भाजपा छोड़कर जाने वाले फिर आ सकते है वापस

उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में भाजपा को मिली जीत को अब भाजपा आगामी लोकसभा चुनाव 2024 में भुनाने के लिये अभी से कमर कस रही है। तभी तो 25 मार्च को प्रदेश के मुख्यमंत्री आदित्यनाथ के शपथ ग्रहण को बड़े धूमधाम से मनाया जा रहा है।
भाजपा के स्थानीय नेताओं से लेकर कार्यकर्ताओं को काफी महत्व दिया जा रहा है। भाजपा का मानना है जितना विधानसभा 2022 की जीत जरूरी थी उतनी ही आगामी लोकसभा 2024 के चुनाव की जीत जरूरी है।
भाजपा के एक वरिष्ठ नेता ने बताया कि 2022 के विधानसभा के चुनाव को देखकर लग रहा था। कि कहीं ये चुनाव सपा के हाथ में न चला जाये क्योंकि चुनाव के दौरान कुछ वातावरण भी ऐसा बना था। लेकिन भाजपा ने चुनाव तो जीत लिया। लेकिन कुछ सीटों को खो कर। यानि सपा का वोट प्रतिशत ही नहीं बड़ा बल्कि सपा की सीटे बड़ी है। सो, अब भाजपा नहीं चाहती है कि भाजपा को वैसे ही दिनों से गुजरना पडे जो विधानसभा के चुनाव के दौरान गुजरना पड़ा है। इसलिये भाजपा अब उन नेताओं को मनाने में लगी है जो चुनाव के दौरान भाजपा को छोड़कर अन्य दलों में चलें गये थे।
भाजपा का मानना है कि अगर रूठे हुये नेताओं को वापस बुलाने से फायदा है तो बताने में कोई दिक्कत नहीं है। इस बात पर भी विशेष बल दिया जा रहा है कि जो नेता अगर अपनी तरफ से खुद पार्टी में आते है। तो उनका सम्मान भी किया जायेगा और पार्टी की कुछ जिम्मेदारी भी दी जा सकती है। भले ही वे नेता कुछ न बोल रहे हो, जो भाजपा को छोड़कर अन्य दल में चलें गये थे। लेकिन वे पर्दे के पीछे भाजपा के साथ आने को तैयार है। आने वाले दिनों में भाजपा में जाने का ऐलान भी कर सकते है।