Home Blog Page 38

टाइम मशीन से “आगरा 2047”  की सैर

एक डरावना ख्वाब या हक़ीक़त ?

बृज खंडेलवाल द्वारा

2047 के “विकसित भारत” में आगरा की क्या तस्वीर होगी ? क्या ताज सिटी आगरा भारत के टॉप 5 स्मार्ट शहरों में शुमार होगा? या फिर ये शहरी बदहवासी और लापरवाही के साये में एक डरावने ख्वाब में तब्दील हो जाएगा? 

इस सवाल का जवाब जानने के लिए हमने टाइम मशीन का सहारा लिया। “टीएम”  के लेंस के जरिए हमने भविष्य के आगरा की एक झलक देखी…जो इतनी डरावनी थी कि दिल दहल गया। 

“ये 2047 की एक तपती हुई सोमवार की दोपहर है। मैं दिल्ली-आगरा हाईवे पर उतरता हूँ। सिकंदरा से लेकर ताजमहल तक, सड़कें बर्बादी का एक डरावना नज़ारा पेश कर रही हैं। धूल और कूड़े से भरी हुई ये सड़कें, ढहती हुई इमारतों से घिरी हुई हैं। बसें जहरीला धुआँ उगल रही हैं, जिससे हवा में बदबू फैल रही है। 

हरि पर्वत चौराहे पर, ट्रैफिक पुलिस मास्क और इनहेलर बांट रही है, ताकि लोग जहरीली हवा से बच सकें। जब हम राजा की मंडी पहुँचते हैं, तो हमें ऑक्सीजन बूथ पर ले जाया जाता है, ताकि हम अपने फेफड़ों को ताज़ी हवा से भर सकें। जून की गर्मी इतनी तेज़ है कि सहन करना मुश्किल है।

हम एक रेस्तरां में शरण लेते हैं, लेकिन वहाँ बिजली गुल होने की वजह से अंधेरा और बदबूदार माहौल है। सड़कों पर दम घुट रहा है, हॉर्न बजाते वाहनों की भीड़ है, और शोर इतना ज़्यादा है कि कान पक जाएँ। मेट्रो सेवाएँ, जो कभी उम्मीद की किरण हुआ करती थीं, बहुत पहले बंद कर दी गई थीं, क्योंकि औसत यात्री महंगे टिकट नहीं खरीद पा रहा था। मेडिकल कॉलेज आधा खाली पड़ा है, इसके हॉल अव्यवस्था से भरे हुए हैं। बाहर लंबी लाइन लगी है। सूर सदन खस्ता हाल दिख रहा है। वॉचमैन कह रहा है, ‘अब सब घर बैठे देखते हैं।’ हर कोई खौफज़दा है। सड़क पर कम लोग हैं, वाहनों से कम। ऐसा लग रहा है कि शहर का बुनियादी ढांचा लगातार दबाव के कारण ढह गया है। 

यमुना नदी, जो कभी जीवन रेखा हुआ करती थी, अब एक स्थिर, प्रदूषित धारा बन गई है। इसके किनारों पर झुग्गियाँ हैं, और नदी के तल पर कॉलोनियाँ उग आई हैं। तथाकथित ‘स्मार्ट सिटी’ एक अव्यवस्थित फैलाव में बदल गई है, जो अनियोजित शहरीकरण का शिकार है। कॉलेज परिसर भयावह रूप से खाली हैं, क्योंकि छात्र अपने उपकरणों से चिपके हुए हैं। उन्हें ऐसी दुनिया में कक्षाओं की कोई ज़रूरत नहीं है, जहाँ AI ही सारा सोचने का काम करता है। 

आगरा में प्रदूषण की एक गहरी धुंध छाई हुई है, जो राजसी ताजमहल को ढक रही है। हवा में ज़हर घुला हुआ है, हर शख़्स परेशान दिख रहा है। नदी, औद्योगिक कचरे का कब्रिस्तान बन गई है। सामुदायिक तालाब और नहर नेटवर्क, जो कभी जीवन से गुलज़ार रहते थे, अब घुटन भरे आशियानों से भर गए हैं – विफल शहरी नियोजन का एक डरावना सबूत। सड़कें अव्यवस्थित गंदगी से भरी हैं। जीर्ण-शीर्ण इमारतें उपेक्षा के बोझ तले ढह रही हैं, उनके अग्रभाग पर गंदगी के निशान हैं। कभी जीवंत और रंगीन रहने वाले बाजार अब भूतिया छाया बनकर रह गए हैं। दुकानें वीरान खड़ी हैं, उनकी खामोशी केवल गड्ढों से भरी सड़कों पर चलने वाले खस्ताहाल वाहनों के कराहते इंजनों से टूटती है। 

आगरा में ‘विकसित भारत’ का वादा धूल में मिल गया है। स्मार्ट सिटी परियोजनाएँ, जिन्हें कभी उद्धारक के रूप में सराहा गया था, अब विफल महत्वाकांक्षाओं के खोखले स्मारक बनकर रह गई हैं। गहरे मुद्दों को छिपाने के लिए किए गए सौंदर्यीकरण के प्रयास गुमनामी में खो गए हैं। ताजमहल, जो कभी शाश्वत प्रेम का प्रतीक था, पर एसिड रेन और उपेक्षा के निशान हैं। शहर की गंदगी से दूर रहने वाले पर्यटक गायब हो गए हैं, जिससे स्थानीय अर्थव्यवस्था बर्बाद हो गई है। AI होटल के कमरों में आराम से वर्चुअल टूरिज्म की व्यवस्था करता है। 

युवा लोग उम्मीद की किरण दिखाने वाले शहरों में अवसरों की तलाश में भाग गए हैं। केवल बूढ़े, बीमार और बेसहारा लोग ही बचे हैं, जो एक ऐसे शहर में फंसे हुए हैं जिसने उन्हें छोड़ दिया है। कभी आगरा की शान रहे शैक्षणिक संस्थान वीरान हो चुके हैं, उनके पुस्तकालय धूल खा रहे हैं। शहर की जीवंत संस्कृति मुरझा गई है, उसकी जगह निराशा ने ले ली है। 

मैं झटकों को झेलने के लिए शाहजहां के बगीचे में रुकता हूं। प्यास से कलेजा बैठा है, एक दुकान से पानी की बोतल मांगता हूं, ” पानी नहीं है, नुक्कड़ के स्टोर से ठंडी बीयर ले लो,” शॉप कीपर एक नेक सलाह देता है।

मैं सोचता हूं, वास्तव में, “आगरा 2047″ एक चेतावनी भरी कहानी है। ये याद दिलाती है कि जब शहरी समस्याओं को नज़रअंदाज़ किया जाता है, जब अल्पकालिक समाधान दीर्घकालिक समाधानों पर हावी हो जाते हैं, और जब लालच और उदासीनता दूरदर्शिता और करुणा पर हावी हो जाती है, तो क्या होता है। ये एक ऐसा शहर है जो अपना रास्ता खो चुका है, एक ऐसा शहर जिसने क्षणभंगुर लाभों के लिए अपने भविष्य का बलिदान कर दिया है। ये अनियंत्रित शहरी क्षय के विनाशकारी परिणामों का एक डरावना प्रमाण है।” 

चिंतित और खौफज़दा हम टाइम मशीन में दाखिल होकर, वर्तमान में लौटने का फैसला करते हैं। लेकिन आगरा के संभावित पतन की भयावह दृष्टि बनी हुई है। क्या हम अपने प्यारे शहर को बचाने के लिए अभी कदम उठाएंगे, या हम इसे बर्बाद होने देंगे? ये चुनाव करना  हमारा अधिकार है।

‘महाकुंभ’ को गाली देने वालों को कभी माफ नहीं करेगा बिहार : प्रधानमंत्री  मोदी

**EDS: THIRD PARTY IMAGE** In this screenshot via PMO website on Feb. 24, 2025, Prime Minister Narendra Modi with Bihar Governor Arif Mohammed Khan and Chief Minister Nitish Kumar during the launch of various development projects, in Bhagalpur, Bihar. (PMO via PTI Photo)(PTI02_24_2025_000197A)

भागलपुर: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को बिना किसी का नाम लिए विरोधियों पर जमकर निशाना साधा। उन्होंने महाकुंभ पर सवाल उठाने वाले लोगों को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि अयोध्या के राम मंदिर से चिढ़ने वाले अब महाकुंभ को भी कोस रहे हैं। उन्होंने बिहार के भागलपुर में पीएम किसान सम्मान समारोह में आए लोगों को संबोधित करते हुए राजद के राष्ट्रीय अध्यक्ष लालू यादव पर सियासी हमला बोलते हुए कहा कि जो लोग पशुओं का चारा खा सकते हैं, वे किसानों की भलाई नहीं सोच सकते।
प्रधानमंत्री मोदी ने यहां से देश भर के किसानों को खुशियों की सौगात देते हुए पीएम किसान सम्मान योजना की 19वीं किस्त जारी की। इसके तहत 9.7 करोड़ से अधिक किसानों को 21,500 करोड़ रुपये से अधिक की वित्तीय सहायता दी गई। उन्होंने कहा कि एनडीए सरकार किसानों के कल्याण के लिए लगातार काम कर रही है। लाल किले से मैंने कहा है कि विकसित भारत के चार मजबूत स्तंभ हैं, जिनमें गरीब, हमारे अन्नदाता किसान, हमारे नौजवान और नारी शक्ति हैं। एनडीए सरकार चाहे केंद्र में हो या फिर यहां नीतीश कुमार के नेतृत्व में चल रही राज्‍य सरकार हो, किसान कल्याण हमारी प्राथमिकता में है। पहले जब बाढ़ आती थी, सूखा पड़ता और ओला पड़ता था, तो ये लोग किसानों को अपने हाल पर छोड़ देते थे। साल 2014 में जब आपने एनडीए को आशीर्वाद दिया, तब पीएम फसल बीमा योजना बनाई।

उन्होंने कहा कि कांग्रेस हो या जंगलराज वाले हों, इनके लिए आप किसानों की तकलीफ कोई मायने नहीं रखती। हमने किसानों की समस्याओं के समाधान के लिए पूरी शक्ति से काम किया है। किसानों को खेती के लिए अच्छे बीज की व्यवस्था हो, पर्याप्त और सस्ती खाद या किसानों को सिंचाई की सुविधा, सभी क्षेत्रों में काम किए गए। पशुओं की बीमारी और आपदा से बचाव के लिए भी काम किए गए। एनडीए सरकार ने स्थिति को बदला है। हमने सैकड़ों आधुनिक किस्म के बीज किसानों को दिए। पहले यूरिया के लिए किसान लाठी खाता था और यूरिया की कालाबाजारी होती थी। आज किसानों को पर्याप्त खाद मिलती है। आज यूरिया प्रति बोरी 300 रुपये में मिलती है।

उन्होंने महाकुंभ की चर्चा करते हुए कहा कि एनडीए गौरवशाली विरासत के संरक्षण और वैभवशाली विकास को लेकर काम कर रही है। कुछ लोगों को धरोहरों और आस्था से भी नफरत है। प्रयागराज में आजकल एकता का महाकुंभ चल रहा है। इस एकता के महोत्सव में लोग डुबकी लगा रहे हैं। अब तक यूरोप की जितनी जनसंख्या है, उतने लोग डुबकी लगा चुके हैं। लेकिन, कुछ लोग इसे भी गाली दे रहे हैं।

उन्होंने भरोसा जताते हुए कहा कि ऐसे लोगों को बिहार के लोग कभी नहीं छोड़ेंगे। कांग्रेस और राजद के लंबे कुशासन ने बिहार को बदनाम और बर्बाद किया। लेकिन, अब विकसित भारत में बिहार का वही स्थान होगा, जो प्राचीन समय में पाटलिपुत्र का था। बिहार में सड़कों के नेटवर्क के लिए और जन कल्याण की योजनाओं के लिए एनडीए सरकार प्रतिबद्ध होकर काम कर रही है।

हरियाणा के कॉलेजों में लेक्चरर के 50 % खाली, कैसे होगा उच्च शिक्षा का सपना सार्थक: कुमारी सैलजा

जनता को गुमराह करने के लिए सरकार करती हैं झूठी घोषणाएं, हर 20 किमी पर नहीं है महिला कालेज

चंडीगढ़: अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी की महासचिव, पूर्व केंद्रीय मंत्री एवं सांसद कुमारी सैलजा ने कहा कि एक ओर सरकार नई शिक्षा नीति इसी सत्र से लागू करने जा रही है तो दूसरी ओर प्रदेश के सरकारी और मान्यता प्राप्त कॉलेज लेक्चरर की कमी से जूझ रहे हैं। अधिकतर जगहों पर अतिथि प्राध्यापकों और एक्सटेंशन लेक्चरर्स से काम चलाया जा रहा है। प्रदेश के कॉलेजों में करीब 50 प्रतिशत प्राध्यापकों के पद रिक्त पड़े हुए है ऐसे में सरकार जानबूझकर शिक्षा को गर्त में पहुंचा रही है, अगर युवाओं का भविष्य सुरक्षित रखना है तो सरकार को शिक्षा पर ध्यान देते हुए सभी रिक्त पदों पर भर्ती करनी चाहिए ताकि उच्च शिक्षा के लिए प्रदेश के युवाओं को दूसरे राज्यों की ओर पलायन न करना पड़़े। दूसरी ओर हर 20 किमी पर छात्राओं के लिए कॉलेज की घोषणा भी न जाने कब की पानी पी चुकी है। झूठी घोषणाएं कर सरकार जनता को गुमराह न करें।

मीडिया को जारी बयान में कुमारी सैलजा ने कहा कि प्रदेश की भाजपा सरकार शिक्षा के नाम पर युवाओं को गुमराह करती आ रही है, नई शिक्षा नीति के नाम पर भी सरकार युवाओं के साथ खेल खेल रही है। जब सरकारी और मान्यता प्राप्त कॉलेज में शिक्षक नहीं है, इंफ्रास्ट्रक्चर नहीं है तो ऐसे में नई शिक्षा नीति के भी कोई मायने नहीं है। एक आरटीआई के माध्यम से खुलासा हुआ है कि प्रदेश के सरकारी और एडेड कॉलेज में लेक्चरर के 50 प्रतिशत पद खाली पड़े हुए है। प्रदेश में 184 सरकारी और 97 एडेड कॉलेज हैं। इन कॉलेज में लेक्चरर के 7986 पद स्वीकृत है। इनमें से 3358 पदों पर ही नियमित लेक्चरर हैं जबकि 2058 पदों पर गेस्ट और एक्सटेंशन लेक्चरर्स ही कार्यरत है यानि 4465 पद आज भी खाली है। उन्होंने कहा कि 97 एडेड कॉलेजों में 39 प्रिंसिपल तक नहीं है। एडेड कॉलेज में जो सेवानिवृत्त हो गया उसके स्थान पर भर्तियां तक नहीं हो रही है।

कुमारी सैलजा ने कहा कि सरकार ने स्वयं माना है कि प्रदेश के कालेजों में 749 अंग्रेजी के लेक्चरर्स नहीं है। इसी प्रकार कॉमर्स के 450, भूगोल के 479, गणित के 396, भौतिक विज्ञान के 323, हिंदी के 317, वनस्पति विज्ञान के 166, रसायन विज्ञान के 402, इतिहास के 189, कंप्यूटर साइंस के 221, शारीरिक शिक्षा के 127 और मनोविज्ञान के 125 पद खाली पड़े हुए है। कुमारी सैलजा ने कहा कि इतने खाली पदों से अंदाजा लगाया जा सकता है कि प्रदेश के कॉलेज में शिक्षण कार्य कैसे चल रहा होगा और विद्यार्थियों को कैसे कैसे परेशानी उठानी पड़ रही होगी। उच्च शिक्षा के लिए प्रदेश के युवा दूसरे राज्यों की ओर पलायन कर रहे है जो सरकार के लिए सबसे ज्यादा शर्मनाक है। 

कुमारी सैलजा ने कहा कि सरकार शिक्षा के नाम पर जनता को गुमराह करती आ रही है, पहले कहा था कि हर बीस किमी पर महिला कालेज खोला जाएगा पर ऐसा हुआ नहीं, ऐसे में लड़कियां उच्च शिक्षा ग्रहण नहीं कर पाती और बारहवीं के बाद उनकी पढ़ाई छूट जाती है। सरकार को अपना वायदा पूरा करते हुए शिक्षा क्षेत्र में सुधार करते हुए सभी रिक्त पदों को भरना चाहिए ताकि विद्यार्थी उच्च शिक्षा के लिए दूसरे राज्यों की ओर पलायन न करे और लड़कियों की पढ़ाई बीच में न छूटे।

दिल्ली विधानसभा का तीन दिवसीय सत्र शुरू, प्रोटेम स्पीकर बने अरविंदर सिंह लवली

नई दिल्ली: दिल्ली विधानसभा का तीन दिवसीय सत्र शुरू हो चुका है। भाजपा विधायक अरविंदर सिंह लवली ने नवगठित विधानसभा के प्रोटेम स्पीकर के रूप में शपथ ली। विधानसभा की पहली बैठक से पहले लवली को राज निवास में एलजी विनय कुमार सक्सेना ने यह शपथ दिलाई।

सदन के सबसे वरिष्ठ विधायकों में से एक लवली अब नवनिर्वाचित विधायकों को शपथ दिलाएंगे। बाद में नए स्पीकर का चुनाव होगा और इस पद के लिए भाजपा विधायक विजेंद्र गुप्ता को चुना जा सकता है। वहीं डिप्टी स्पीकर के पद के लिए मोहन सिंह बिष्ट के नाम की चर्चा है। चुनाव संपन्न होने के बाद नवनिर्वाचित स्पीकर और डिप्टी स्पीकर को भी शपथ दिलाई जाएगी।

दिल्ली विधानसभा सदन में शपथ ग्रहण का शुभारंभ हो गया है। मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने शपथ ली। इनके बाद अब मंत्रिमंडल के अन्य सदस्य शपथ ले रहे हैं। इनके बाद बारी-बारी से सभी अन्य विधायक 70 विधायक शपथ लेंगे। प्रोटेम स्पीकर अरविंद सिंह लवली ने कहा कि विधानसभा द्वारा तैयार किए गए लिखित प्रारूप के अनुसार ही सभी सदस्य शपथ लें। दिल्ली विधानसभा के पहले दिन दिल्ली बीजेपी के अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा ने कहा कि यह हमारी एक शुरुआत है। मैं उन्हें (आप नेता और नेता प्रतिद्वंद्वी आतिशी) बधाई देता हूं। मुझे उम्मीद है कि वे पहले के विपरीत सकारात्मक सकारात्मकता के साथ काम करेंगे। एक-एक कर शपथ लेने की प्रक्रिया शुरू हो गई है। शपथ लेने के क्रम में पहले मंत्री शपथ ले रहे हैं। सिरसा ने पंजाबी में शपथ ली। वहीं पर कपिल मिश्रा ने संस्कृत में शपथ ली।

शेयर बाजार में नवेशकों के 3.40 लाख करोड़ हुए नुक्सान

मुंबई: शेयर बाजार में गिरावट थमने का नाम नहीं ले रही है। भारतीय बाजार में बीते कारोबारी हफ्ते में बड़ी गिरावट देखने के बाद सोमवार को शेयर मार्केट लाल निशान में खुला। सेंसेक्स खुलने के साथ ही 500 अंक से ज्यादा ज्यादा टूट गया जबकि निफ्टी 159 अंक टूटकर खुला। इस बीच शुरुआती कारोबार में लार्जकैप में शामिल 30 में से 29 शेयरों की शुरुआत भी गिरावट के साथ हुई। शेयर बाजार पर एक बार फिर से अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की टैरिफ लगाने की धमकी का असर देखने को मिला है।

सेंसेक्स सोमवार को अपने पिछले बंद 75,311.06 की तुलना में फिसलकर 74,893.45 के लेवल पर खुला और कुछ ही देर में गिरावट तेज हो गई जिस सेंसेक्स फिसलकर 74,730 के स्तर पर पहुंच गया। वहीं दूसरी तरफ निफ़्टी भी अपने पिछले बंद 22,795.90 के स्तर से टूटकर 22,609.35 के लेवल पर खुला और मिनटों में सेंसेक्स के कदम से कदम मिलाकर 200 अंक टूटकर 22,607 के लेवल तक गिर गया।

शेयर बाजार में गिरावट इतनी तेज थी कि महज 5 मिनट में बीएसई में लिस्टेड कंपनियों का कुल मार्केट करीब 3.40 लाख करोड़ रुपये डूब गया। ग्लोबल मार्केट में गिरावट के बीच अब ब्राडर मार्केट में भी हाहाकार की स्थित रही। BSE के सभी सेक्टोरल इंडेक्स भी लाल निशान में कारोबार कर रहे हैं। सुबह 9.20 बजे के करीब, बीएसई में लिस्टेड कंपनियों का कुल मार्केट कैप घटकर 398.80 लाख करोड़ रुपये पर आ गया। इस तरह लिस्टेड कंपनियों का मार्केट कैप सोमवार को बाजार खुलने के कुछ मिनटों में ही 3.40 लाख करोड़ रुपये तक घट गया।

‘मेरी टैरिफ लगाने की धमकी के बाद टूट गया BRICS’, अमेरिकी राष्ट्रपति का बयान

नई दिल्ली : अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप ने ब्रिक्स को लेकर एक बार फिर बड़ा बयान दिया है। उनका कहना है कि ब्रिक्स पर 150 फीसदी टैरिफ लगाने की धमकी के बाद 5 देशों का ये समूह तितर-बितर हो गया है। ट्रंप ने कहा कि अमेरिकी डॉलर को चुनौती देने की ब्रिक्स की कोशिशों से कुछ फायदा नहीं होगा। ट्रंप ने कहा कि ब्रिक्स देश हमारे डॉलर को तबाह करने की कोशिश कर रहे हैं। वे नई करेंसी शुरू करना चाहते हैं। इसलिए जब मैं सत्ता में आया तो मैंने पहली बात यही कही कि ब्रिक्स का जो भी देश नई करेंसी की बात करेगा उस पर 150 फीसदी टैरिफ लगाया जाएगा। हमें आपके प्रॉडक्ट नहीं चाहिए और इसके बाद ब्रिक्स टूट जाएगा।

उन्होंने कहा कि मुझे नहीं पता कि ब्रिक्स में अब क्या हो रहा है। हमने कुछ समय से उनके बारे में कुछ नहीं सुना है। बता दें कि ब्रिक्स में ब्राजील, रूस, भारत, चीन, दक्षिण अफ्रीका, मिस्र, इथियोपिया, ईरान और संयुक्त अरब अमीरात शामिल हैं। इसके साथ ही तुर्की, अजरबैजान और मलेशिया ने ब्रिक्स का सदस्य बनने के लिए आवेदन किया है।

ट्रंप ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ट्रूथ सोशल पर पोस्ट कर कहा था कि ब्रिक्स देश अमेरिकी डॉलर के वर्चस्व को चुनौती देने की कोशिश कर रहे हैं और हम सिर्फ तमाशबीन बने हुए हैं लेकिन अब ये नहीं चलेगा। हम चाहते हैं कि ये हॉस्टाइल देश अमेरिकी डॉलर के वर्चस्व को चुनौती देने के लिए ना तो नई ब्रिक्स करेंसी बनाएं और ना ही किसी अन्य करेंसी को सपोर्ट करें। अगर ऐसा नहीं किया गया तो ब्रिक्स देशों पर 100 फीसदी टैरिफ लगाया जाएगा। बता दें कि पिछले कुछ समय से ऐसी खबरें सामने आ रही थीं कि ब्रिक्स देशों अपनी करेंसी शुरू कर सकते हैं। लेकिन अब ट्रंप ने इसे लेकर ब्रिक्स देशों को खुली धमकी दे दी है।

सौरव गांगुली के काफिले की गाड़ी हो गई हादसे का शिकार

नई दिल्ली: भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान सौरव गांगुली के काफिले में मौजूद कार हादसे का शिकार हो गई। जानकारी के अनुसार बर्दवान जाते समय उनके काफिले की गाड़ी का एक्सीडेंट हो गया। जानकारी के अनुसार अचानक एक लॉरी बीच में आ गई थी जिस वजह से गाड़ियों को अचानक ब्रेक लगानी पड़ी। हालांकि, राहत की बात यह है कि ना तो दादा को और ना ही उनके साथ मौजूद कोई घायल हुआ।

सौरव के काफिले के सामने एक लॉरी थी जिसने अचानक ब्रेक लगाई। हालांकि गांगुली की कार के चालक ने समय रहते ब्रेक लगा दिए, लेकिन काफिले के पीछे चल रही दो कारों के बीच मामूली टक्कर हो गई। दादपुर थाने के एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि घटना में सौरव की कार को कोई नुकसान नहीं पहुंचा है। सौरव को भी कोई चोट नहीं आई। काफिले में शामिल दो वाहनों की टक्कर में मामूली क्षति हुई। हालांकि, ड्राइवरों को कोई चोट नहीं आई। सभी लोग स्वस्थ हैं। इसके बाद महाराज ने बर्दवान विश्वविद्यालय के गोलापबाग परिसर के सभागार में छात्रों के कई सवालों के जवाब दिए। उन्होंने विश्वविद्यालय के मोहन बागान मैदान का भी दौरा किया। वहां से बर्दवान के राधारानी स्टेडियम जाएंगे। वहां, सौरव को बर्दवान खेल संघ द्वारा सम्मानित किया गया।

रेखा गुप्ता ने दिल्ली के मुख्यमंत्री पद की शपथ ली

नई दिल्ली: भाजपा की रेखा गुप्ता ने दिल्ली के मुख्यमंत्री पद की शपथ ले ली है। रामलीला मैदान में उप राज्यपाल वीके सक्सेना ने शपथ दिलाई। इस दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी समेत एनडीए शासित प्रदेशों के सीएम और डिप्टी सीएम भी मंच पर मौजूद रहे। रेखा गुप्ता के साथ 6 विधायकों ने भी मंत्री पद की शपथ ली। इन मंत्रियों में प्रवेश वर्मा, आशीष सूद, मनजिंदर सिंह सिरसा, रविंदर इंद्राज सिंह, कपिल मिश्रा और पंकज कुमार सिंह शामिल हैं। उपराज्यपाल वीके सक्सेना ने सबसे पहले मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता को शपथ दिलवाई इसके बाद प्रवेश वर्मा, आशीष सूद, मनजिंदर सिंह सिरसा, कपिल मिश्रा, पंकज कुमार सिंह और अंत में रविंदर इंद्राज सिंह ने शपथ ली।

उनके बाद प्रवेश साहिब सिंह ने पद एवं गोपनीयता की शपथ ली। शपथ ग्रहण समारोह के लिए तीन अलग-अलग मंच तैयार किए गए। मुख्य मंच पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, उपराज्यपाल वीके सक्सेना, मनोनीत मुख्यमंत्री और मंत्रिपरिषद के सहयोगी सदस्य, और एनडीए शासित राज्यों के मुख्यमंत्री और डिप्टी सीएम भी उपस्थित रहे। दूसरे मंच पर धर्मगुरुओं और विशिष्ट अतिथि मौजूद थे, जबकि तीसरे मंच पर संगीत कार्यक्रम से जुड़े कलाकार मौजूद थे।

बता दें कि बुधवार शाम विधायक दल की बैठक में रेखा गुप्ता को सीएम चुना गया था। सीएम चुने जाने के बाद पहली बार मीडिया से बातचीत के दौरान उन्होंने कहा, “पीएम मोदी ने जो दिल्ली की जनता के लिए विजन दिया है, उसे पूरा करना मेरी प्राथमिकता होगी। पीएम मोदी का तहे दिल से आभार जताना चाहती हूं कि यह सम्मान सिर्फ मेरा नहीं है, बल्कि यह देश की हर मां-बेटी का सम्मान है।”
रेखा गुप्ता दिल्ली की शालीमार बाग सीट से पहली बार विधायक चुनी गई हैं। उन्होंने ‘आप’ की बंदना कुमारी को 29,595 मतों के अंतर से हराया था। गत 8 फरवरी को दिल्ली विधानसभा चुनाव के नतीजे आए थे। भाजपा को 26 साल बाद ऐतिहासिक जीत मिली थी। उसने 70 में से 48 सीटें जीतीं, जबकि आम आदमी पार्टी 22 पर सिमट गई।

रेखा गुप्ता के साथ दिल्ली कैबिनेट के छह मंत्री भी लेंगे शपथ

नई दिल्ली: शालीमार बाग से विधायक रेखा गुप्ता दिल्ली की नई मुख्यमंत्री के तौर पर आज शपथ लेंगी। वह दिल्ली की चौथी महिला सीएम होंगी। इनसे पहले सुषमा स्वराज, शीला दीक्षित और आतिशी कमान संभाल चुकी हैं। शपथ ग्रहण समारोह दोपहर 12.15 रामलीला मैदान में आयोजित होगा। उनके साथ 6 मंत्री- प्रवेश वर्मा, आशीष सूद, मनजिंदर सिंह सिरसा, रविंदर इंद्राज सिंह, कपिल मिश्रा और पंकज कुमार सिंह भी शपथ लेंगे।

6 मंत्रियों को लेकर अधिसूचना भी जारी कर दी गई है। उपराज्यपाल वीके सक्सेना आज दोपहर 12.35 बजे नए मुख्यमंत्री और उनके मंत्रिमंडल को शपथ दिलाएंगे। शपथ ग्रहण समारोह को लेकर तैयारी भी पूरी कर ली गई है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी समेत तमाम केंद्रीय मंत्री, भाजपा और एनडीए शासित राज्यों के मुख्यमंत्री और डिप्टी सीएम भी इसमें शामिल होंगे। रामलीला मैदान में सुरक्षा व्यवस्था चाक चौबंद है। रामलीला मैदान में सुरक्षा के लिए एनएसडी कमांडो, दिल्ली पुलिस के जवान और आरएएफ (रैपिड एक्शन फोर्स) के जवान तैनात हैं। दिल्ली में 25,000 से अधिक सुरक्षाकर्मी और अर्धसैनिक बलों की 15 से ज्यादा कंपनियां तैनात की गई हैं।

बता दें, कि बुधवार शाम विधायक दल की बैठक में रेखा गुप्ता को सीएम चुना गया था। सीएम चुने जाने के बाद पहली बार मीडिया से बातचीत के दौरान उन्होंने कहा, ” पीएम मोदी ने जो दिल्ली की जनता के लिए विजन दिया है, उसे पूरा करना मेरी प्राथमिकता होगी। पीएम मोदी का तहे दिल से आभार जताना चाहती हूं कि यह सम्मान सिर्फ मेरा नहीं है, बल्कि यह देश की हर मां-बेटी का सम्मान है।”

रेखा गुप्ता दिल्ली की शालीमार बाग सीट से पहली बार विधायक चुनी गई हैं। उन्होंने ‘आप’ की बंदना कुमारी को 29,595 मतों के अंतर से हराया था। गत 8 फरवरी को दिल्ली विधानसभा चुनाव के नतीजे आए थे। भाजपा को 26 साल बाद ऐतिहासिक जीत मिली थी। उसने 70 में से 48 सीटें जीती जबकि आम आदमी पार्टी 22 पर सिमट गई।

खालिस्तान समर्थक नेता अमृतपाल सिंह ने संसद सत्र में भाग लेने की अनुमति मांगी

अंजलि भाटिया
नई दिल्ली , 20 फरवरी
जेल में बंद खडूर साहिब के सांसद और खालिस्तान समर्थक नेता अमृतपाल सिंह ने पंजाब एवं हरियाणा उच्च न्यायालय में एक याचिका दायर कर संसद के चल रहे सत्र में भाग लेने की अनुमति मांगी है।
उनकी याचिका इस चिंता के बीच आई है कि लंबे समय तक अनुपस्थित रहने के कारण उनकी सीट रिक्त घोषित की जा सकती है।
संविधान के अनुच्छेद 101(4) के अनुसार “यदि संसद के किसी भी सदन का कोई सदस्य बिना अनुमति के 60 दिनों तक सभी बैठकों से अनुपस्थित रहता है, तो सदन उनकी सीट रिक्त घोषित कर सकता है. बशर्ते कि साठ दिनों की उक्त अवधि की गणना करते समय उस अवधि को ध्यान में नहीं रखा जाएगा, जिसके दौरान सदन को चार दिनों से अधिक लगातार स्थगित किया गया हो या स्थगित किया गया हो।
अमृतपाल सिंह पहले ही 46 दिनों तक संसदीय कार्यवाही से अनुपस्थित रह चुके हैं, जिससे उनकी सीट खतरे में आने में केवल 14 दिन और बचे हैं।
सूत्रों से पता चला है की उनकी याचिका पर सुनवाई दो दिन में होने की संभावना है।
वर्तमान में राष्ट्रीय सुरक्षा अधिनियम (एनएसए) के तहत असम की डिब्रूगढ़ जेल में बंद अमृतपाल सिंह ने इससे पहले 23 जनवरी को एक याचिका दायर की थी, जिसमें संसद में उपस्थित होने और गणतंत्र दिवस समारोह में भाग लेने की अनुमति मांगी गई थी।
उन्होंने कहा था कि उन्हें लगातार जेल में रखने से उनके 19 लाख मतदाताओं को प्रतिनिधित्व से वंचित किया जा रहा है।साथ ही उनकी हिरासत राजनीति से प्रेरित है और इसका उद्देश्य उनके बढ़ते प्रभाव को रोकना है।
अमृतसर के डिप्टी मजिस्ट्रेट ने शुरू में मार्च 2023 में उनकी हिरासत का आदेश जारी किया था और तब से इसे कई बार बढ़ाया जा चुका है।