का सख्त विरोध कर रहा है। कश्मीर के नतीजे पहले आने की उम्मीद है। हालांकि सभी नतीजे शाम तक ही सामने आ पाएंगे।

उधर कठुआ नगर परिषद के दो वार्डों में हुए उपचुनावों में भाजपा के अनिरूद्ध शर्मा ने वार्ड 7 से विजय हासिल की है। वार्ड नंबर 2 में पूर्व सांसद और पूर्व मंत्री लाल सिंह के छोटे भाई राजेंद्र सिंह बब्बी ने भाजपा को हराकर जीत हासिल की है। रियासी नगर पॉलिका वार्ड नंबर 11 से कांग्रेस प्रत्याशी रिपी दुबे ने अपनी प्रतिद्वंद्वी भाजपा की संतोष कुमारी को 3 वोट से हराया।

22 दिसंबर से महाराष्ट्र में नाइट कर्फ्यू, मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे का बड़ा फैसला

मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने कल से महाराष्ट्र 14 दिनों तक रात्र कर्फ्यू लगाने का फैसला किया है। मुंबई व अन्य बड़े शहरों में 22 दिसंबर 2020 से लेकर 4 जनवरी 2021 तक रात 11 बजे से सुबह 6 बजे तक कर्फ्यू लगाया जाएगा।

मुख्यमंत्री ने ब्रिटेन में कोरोना वायरस में आए नये स्ट्रेन के चलते एहतियाती उपायों के लिए एक बैठक बुलाई। ब्रिटेन में वायरस के प्रसार को रोकने के लिए कर्फ्यू लगाया गया है। जिसके मद्देनजर, एहतियात के तौर पर महाराष्ट्र में रात का कर्फ्यू लगाने का फैसला किया गया है।

इसके साथ ही यूरोप और मध्य पूर्व देश से आने वाले यात्रियों को 14 दिनों तक इंस्टिट्यूशनल क्वारंटाइन में भेजा जाएगा। वहीं अन्य देशों से महाराष्ट्र में आने वालों को होम क्वारंटाइन में रहना होगा।

ब्रिटेन में कोरोना वायरस के नए वेरिएंट मिलने के बाद से पूरी दुनिया में कोविड-19 को लेकर चिंता बढ़ गई है। ब्रिटेन में पाया गया नया कोरोना वायरस तेजी से फैल रहा है।

जिसके चलते कई देशों ने ब्रिटेन से हवाई यात्रा पर पाबंदी लगा दी है। भारत ने भी एहतियातन कदम उठाते हुए इस घोषणा की है कि भारत ने यूके से आने वाली सभी उड़ानें 31 दिसंबर तक के लिए रद्द कर दिए हैं।

बंगाल में भाजपा सांसद सौमित्र खान की पत्नी सुजाता मंडल ममता बनर्जी की पार्टी टीएमसी में शामिल हुईं  

पश्चिम बंगाल भाजपा के टीएमसी नेताओं का दलबदल करवाने के बाद सोमवार को भाजपा को तब बड़ा झटका लगा जब उसके सांसद सौमित्र खान की पत्नी सुजाता मंडल ममता बनर्जी की पार्टी टीएमसी में शामिल हो गईं। यही नहीं टीएमसी ज्वाइन करते हुए मंडल ने आरोप लगाया कि भाजपा अवसरवादियों और दागियों की पार्टी बन गई है। सौमित्र खान बंगाल में भाजपा युवा मोर्चा (भाजयुमो) के अध्यक्ष भी हैं।

भाजपा के लिए यह बड़ा झटका है क्योंकि पार्टी के वरिष्ठ नेता और गृह मंत्री अमित शाह ने हाल में दावा किया था कि बंगाल में भाजपा सत्ता में लौटेगी। टीएमसी में शामिल होते समय सुजाता मंडल के साथ तृणमूल सांसद सौगत राय और प्रवक्ता कुणाल घोष भी मौजूद थे।

सुजाता ने इस मौके पर कहा – ‘भाजपा अब अवसरवादियों और दागियों की पार्टी बन गई है। मैंने राज्य में पार्टी को आगे बढ़ाने का काम किया था, लेकिन अब भाजपा में कोई सम्मान नहीं है। एक महिला होने के नाते, मेरे लिए पार्टी में रहना मुश्किल था।’ इस बीच उनके सांसद पति भाजपा नेता सौमित्र खान ने धमकी दी है कि ‘वह पत्नी को तलाक दे देंगे’। सौमित्र खान बंगाल में बीजेपी युवा मोर्चा के अध्यक्ष भी हैं।

बंगाल में अगले साल विधानसभा चुनाव होने हैं। ऐसे में वहां तेज घटनाक्रम देखने को मिल रहे हैं। इस बीच जाने माने चुनाव रणनीतिकार प्रशांत किशोर ने सोमवार को बड़ा दावा किया है। प्रशांत किशोर ने सोमवार को ट्वीट में कहा – ‘पश्चिम बंगाल में आगामी विधानसभा चुनाव में भाजपा को दो अंक का आंकड़ा पार करने के लिए मशक्कत करनी पड़ेगी। अगर भाजपा दो अंकों से अधिक सीट प्राप्त कर लेती है तो वह ट्विटर छोड़ देंगे।’ किशोर टीएमसी के लिए चुनावी रणनीतिकार हैं।

भारत ने ब्रिटेन से उड़ानों पर लगाई 31 दिसंबर तक रोक : सरकार  

ब्रिटेन में कोरोना का नया और खतरनाक स्ट्रेन आने के बाद सोमवार को भारत ने ब्रिटेन से आने वाली सभी उड़ानों पर 31 दिसंबर तक रोक लगा दी है। भारत के नागरिक उड्डयन मंत्रालय ने आज दोपहर कहा कि ब्रिटेन में मौजूदा हालात पैदा होने को देखते हुए यह फैसला किया है।

मंत्रालय ने कहा कि भारत ने ब्रिटेन से आने वाली सभी उड़ानों को 31 दिसंबर की रात 11 बजकर 59 मिनट तक रोक लगाने का फैसला किया है। बता दें ब्रिटेन में कोरोना वायरस का नया रूप आने के बाद फ्रांस, जर्मनी, नीदरलैंड, बेल्जियम, ऑस्ट्रिया, रोमानिया, तुर्की और इटली, कोलंबिया, चिली, कनाडा, कुवैत, सउदी अरब सहित कई अन्य देश भी ब्रिटेन की उड़ान पर रोक लगा चुके हैं।

कोरोना के नए स्ट्रेन के खतरे को ध्यान में रखते हुए ब्रिटेन ने अपनी रेल सेवाओं की आवाजाही पर भी रोक लगा दी है। इस बीच ऑस्ट्रिया और इटली ने कहा है कि वह ब्रिटेन से आने वाली उड़ानों पर रोक लगाएंगे। इटली के विदेश मंत्री लुइगी डी मायो ने ट्वीट करके कहा – ‘सरकार कोरोना वायरस के नए प्रकार से इटली के निवासियों को बचाने के लिए आवश्यक कदम उठा रही है।’ चेक गणराज्य ने ब्रिटेन से आने वाले लोगों के लिए पृथक-वास के नियम को लागू कर दिया है।

उधर केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्धन ने ब्रिटेन में कोरोना वायरस के नए प्रकार (स्ट्रेन) के संक्रमण को लेकर चिंताओं के बीच कहा कि सरकार सतर्क है और घबराने की जरूरत नहीं है। हर्षवर्धन ने कहा – ‘सरकार ने पिछले एक साल में हर वह काम किया है, जो कोविड-19 से निपटने के लिए महत्वपूर्ण था। सरकार हर चीज के बारे में पूरी तरह जागरुक है।’

कांग्रेस नेता मोती लाल वोरा का निधन

कांग्रेस के वरिष्ठ नेता मोती लाल वोरा का निधन हो गया है। हाल में कांग्रेस के एक और दिग्गज नेता अहमद पटेल का भी निधन हो गया था। वोरा 92 साल के थे। कांग्रेस नेताओं सोनिया गांधी, राहुल गांधी ने वोरा के निधन पर गहरा शोक जताया है और कहा है कि उनकी खाली जगह को भरना मुश्किल होगा। वोरा इस साल अप्रैल तक कांग्रेस के राज्यसभा सदस्य रहे थे।

वोरा कांग्रेस ही नहीं  के भी सबसे विश्वस्त नेताओं में से एक थे। पिछले कल ही उनका जन्मदिन था। वोरा 92 साल के थे। लंबे शमत तक वोरा कांग्रेस के खजांची रहे। अहमद पटेल को साल 2018 में कांग्रेस पार्टी का कोषाध्यक्ष बनाया गया था। इससे पहले, पार्टी के दिग्गज नेता और गांधी परिवार के करीबी मोतीलाल वोरा के पास यह जिम्मेदारी थी। वोरा ने करीब दो दशक तक कोषाध्यक्ष की जिम्मेदारी संभाली।

बढ़ती उम्र का हवाला देकर राहुल गांधी ने 2018 में उन्हें इस जिम्मेदारी से मुक्त किया था। मोतीलाल वोरा और अहमद पटेल के बारे में कहा जाता है कि वे दोनों आपस में बहुत करीब थे। वोरा इस साल अप्रैल तक कांग्रेस के राज्यसभा सदस्य रहे थे।

कांग्रेस नेताओं सोनिया गांधी, राहुल गांधी ने वोरा के निधन पर गहरा शोक जताया है और कहा है कि उनकी खाली जगह को भरना मुश्किल होगा। कांग्रेस नेता गुलाम नबी आज़ाद, प्रियंका गांधी, अशोक गहलोत आदि ने भी वोरा के निधन पर गहरा शोक व्यक्त किया है। वोरा को हाल ही में कोरोना संक्रमण की पुष्टि हुई थी। उन्हें एम्स दिल्ली में भर्ती कराया गया था। हालांकि, बाद में उनके स्वस्थ होने की खबर आई थी।

कोरोना टीके के हलाल होने या न होने को लेकर असमंजस

अभी कोरोना टीका पूरी तरह से तैयार होकर और उसके असर पर बात भी नहीं बनी है, कि इस बीच इसके हलाल होने या न होने को लेकर बहस छिड़ गई है। अभी अमेरिका और ब्रिटेन में आपातकालीन टीके को मंजूरी दी गई है। अपने देश में अभी आपात स्थिति में भी किसी टीके को मंजूरी नही मिली है। कोरोना टीके तैयार कर रहीं कंपनियों और संस्थानों जैसे फाइजर, मॉडर्ना, ऑक्सफोर्ड, एस्ट्राजेनेका आदि लाख कहती रहें कि इनमें सुअर का मांस उपयोग नहीं हुआ है, फिर भी इंडोनेशिया जैसे मुस्लिम देशों हों इनके रखरखाव पर सवाल उठाए हैं। उन्हाेंने आशंका जताई कि टीकों के भंडारण व ढुलाई के समय पोर्क से बने सरेस जैसे उत्पाद का उपयोग शरीयत के अनुसार यह जायज नहीं हैं।
इंडोनेशिया में इसे लेकर सबसे ज्यादा प्रतिक्रिया देखने को मिली है। यहां के संगठनों कहना है कि कुछ कंपनियों ने सुअर के मांस के टीकों के निर्माण व रखरखाव के दौरान उपयोग को लेकर स्थिति नहीं की गई है। कोविड-19 से पहले भी कई फार्मा कंपनियां इस मांस के बिना टीका विकसित करने पर काम कर चुकी हैं। मैनिंजाइटिस सहित कई बीमारियों के लिए ऐसे टीके बने हैं।
ब्रिटिश इस्लामिक मेडिकल एसोसिएशन के महासचिव सलमान वकार ने न्यूज़ एजेंसी से कहा, रूढ़िवादी यहूदियों और मुसलमानों में टीके के इस्तेमाल को लेकर शंकाएं जताई जा रही हैं। सिडनी विश्वविद्यालय के सहायक प्रोफेसर डॉ. हरनूर राशिद कहते हैं कि टीके में सरेस के उपयोग पर इस्लामी नियमों के अनुसार सहमति नहीं बनने से शंकाएं पैदा हो रही हैं। वे कहते हैं कि अगर टीकों का उपयोग नहीं किया गया तो यह सभी के लिए बेहद नुकसानदेह होगा।
वहीं, इस्राइल के रेबाई संगठन अध्यक्ष रेबाई डेविड स्टेव ने दावा किया कि यहूदी नियमों में सुअर का मांस बेहद जरूरी होने पर बीमारी में उपयोग किया जा सकता है। कोरोना टीके को लेकर आपत्ति नहीं की जानी चाहिए।

आज महाराष्ट्र के किसानों का ‘चलो दिल्ली’, कल अंबानी कॉरपोरेट हाउस’ के बाहर मार्च!

दिल्ली में केंद्र सरकार के नए कृषि कानूनों के खिलाफ चल रहे किसान आंदोलन का असर महाराष्ट्र में भी देखा जा रहा है। इस आंदोलन को बल देने के लिए महाराष्ट्र के अलग अलग संगठन अपने अपने तौर पर कोशिश कर रहे हैं। जहां एक ओर किसानोंं का एक संगठन ऑल इंडिया किसान सभा दिल्ली कूच की तैयारी में है वहीं दूसरे संगठन स्वाभिमानी शेतकरी संघटना आदि ‘अंबानी कॉरपोरेट हाउस’ के बाहर मार्च आयोजित करेंगे! स्वाभिमानी शेतकरी संघटना के अलावा प्रहार संघटना, फार्मर्स एंड पीजेन्ट पार्टी और लोक संघर्ष मोर्चा भी प्रदर्शन में हिस्सा लेंगे।

आज, 21 दिसंबर को महाराष्ट्र के 20 जिलों के हजारों किसान नासिक से दिल्ली के लिए कूच कर रहे हैं। पिछले दिनों नाशिक में आयोजित ऑल इंडिया किसान सभा की तरफ से यह घोषणा की गई थी।

ऑल इंडिया किसान सभा के अध्यक्ष डॉ. अशोक नवले के अनुसार दिल्ली व आसपास के इलाकों में पिछले तीन हफ्ते से चल रहे किसान आंदोलन को ऐतिहासिक बनाने के लिए नाशिक से किसानों का जत्था दिल्ली रवाना होगा। इसी दौरान किसान नेता, स्वाभिमानी शेतकरी संगठन के राजू शेट्टी ने महाराष्ट्र के कई जिलों में केंद्र सरकार के नये कानूनों के खिलाफ प्रदरशन करते हुए , प्रतीकात्मक पुतले भी जलाये थे।

किसान नेता शेट्टी का कहना था कि ये तीन विवादित कृषि कानून अंबानी और अडानी जैसे उद्योगपतियों को फायदा पहुंचाने के लिए लाए गए हैं। हम अडानी और अंबानी को फायदा पहुंचाने और किसानों को गुलाम बनाने की सरकार की नीयत का विरोध करते हैं। 22 दिसंबर को मुंबई में अंबानी कॉरपोरेट हाउस के बाहर किसान मार्च निकाला जाएगा।

सफल रही कांग्रेस में ‘नाराज’ नेताओं को मनाने की कवायद, सोनिया के साथ कई घंटे चली पार्टी की बैठक

आखिर कांग्रेस में ‘नाराज’ नेताओं को मनाने की पहली ही कोशिश सफल रही है। हाल में पार्टी अध्यक्ष को चिट्ठी लिखने वाले 23 नेताओं के तेवर ठंडे पड़े हैं और शनिवार को कार्यकारी अध्यक्ष सोनिया गांधी के साथ हुई उनकी बैठक में उन्होंने पूरी ताकत से पार्टी को आगे ले जाने का प्रण किया। बैठक में  राहुल गांधी भी शामिल थे और उन्होंने संकेत दिए हैं कि वे दोबारा अध्यक्ष का जिम्मा संभाल सकते हैं। पार्टी आने वाले समय में पंचमढ़ी जैसा बड़ा अधिवेशन करने की तैयारी में भी दिख रही है।

दिग्गज नेता अहमद पटेल के देहांत के बाद पार्टी की यह पहली बड़ी बैठक थी। जानकारी के मुताबिक बैठक में राहुल गांधी को फिर अध्यक्ष बनाने की मांग उठी। किसी भी नेता ने इसका विरोध नहीं किया। यहां तक कि 23 नाराज नेताओं में जो बैठक में उपस्थित थे, उन्होंने भी इस मांग का समर्थन किया। इन नेताओं में गुलाम नबी आजाद, आनंद शर्मा और पी. चिदंबरम जैसे पार्टी दिग्गज शामिल हैं। बैठक में सोनिया गांधी ने कांग्रेस को ‘बड़ा परिवार’ बताया।

यह बैठक सोनिया गांधी के आवास दस जनपथ पर हुई। ‘तहलका’ की जानकारी के मुताबिक बैठक में जब एक सुर से राहुल गांधी को दोबारा पार्टी अध्यक्ष बनाने की मांग उठी तो सभी नेता राहुल की तरफ देखने लगे बैठक में उपस्थित थे। इस मौके पर आज़ाद, चिदंबरम और आनंद शर्मा जैसे दिग्गजों ने भी इस मांग का समर्थन किया। बाद में राहुल ने कहा कि पार्टी जो जिम्मेवारी उन्हें देगी, उसे वे निभाहेंगे।  बैठक में तालियों की गड़गड़ाहट गूँज उठी। गांधी ने ही संकेत दिए कि यदि उन्हें अध्यक्ष का जिम्मा देने की बात होगी तो वे विचार करेंगे।

पिछले लंबे समय में यह पहली बार है जब कांग्रेस के बड़े स्तर पर संगठन को मजबूत करने और ‘नाराज’ नेताओं को खुलकर सुनने की कवायद। खुद सोनिया गांधी ने इस बैठक की पहल की और इसके आयोजन में वरिष्ठ नेता कमलनाथ में बड़ी भूमिका अदा की। इस बैठक को इस लिहाज से भी सफल कहा जाएगा कि इसमें आज़ाद जैसे दिग्गज शामिल हुए, जिन्हें हमेशा से कांग्रेस और गांधी परिवार का वफादार माना जाता है।

बैठक में सोनिया गांधी और राहुल गांधी के अलावा गुलाम नबी आजाद, आनंद शर्मा, पी. चिदंबरम, अशोक गहलोत, अंबिका सोनी, भूपेंद्र सिंह हुड्डा जैसे बड़े नेता शामिल हुए। बैठक के बाद ‘नाराज’ नेताओं का कोई ब्यान नहीं आया है, हालांकि, बैठक में उन्होंने संगठन को मजबूत करने की सोनिया गांधी की अपील पर खुले रूप से सहमति जताई।

बैठक के बाद हाल में अस्थाई खजांची बनाये गए पूर्व केंद्रीय मंत्री पवन बंसल ने कहा – ‘सोनिया गांधी ने बैठक में कांग्रेस को एक बड़ा परिवार बताया। साथ ही कांग्रेस को मजबूत करने के लिए काम करने की बात कही। पार्टी में किसी तरह का कोई मतभेद नहीं है। सभी पार्टी में ऊर्जा भरने के लिए एकजुट होकर काम करने के लिए प्रतिबद्ध हैं।’

महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री पृथ्वीराज चव्हाण ने बैठक – ‘ पार्टी को कैसे मजबूत किया जाए, इसे लेकर यह बैठक थी। शिमला और पंचमढ़ी की तर्ज पर  पार्टी अधिवेशन करेगी। हमने पार्टी के भविष्य को लेकर चर्चा की। यह एक रचनात्मक बैठक थी।’ इस तरह आज की बैठक एक हद तक सफल मानी जाएगी। अभी तक नाराज दिख रहे नेता बैठक के आयोजन से खुश दिखे और उन्होंने अपनी बात भी कही। संभावना है कि पार्टी में आने वाले समय में बड़ा फेरबदल हो सकता है।