महिलाओं को पूजास्थल में प्रवेश करने से रोकना गलत : बॉम्बे हाई कोर्ट

Shani

बॉम्बे हाई कोर्ट ने महिलाओं को भी पुरुषों की तरह पूजास्थल पर जाने की अनुमति देने को कहा ​है. कोर्ट ने शनि शिंगणापुर मंदिर में महिलाओं के प्रवेश पर पाबंदी के खिलाफ दायर याचिका पर सुनवाई के दौरान कहा कि महिलाओं को मंदिर में प्रवेश से नहीं रोका जा सकता. कोर्ट ने अपने आदेश में कहा कि जहां पुरुष जा सकते हैं वहां महिलाएं भी जा सकती हैं.

यह मामला 29 नवंबर को तब उछला था जब एक महिला ने अहमदनगर जिले के शनि शिंगणापुर मंदिर में चबूतरे पर चढ़कर वहां रखी शिला पर तेल चढ़ा दिया था. इसके बाद पुजारियों ने कहा कि शनि देव अपवित्र हो गए हैं और उनका दूध से अभिषेक किया गया. शिंगणापुर में शनि शिला एक चबूतरे पर है और इस चबूतरे पर महिलाओं को जाने की अनुमति नहीं है. अगर कोई व्यक्ति या मंदिर महिलाओं को पूजास्थल जाने से रोकता है, तो उसे महाराष्ट्र के कानून के अंतर्गत छह महीने की जेल की सजा हो सकती है. मुख्य न्यायाधीश डीएच वाघेला और न्यायमूर्ति एमएस सोनक की खंडपीठ ने वरिष्ठ अधिवक्ता नीलिमा वर्तक और सामाजिक कार्यकर्ता विद्या बल द्वारा दायर जनहित याचिका पर सुनवाई के दौरान ये टिप्पणियां कीं.