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आरएलडी का सपा से जुड़े रहने का ऐलान

उत्तर प्रदेश में बसपा के गठबंधन से अलग हो जाने के दो दिन बाद गुरूवार को आरएलडी ने ऐलान किया है वह गठबंधन में सपा के साथ बनी रहेगी और आने वाले ११ उपचुनाव सपा से मिलकर लड़ेगी। आरएलडी ने एक और कदन आगे जाते हुए कहा है कि कोशिश की जाएगी कि कांग्रेस भी इस गठबंधन का हिस्सा बन जाए।
आरएलडी के प्रदेश अध्यक्ष मसूद अहमद ने गुरूवार को कहा – ”हम महागठबंधन का हिस्सा रहेंगे और सपा के साथ थे, साथ हैं और रहेंगे। हम इस गठबंधन में कांग्रेस को भी शामिल करने की कोशिश करेंगे।” इस तरह यूपी में बसपा के छिटक जाने के बाद भी लगता है गठबंधन का अस्तित्व बना रहने की सम्भाना है।
अभी आरएलडी के इस ऐलान के बाद सपा की तरफ से कोइ टिप्पणी नहीं आई है। गौरतलब है कि सपा और कांग्रेस विधानसभा चुनाव में साथ-साथ लड़े थे हालांकि चुनाव सभाओं में राहुल-अखिलेश के लिए जुटने वाली बड़ी भीड़ वोटों में तब्दील नहीं हो पाई थी। इसके अलग हो गए थे हालांकि अभी भी बहुत राजनीतिक जानकार मानते हैं कि कांग्रेस का बड़ा वोट बैंक यूपी में है।
याद रहे ईद से ऐन एक दिन पहले सपा-बसपा-रालोद गठबंधन बिखरने के कगार पर दिखा था जब बसपा प्रमुख मायावती ने अलग होने का ऐलान कर दिया था। अब  गठबंधन के तीसरे घटक रालोद ने गुरूवार को कहा कि वह उत्तर प्रदेश में आगामी विधानसभा उपचुनाव सपा के साथ लड़ेगा।
रालोद प्रदेश अध्यक्ष मसूद अहमद का कहना है – ”आरएलडी एक राजनीतिक दल है और हम यूपी विधानसभा के उपचुनाव में मैदान में उतरेंगे। हालांकि प्रदेश के राजनीतिक परिदृश्य पर टिप्पणी करना अभी जल्दबाजी होगी। जहां तक प्रत्याशियों के चयन की बात है तो यह फैसला हमारे राष्ट्रीय नेतृत्व- चौधरी अजीत सिंह और जयंत चौधरी करेंगे।”
अहमद ने कहा कि रालोद-सपा का पुराना साथ रहा है और हमें अखिलेश यादव के कोटे से सीटें मिली थीं। उन्होंने कहा – ”हमारी इच्छा है कि गठबंधन एकजुट रहे और मजबूत रहे । हमारे ख्याल से कांग्रेस को भी गठबंधन का हिस्सा होना चाहिए था।” अहमद ने कहा कि चुनाव में नफा नुकसान का विश्लेषण बाद में किया जाएगा । ”हमारी इच्छा है कि गठबंधन अपना कुनबा बढ़ाए ताकि हम भाजपा के खिलाफ एक मजबूत ताकत बनकर उभर सकें।”

मोदी सरकार ने आठ केबिनेट कमिटियों गठित कीं

एनडीए-२ की शुरुआत में ही मोदी सरकार सक्रिय दिखने लगी है। पिछले कार्यकाल में उसपर आर्थिक स्तर पर सफल न होने का आरोप लगता रहा है। अब गुरूवार को मोदी सरकार ने आठ मुख्य केबिनेट समितियों के गठन का ऐलान किया है। सबसे दिलचस्प बात यह है कि गुजरात सरकार के समय से पीएम मोदी के विश्वस्त रहे ग्रह मंत्री अमित शाह सभी आठ समितियों में शामिल हैं जबकि पिछली मोदी सरकार में गृह मंत्री रहे और अब रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह महज एक समिति में रखे गए हैं। इससे मोदी सरकार की दूसरी पारी में शाह के वर्चस्व का पता चलता है।
खुद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इन आठ में से छह समितियों में शामिल हैं और वे इनके अध्यक्ष रहेंगे। आर्थिक विकास को बढ़ावा देने के लिए निवेश और विकास पर, बेरोजगारी से निपटने के लिए रोजगार और कौशल विकास पर और सुरक्षा पर समितियों के अध्यक्ष पीएम मोदी होंगे। पहली बार इन दोनों मुद्दों पर केबिनेट  समिति बनाई गई हैं।
पीएम की अध्यक्षता के अलावा रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, गृह मंत्री अमित शाह, विदेश मंत्री एस जयशंकर और वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण सुरक्षा समिति के सदस्य होंगे। यह समिति राष्ट्रीय सुरक्षा और विदेश मामलों से संबंधित मुद्दों को देखेगी। केबिनेट नियुक्ति समिति की अध्यक्षता पीएम करेंगे और अमित शाह इस समिति के सदस्य होंगे।
महत्वपूर्ण नीतिगत फैसलों पर सरकार की मदद करने वाली राजनीतिक मामलों पर मंत्रिमंडल समिति की अध्यक्षता प्रधानमंत्री करेंगे। शाह, गडकरी, सीतारमण, गोयल, पासवान, तोमर, प्रसाद, हरसिमरत कौर, स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्धन, भारी उद्योग मंत्री अरविंद सावंत और जोशी इसके सदस्य होंगे सबसे दिलचस्प बात यह है कि मोदी सरकार में नंबर दो राजनाथ सिंह इस अहम् समिति नहीं किये गए हैं।
शाह आवास पर मंत्रिमंडलीय समिति की अध्यक्षता करेंगे। सड़क परिवहन और  राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी, सीतारमण और रेल और वाणिज्य मंत्री पीयूष गोयल इसके सदस्य होंगे। प्रधानमंत्री कार्यालय में राज्य मंत्री जितेंद्र सिंह और आवास और शहरी कार्य मंत्री और नागर विमानन मंत्री हरदीप पुरी आवास समिति के विशेष आमंत्रित सदस्य होंगे।
आर्थिक मामलों पर मंत्रिमंडल की प्रमुख समिति की अध्यक्षता प्रधानमंत्री करेंगे और इसके सदस्यों के तौर पर राजनाथ सिंह, शाह, गडकरी, रसायन व उर्वरक मंत्री डीवी सदानंद गौड़ा, सीतारमण, कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर, संचार मंत्री रविशंकर प्रसाद, खाद्य प्रसंस्करण मंत्री हरसिमरत कौर बादल शामिल होंगी। सीसीईए में एस जयशंकर, गोयल और पेट्रोलियम मंत्री धर्मेंद्र प्रधान भी शामिल होंगे।
संसदीय मामलों पर मंत्रिमंडल समिति की अध्यक्षता शाह करेंगे और सीतारमण, उपभोक्ता मामलों के मंत्री रामविलास पासवान, तोमर, प्रसाद, सामाजिक न्याय मंत्री थावर चंद गहलोत, पर्यावरण मंत्री प्रकाश जावड़ेकर और संसदीय कार्य मंत्री प्रहलाद जोशी इसके सदस्य होंगे। यह समिति संसद का सत्र बुलाने के लिए तारीखों की सिफारिश करती है। संसदीय कार्य राज्य मंत्री अर्जुन राम मेघवाल और वी मुरलीधरन इसके विशेष आमंत्रित सदस्य हैं।

आरबीआई ने रेपो रेट में 0.२५ की कमी की

भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई ) की मॉनेटरी पॉलिसी कमेटी (एमपीसी) की  गुरुवार को बैठक हुई जिसमें ब्याज दरों का ऐलान किया गया। रेपो रेट में 0.२५ फीसदी (बेस प्वाइंट) कटौती की गई है लिहाजा अब यह ६ फीसद से काम होकर ५.७५ फीसद हो गया है। रेपो रेट में कमी से सभी तरह के क़र्ज़ (लोन) सस्ते होंगे।

देश में आर्थिक विकास की गति ढीली पड़ने से आरबीआई पर ब्याज दर में कटौती का दबाव था। मार्च तिमाही में जीडीपी ग्रोथ रेट घटकर ५.८ फीसदी रह गई है जबकि माली साल (२०१८-१९) में विकास दर ६.८ फीसदी रही। यह पांच साल में सबसे कम है।

विशेषज्ञों के मुताबिक आरबीआई की कोशिश है कि सस्ते कर्ज के जरिए बाजार में नकदी बढ़ाकर अर्थव्यवस्था की रफ्तार तेज की जाए। हालांकि आज रैपो दर में जो कमी की गयी उससे लोन सस्ते ज़रूर होंगे लेकिन यह बैंकों पर निर्भर है कि वे रेपो रेट में कमी का फायदा ग्राहकों को कब तक और कितना देते हैं। रेपो रेट वह दर है जिस पर आरबीआई कॉमर्शियल बैंकों को कर्ज देता है।

रिपोर्ट के मुताबिक आरबीआई की मॉनेटरी पॉलिसी कमेटी ने मौद्रिक नीति को लेकर नजरिया न्यूट्रल से बदलकर अकोमोडेटिव (उदार) कर दिया है। यानी ब्याज दर में आगे और भी कटौती की जा सकती है। रिजर्व बैंक ने मौजूदा वित्त वर्ष में जीडीपी ग्रोथ का अनुमान घटाकर सात फीसदी कर दिया है। अप्रैल की बैठक के बाद ७.२ फीसदी का अनुमान जताया था।

उधर आरबीआई ने अप्रैल से सितंबर की छमाही में महंगाई दर का अनुमान बढ़ाकर ३-३.१ फीसदी किया है। अप्रैल में २.९ फीसदी से ३ फीसदी की संभावना जताई थी। ब्याज दर तय करते वक्त आरबीआई खुदरा महंगाई दर को ध्यान में रखता है। यह लगातार आरबीआई के ४ फीसदी के लक्ष्य से नीचे बनी हुई है। अप्रैल में यह २.९२ फीसदी रही थी।

कब होंगे महाराष्ट्र स्टेट बोर्ड कक्षा 10 के रिजल्ट डिक्लेयर ? सरकार भी नहीं जानती!

महाराष्ट्र स्टेट बोर्ड ऑफ सेकेंडरी एंड हायर सेकेंडरी एजुकेशन (महाराष्ट्र बोर्ड MSBSHSE) 10वीं के एग्जाम के रिजल्ट को अटकलों का बाजार गर्म है । मीडिया रिपोर्ट्स में अंदाजा लगाया जा रहा था कि एसएससी बोर्ड दसवीं कक्षा के रिजल्ट आज 6 जून को जारी किए जाएंगे लेकिन अभी तक बोर्ड की ओर से कोई ऑफश‍ियल जानकारी नहीं दी गई है। दिलचस्पप बात यह है कि राज्य के एजुकेशन मिनिस्टर के दफ्तर को भी इस बात की जानकारी नहीं कि नतीजे कब घोषित होंगे?

फिलहाल जो ताजा जानकारी अन्य सूचना माध्यमों से मिल रही है उसके अनुसार महाराष्ट्र बोर्ड 10वीं का रिजल्ट अब 8 या 10 जून को जारी किया जाएगा।

10वीं के स्टुडेंट MSBSHSE की ॵफिशियल वेबसाइट mahresult.nic.in पर जाकर रिजल्ट चेक कर सकते हैं। महाराष्ट्र बोर्ड 10वीं के 17 लाख से अधिक स्टुडेंट बेसब्री से अपने रिजल्‍ट का इंतजार कर रहे हैं। महाराष्ट्र बोर्ड 10वीं के एक्जाम इस साल मार्च में आयोजित की गई थीं। बोर्ड की ऑफ‍िश‍ियल वेबसाइट mahresult.nic.in के अलावा www.mahahsscboard.maharashtra.gov.in पर भी महाराष्ट्र बोर्ड 10वीं का रिजल्ट देखा जा सकता है। पिछले साल, महाराष्ट्र एसएससी रिजल्ट 8 जून, 2019 को डिक्लेयर किया गया था।

महाराष्ट्र के 28 सांसदों के खिलाफ आपराधिक मामले!

हाल ही में 17वें लोकसभा चुनाव में विजयी हुए 48 सांसदों में से 28 सांसदों के दामन दागदार हैं। महाराष्ट्र की 48 सीटों पर बीजेपी के 23,शिवसेना के18, एनसीपी के 5, कांग्रेस और वंचित आघाड़ी के एक-एक सांसद जीते हैं। सबसे ज्यादा सांसद बीजेपी- शिवसेना गठबंधन के हैं 41सांसद। लेकिन दिलचस्प बात यह है कि 48 माननीय सांसदों में से 28 सांसदों के खिलाफ अलग-अलग तरह के आपराधिक मामले दर्ज हैं ।

महाराष्ट्र इलेक्शन वॉच एंड एसोसिएशन फॉर डेमोक्रेटिक रिफॉर्म्स (एडीआर ) की रिपोर्ट के अनुसार 28 में से 15 सांसदों के खिलाफ संगीन आपराधिक मामले दर्ज हैं। इनमें से कई सांसदों के खिलाफ हत्या, हत्या करने की कोशिश, धमकाने और चोरी जैसे मामले दर्ज हैं।

बीजेपी के 13, शिवसेना के 11, एनसीपी के एक ,कांग्रेस के एक ,एम आई एम के एक और अन्य दल के एक कुल मिलाकर 28 सांसदो के खिलाफ आपराधिक मामले दर्ज हैं ।

संगीन आपराधिक मामलों की संख्या इस प्रकार हैं बीजेपी- 6, शिवसेना- 5, एनसीपी 1 ,एमआयएम 1

एडीआर की रिपोर्ट के मुताबिक एनसीपी के सांसद उदयनराजे भोसले के खिलाफ सबसे ज्यादा आपराधिक मामले दर्ज हैं ।उनके खिलाफ 17 गंभीर और 44 छोटे-मोटे अपराधिक मामले दर्ज हैं। दूसरे नंबर पर आते हैं मुंबई बीजेपी के सांसद गोपाल शेट्टी और शिवसेना के राजन विचारे। गोपाल शेट्टी के खिलाफ दो गंभीर और 29 छोटे-मोटे व राजन विचारे के खिलाफ 7 गंभीर और 16 छोटे-मोटे अपराध दर्ज है। यह बात दीगर है कि सांसदों ने उनके खिलाफ आपराधिक मामलों की जानकारी इलेक्शन कमिशन को दी है। एडीआर की रिपोर्ट के अनुसार वरिष्ठ सांसद नितिन गडकरी के खिलाफ पांच गंभीर और 5 छोटे-मोटे मामले दर्ज हैं। दिलचस्प बात ये है आपराधिक मामले महिला सांसदों के खिलाफ भी दर्ज हैं। जिनमें पूनम महाजन, प्रीतम मुंडे, भावना गवली और नवनीत कौर राणा का नाम भी शामिल है।

भारत-दक्षिण अफ्रीका मैच आज

लगातार दो मैच हारने और भारत के साथ मुकाबले से ऐन पहले तेज गोलंदाज डेल स्टेन के विश्व कप से बाहर हो जाने के बाद दक्षिण अफ्रिका आज अतिरिक्त मनोवैज्ञानिक दबाव के बीच भारत के साथ मैदान में उतरेगी। बतौर कप्तान विराट कोहली के लिए विश्व कप में जीवन का यह पहला मैच है और उनके नेतृत्व में भारतीय टीम पूरे शवाब में दिख रही है। टॉस जीतकर दक्षिण अफ्रीका ने पहले बल्लेबाजी करने का फैसला किया है।
तीन बजे ये मुकाबला साउथैम्पटन के रोज बाउल स्टेडियम में ३ बजे शुरू होगा।  पिच पर घास नहीं है और यह बल्लेबाजों को मदद करेगी, ऐसा कहा गया है। मौसम विभाग ने बादल छाये रहने और बारिश की सम्भावना जताई है।
वन डे में दूसरे नंबर की टीम, भारत के पास मैच विजेता खिलाड़ियों की कमी नहीं और इनमें से ज्यादातर फ़ार्म में भी दिख रहे हैं। कोहली के अंगूठे में दो दिन पहले जो चोट लगी थी उससे कोहली उबर चुके हैं और मैच में जलवा बिखेरने के लिए लालायित हैं।
कोहली को आजके दौर के सबसे बेहतरीन बल्लेबाजों में गिना जाता है। बतौर कप्तान भी उनका रेकॉर्ड बेहतरीन रहा है। हाँ, विश्व कप में उनकी कप्तानी की परीक्षा ज़रूर होनी बाकी है। जाहिर है २०११ की धोनी के नेतृत्व वाली जो विश्व  विजेता भारतीय टीम थी, इस टीम की तुलना उससे की जाएगी। हालांकि, कागज़ पर धोनी की टीम बड़े सितारों और परफॉर्मर वाली टीम थी। कोहली अपनी इस अपेक्षाकृत नई टीम से बेहतर नतीजे निकलवा पाए तो फिर कोहली की बल्ले-बल्ले होनी तय है।
खोली के सबसे बड़ा हेल्पिंग हैण्ड कूल धोनी ही होंगे,  जो विकटों के पीछे शांत भाव में रणनीति बुनते रहते हैं। कोहली के पास सलाह के लिए धोनी से बेहतर व्यक्ति नहीं हो सकता। कुछ बड़े खिलाड़ियों ने भारतीय टीम को कप के दावेदारों में बताया ह और इसका सबसे बड़ा कारण है मैदान में टीम की परफॉर्मेंस। हर खिलाड़ी अपना १०० फीसदी देने को तत्पर दिखता है और यह जज्बा ही कप तक पहुँचने का इकलौता रास्ता है।
भारत का यह पहला मैच है लिहाजा उसपर थोड़ा सा अतिरिक्त दबाव शायद रहे। लेकिन भारत टीम के सदस्यों का हौसला इस दबाव पर भारी पड़ेगा। दक्षिण अफ्रीका  इंग्लैंड और बांग्लादेश से हारकर बहुत ज्यादा दबाव में है और ऊपर से उनके स्टार गेंदबाज डेल स्टेन भारत के साथ मैच से ऐन पहले पूरे टूर्नामेंट के लिए बाहर हो गए हैं। दक्षिण अफ्रीका के लिए यह दिल टूटने जैसे बात है। यही नहीं एक और तेज गेंदबाज लुंगी एंगिडी चोट के कारण बाहर हैं। हाशिम अमला को भी पहले मैच में इंग्लैंड के जोफ्रा आर्चर की गेंद हेलमेट पर लगी थी जिससे उनके मनोबल पर विपरीत असर दिखा है।
इनसब के बावजूद दक्षिण अफ्रीकी शेरों को कमतर नहीं आंका जा सकता है। दक्षिण अफ्रीकी टीम खराब फिटनेस से भी जूझ रही है। हालांकि कागिसो रबाडा उनके तुरुप के पत्ते हैं। हवा में मदद मिले तो रबाडा किसी की मजबूत बल्लेबाजी क्रम को ध्वस्त करने की कूबत रखते हैं।
कहा जा रहा है कि मुख्य कोच रवि शास्त्री ने खिलाड़ियों को हवा में न उड़ने की सख्त सलाह दी है। पड़ोसी पाकिस्तान, बांग्लादेश और श्रीलंका के अपने-अपने पहले मैचों में जीत जाने के बाद अब भारतीय दर्शकों के अपनी टीम की जीत का इन्तजार है। जो दर्शक मैच के लिए इंग्लैंड में हैं वे मैदान को भारतीय रंग देने की कोशिश करेंगे ही।
जहाँ तक गेंदबाजी की बात है जसप्रीत बुमराह, मोहम्मद शमी और भुवनेश्वर कुमार हैं और देखना होगा कि भुवनेश्वर को कप्तान कोहली मैदान में उतारते हैं या नहीं।
कुलदीप यादव और युजवेंद्र चहल पिछले कई मैचों में भारत की सफल जोड़ी रही है।
वैसे अभ्यास मैचों में रविंद्र जडेजा ने भी उम्दा प्रदर्शन किया है। ऊपर से वे अच्छे आल राउंडर और बेहतरीन फील्डर भी हैं। केदार जाधव और विजय शंकर टीम में रहते हैं या नहीं यह भी देखना होगा।
भारतीय ओपनर राहुल शर्मा की कमजोरी स्पिन मानी जाती है और दक्षिण अफ्रीकी कप्तान फाफ डु प्लेसिस इमरान ताहिर से गेंदबाजी का आगाज करा सकते हैं। भारत का आधार कितना मजबूत रहता है यह रोहित शर्मा और शिखर धवन पर निर्भर रहेगा। वन डाउन कप्तान विराट कोहली होंगे जबकि चौथे नंबर पर केएल राहुल पर सबकी नजर रहेगी। उनका प्रदर्शन कभी लाजवाब और कभी खराब रहा है। माही (धोनी) ने बांग्लादेश के खिलाफ अभ्यास मैच में शतक ठोंका था जिससे उनका उत्साह सातवें आसमान पर है।
दक्षिण अफ्रीका को एबी डिविलियर्स की कमी महंगी पड़ सकती है। भारतीय स्पिनर उनके लिए बड़ी चुनौती होंगे। कुलदीप और चहल भारी पड़ सकते हैं। कुलमिलाकर मैच से पहले दोनों टीमों का मैच संतुलन ६५-३५ का भारत के पक्ष में दिखता है।

भारत : विराट कोहली (कप्तान), शिखर धवन, रोहित शर्मा, केएल राहुल, महेंद्र सिंह धोनी, हार्दिक पंड्या, केदार जाधव, विजय शंकर, कुलदीप यादव, युजवेंद्र चहल, जसप्रीत बुमराह, मोहम्मद शमी, भुवनेश्वर कुमार, दिनेश कार्तिक, रविंद्र जडेजा ।

दक्षिण अफ्रीका : फाफ डु प्लेसिस (कप्तान), क्विंटोन डिकाक, एडेन मार्कराम, हाशिम अमला, जेपी डुमिनी, डेविड मिलर, डेल स्टेन, कागिसो रबाडा, ड्वेन प्रिटोरियस, एंडिले फेलुक्वायो, तबरेज शम्सी, इमरान ताहिर, लुंगी एंगिडी, क्रिस मौरिस, रासी वान डेर डुसेन ।

महाराष्ट्र के कद्दावर कांग्रेसी नेता राधाकृष्ण विखे पाटील का इस्तीफा । विधानसभा चुनाव से पहले कांग्रेस को तगड़ा झटका।

विधानसभा चुनावों से ऐन पूर्व महाराष्ट्र के कद्दावर कांग्रेसी नेता राधाकृष्ण विखे पाटील के रिजाइन से देश की सबसे पुरानी राजनीतिक पार्टी कांग्रेस को गहरा झटका लगा है। राजनीतिक गलियारों में चर्चा है कि विखे पाटील के साथ 8 से 10अन्य एमएलए भी कांग्रेस से इस्तीफा दे सकते हैं। कयास लगाया जा रहा है कि विखे पाटील बीजेपी ज्वाइन कर सकते हैं। निहाल पाटील ने इस बाबत कोई बयान नहीं दिया है।

हालांकि विखे पाटील का इस्तीफा अनपेक्षित नहीं था। लोकसभा चुनाव के पूर्व उन्होंने लीडर ऑफ अपोजिशन के पद से इस्तीफा दे दिया था। उनके इस्तीफे को महाराष्ट्र कांग्रेस के मुखिया से उनकी नाराजगी से जोड़ कर देखा जा रहा है।

लोकसभा चुनाव में करारी हार के बाद कांग्रेसी मुखियाओं के इस्तीफे का दौर चल निकला शुरुआत हुई राहुल गांधी के इस्तीफे की पेशकश के बाद। महाराष्ट्र महाराष्ट्र कांग्रेस राज्य के के मुखिया अशोक चौहान ने इस्तीफे की पेशकश की थी।

लोकसभा चुनाव में महाराष्ट्र कांग्रेस की बुरी तरह हार हुई महाराष्ट्र के 48 सीटों में से कांग्रेस को सिर्फ एक पर संतोष करना पड़ा जबकि उसकी सहयोगी एनसीपी को 4 सीटों पर दूसरी ओर बीजेपी शिवसेना गठबंधन को 48 में से 43 सीटें मिली ।ऐसे में जब विधानसभा चुनाव के लिए तैयारी के तौर पर बीजेपी और शिवसेना 50-50 पर रणनीति तय कर चुकी है। कांग्रेस- एनसीपी की हार के लिए जिम्मेदार ठहराए जा रही वंचित आघाडी सेना सिरे से नई रणनीति तैयार कर रही है कांग्रेस अपने पार्टी को बनाए रखने के लिए कवायत करनी पड़ रही है।

केरल में निपाह वायरस से एक की मौत

जानलेवा निपाह वायरस ने केरल में एक बार फिर दस्तक दी है। अभी तक की ख़बरों के मुताबिक वहां इस वायरस से एक व्यक्ति की मौत  हो गयी है। एक और मरीज का सैंपल टेस्ट के लिए पुणे भेजा गया है जबकि दो संदिग्ध मरीजों को बुखार और गले में परेशानी के कारण इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया है। मुख्यमंत्री पी विजयन ने कहा कि हालात पर नजर रखी जा रही है और सभी ऐहतियातन उपाए किए जा रहे हैं।

केरल की स्वास्थ्य मंत्री केके शैलजा ने एक मरीज में निपाह वायरस मिलने की बात की पुष्टि की है। एनार्कुलम का रहने वाला एक व्यक्ति (आयु २३ साल) पुणे वायरोलॉजी इंस्टीट्यूट के टेस्ट में पॉजिटिव पाया गया। स्वास्थय मंत्री ने बताया –   ”दूसरे मरीज का सैंपल टेस्ट के लिए पुणे भेजा गया है। दो संदिग्ध मरीजों को बुखार और गले में परेशानी के कारण भर्ती कराया गया है। दो नर्स उनका इलाज कर रही हैं।”

सरकार के अधिकारियों के मुताबिक राज्य के ८६ संदिग्ध मरीजों पर निगरानी रखी जा रही है। इनमें अभी निपाह वायरस की पुष्टि नहीं हुई है। एर्नाकुलम मेडिकल कॉलेज में बीमारी के इलाज के लिए अलग से स्पेशल वार्ड बनाया गया है।याद रहे २०१८ में केरल में निपाह वायरस से १६ लोगों की जान चली गयी थी जबकि ७५० से ज्यादा मरीजों को निगरानी में रखा गया था।

केंद्र सरकार भी केरल में निपाह की रिपोर्ट्स पर नजर  रखे हुए है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्धन ने कहा – ”केंद्र सरकार केरल की हर संभव मदद कर रहा है। हम वन्यजीव विभाग के सीधे संपर्क में रहकर चमगादड़ों पर टेस्ट के लिए उनकी पूरी सहायता कर रहे हैं। हमें उम्मीद है कि अब यहां कुछ भी दुखद नहीं होगा। मैंने स्वास्थ्य सचिव और अधिकारियों के साथ बैठक की। मामले पर नजर रखने के लिए छह सदस्यीय टीम भेजी जा चुकी है।”

हर्षवर्धन ने लोगों से बीमारी को लेकर दहशत नहीं फैलाने की अपील भी की। मंत्री ने कहा – ”घबराने की जरूरत नहीं है। स्वास्थ्य विभाग हर तरह की परिस्थिति को संभालने के लिए तैयार है। हमारे पास जरूरत की सभी दवाइयां हैं। इस बीमारी से निपटने के लिए एर्नाकुलम मेडिकल कॉलेज में अलग से वार्ड बनाया गया है।”

कठुआ रेप मामले का फैसला १० को

कठुआ में आठ साल की बच्ची के गैंगरेप और मर्डर मामले का फैसला १० जून को आएगा। जिला और सत्र न्यायालय पठानकोट में एक साल से चल रही जम्मू-कश्मीर के कठुआ के इस चर्चित मामले की सुनवाई सोमवार को पूरी हो गई थी और जजों ने इसका फैसला सुरक्षित रख लिया है।

रिपोर्ट्स के मुताबिक सुनवाई के अंतिम दिन आरोपित प्रवेश कुमार पर अभियोजन और बचाव पक्ष के बीच चार घंटे लंबी बहस हुई। बहस के बाद अदालत ने एक हफ्ते के लिए अपना फैसला सुरक्षित रख लिया है। यह फैसला १० जून को सुनाया जाएगा।

गौरतलब है कि इस मामले में पठानकोट की जिला और सत्र अदालत में पिछले साल जून के पहले सप्ताह में रोजाना आधार पर बंद कमरे में सुनवाई शुरू हुई थी। याद रहे

इस मामले पर सर्वोच्च न्यायालय ने सख्त रुख दिखाते हुए मामले की सुनवाई जम्मू से पठानकोट कोर्ट शिफ्ट कर दी थी। हालांकि सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले की सीबीआई जांच की मांग को खारिज कर दिया था।

सोमवार सुबह करीब ११ बजे पुलिस सातों आरोपियों विशाल जगोत्रा, एसपीओ सुरेंद्र कुमार, दीपक खजूरिया, सब इंस्पेक्टर आनंद दत्ता, सांझी राम, कांस्टेबल तिलक राज और प्रवेश कुमार को लेकर गुरदासपुर जेल से कड़ी सुरक्षा के बीच पठानकोट अदालत पहुंची थी। रविवार को मामले से जुड़े अधिकारियों ने कहा था कि सोमवार तक सुनवाई पूरी हो सकती है।

याद रहे पिछले साल १० जनवरी को अगवा की गयी आठ साल की बच्ची को कठुआ जिले के एक छोटे से गांव के मंदिर में कथित तौर पर बंधक बनाकर उसके साथ बलात्कार किया गया। उसे चार दिन तक बेहोश रखा गया और बाद में उसकी हत्या कर दी गयी। यह मामला देश भर में चर्चा में रहा और लोगों में इसे लेकर बहुत आक्रोश देखा गया था।

लापता वायुसेना विमान का अभी कोइ अता-पता नहीं

चीन की सीमा के नजदीक लापता हुए भारतीय वायुसेना के विमान एन३२ का अभी तक कोई पता नहीं चल पाया है। एन३२ असम के एयररबेस से उड़ान भरने के बाद से लापता है।

रिपोर्ट्स के मुताबिक वायुसेना के परिवहन विमान एनटोनोव एन३२ से आखिरी संपर्क सोमवार दोपहर एक बजे के करीब हुआ था। इसमें १३ लोग सवार हैं, जिनमें आठ क्रू सदस्य और पांच अन्य हैं। लापता विमान को ढूंढने के लिए चीन सीमा के नजदीक सर्च ऑपरेशन चलाया गया है।

जानकारी के मुताबिक सर्च ऑपरेशन में सी-१३०जे, सी१३० हरक्यूलिस, सुकोई  सू-३० फाइटर जेट शामिल किए गए हैं। लापता विमान का पता लगाने के लिए भारतीय सेना, विभिन्न सरकारी और सिविल एजेंसियों के साथ समन्वय कर रहा है।  भारतीय सेना के हवाई और जमीनी दलों द्वारा रात से ही सर्च ऑपरेशन जारी है।

गौरतलब है कि एनटोनोव एन३२ ने असम के जोरहाट से उड़ान भरी थी और वह अरुणाचल प्रदेश के मेचुका घाटी में स्थित मेचुका एडवांस्ड लैंडिंग ग्राउंड जा रहा था। विमान ने उड़ान भरने के करीब ३५ मिनट बाद संपर्क खो दिया। मेचुका एडवांस्ड लैंडिंग ग्राउंड चीन सीमा के पास स्थित है। इससे पहले जुलाई २०१६ में भारतीय वायुसेना का एन३२ ट्रांसपोर्ट एयरक्राफ्ट बंगाल की खाड़ी के ऊपर से लापता हो गया था।