भारत सातवीं बार एशियाई चैंपियन

अंतिम गेंद तक चले रोमांचक मुकाबले में बांग्लादेश को तीन विकेट से हराकर भारत ने एशियाई चैपिंयनशिप सातवीं बार जीत ली। मैच का रोमांच यह था कि सभी दर्शक अंतिम गेंद फेके जाने तक अपनी सांसे रोक कर बैठे थे। जैसे ही केदार जाधव (23) ने मेहमूदुल्ला की अंतिम गेंद पर एक रन लैग बाई का लिया उसके साथ ही सारा स्टेडियम तालियों से गूंजं उठा। ये तालियां थीं इस बात का प्रतीक कि भारत ने सातवीं बार एशिया कप क्रिकेट का खिताब जीत लिया। उस समय कुलदीप यादव नॉन स्ट्राइकर्स के छोर पर पांच गेंदों में पांच रन बना कर नाबाद खड़े थे।

भारत की जीत में कप्तान रोहित शर्मा (48), दिनेश कार्तिक (37), धोनी (36), भुवनेश्वर कुमार (21) और रविंदर जडेजा (23) का भी महत्वपूर्ण योगदान रहा।

भारत ने टास जीत कर पहले गेंदबाजी करने का फैसला किया। बांग्लादेश ने लितन दास के 117 गेंदों पर बनाए गए 121 रनों की बदौलत बांग्लादेश की टीम 48.3 ओवर में 222 रन बना सकी। भारत के लिए कुलदीप यादव ने 45 रन दे कर तीन विकेट लिए। केदार जाधव ने 41 रन दे कर दो और चाहल और बुमरा ने एक एक विकेट लिया।

भारत-बांग्लादेश फाईनल में

इससे पूर्व भारत और बांग्ला देश की टीमें एशिया कप क्रिकेट के फाइनल में पहुंची। सुपर फोर के अपने अंतिम मैच में भारत और अफगारिस्तान की टीमों के बीच खेला गया मुकाबला ‘टाई’ हो गया। दोनों की टीमें निर्धारित ओवरों में 252-252 रन ही बना पाई। सुपर लीग में सबसे नीचे चल रही अफगानिस्तान के लिए यह किसी चमत्कार से कम नहीं था। दूसरी ओर बांग्लादेश ने पाकिस्तान को 37 रन से हरा कर फाइनल में जगह बनाई। बांग्लादेश के 239 के स्कोर का पीछा करता पाकिस्तान 202 पर ही लुढ़क गया।

इससे पूर्व सुपर फोर के एक मैच में भारत ने पाकिस्तान को नौ विकेट से परास्त किया। पाकिस्तान ने पहले बल्लेबाजी करते हुए निर्धारित 50 ओवर में सात विकेट पर 237 रन बनाए। भारत ने यह लक्ष्य 39.3 ओवर में मात्र एक विकेट खो कर हासिल कर लिया। पाकिस्तान की ओर से शोएब मलिक ने 90 गेंदों पर 78 रन बनाए जिनमें चार चैके और दो छक्के शामिल है। उनके अलावा टीम के कप्तान व विकेट कीपर सरफराज़ अहमद ने 66 गेंदों पर 44 रन का योगदान दिया। भारत के लिए जसप्रीत बुमरा, यजुविंदर चाहल, और कुलदीप यादव, तीनों ने दो-दो विकेट हासिल किए। बाबर आज़म 25 गेंदों पर नौ रन बना कर यजुविंदर चाहल के हाथों रन आएट हो गया।

इसके जवाब में उतरी भारतीय टीम के लिए सलामी बल्लेबाजों रोहित शर्मा और शिखर धवन ने शतक जमा कर भारत को आसान जीत दिलवा दी। भारत के लिए कप्तान रोहित शर्मा ने 119 गेंदों पर सात चैकों और चार छक्कों के दम पर 111 नाबाद रन बनाए। जबकि शिखर धवन 100 गेंदों पर 114 रन बना कर हसनअली के हाथों रन आउट हो गया। उसने अपनी पारी में 16 चैके और दो छक्के जमाए।

इससे पूर्व खेले गए एक लीग मुकाबले में भारत ने पाकिस्तान को आठ विकेट से परास्त किया। इस मैच में पहले बल्लेबाजी करते हुए कुछ अधिक रन नहीं बनाए। उनकी टीम 43.1 ओवर में मात्र 162 रन बना कर आउट हो गई।

बाबर आज़म और शोएब मलिक को छोड़ पाकिस्तान का कोई बल्लेबाज भारतीय तेज़ गेंदबाजों का सामना नहीं कर पाया। भारत के लिए भुवनेश्वर कुमार ने तीन, केदार जादव ने तीन और जसप्रीत बुमरा को दो विकेट मिले। एक विकेट कुलदीप यादव के हिस्से आया। पाकिस्तान के लिए बाबर आज़म ने 47 और शोएब मलिक ने 43 रनों का योगदान किया। इनके अलावा फहीम अशरफ ने 21 और मोहम्मद आमिर ने नाबाद 18 रन बनाए।

162 रनों के छोटे से लक्ष्य का पीछा करते हुए भारत को कभी भी कठिनाई का सामना नहीं करना पड़ा। रोहित शर्मा और शिखर धवन की जोड़ी ने पहली विकेट के लिए 86 महत्वपूर्ण रन जोड़ दिए। 14 वें ओवर में रोहित 52 रन बना कर शादाब खान की गेंद पर बोल्ड हो गए। शिखर धवन का विकेट 104 के कुल स्कोर पर 17 वें ओवर में गिरा। धवन ने 54 गेंदों पर 46 रन बनाए। इसके बाद अंबाति रायडू (31) और दिनेश कार्तिक (31) टीम को विजय की ओर ले गए।

टूर्नामेंट में भारत की शुरूआत शानदार रही। उसने अपने पहले मैच में हांगकांग को 26 रन से परास्त किया और एक अन्य मुकाबले में वह बांग्ला देश को सात विकेट से हराने में कामयाब रहा।

हांगकांग के खिलाफ शिखर धवन के शतक (127) और रायडू  की शानदार बल्लेबाजी (60) की बदौलत भारत ने सात विकेट पर 285 रन का स्कोर खड़ा कर दिया। हांगकांग की ओर से इशान खान ने दो ओर किंचित शाह ने तीन विकेट लिए। भारत के 285 रन के जवाब में हांगकांग की टीम निर्धारित 50 ओवर में आठ विकेट पर 259 रन बना सकी। उनकी तरफ से निज़ाकत खान ने 115 गेंदों पर 12 चैकों और एक छक्के की सहायता से शानदार 92 रन बनाए। उसके अलावा अंशुमन ने 73 रनों का योगदान दिया। भारत के लिए खलील अहमद और याजुविंदर चाहल ने तीन-तीन विकेट लिए। कुलदीप यादव को दो विकेट मिले।

अफगानिस्तान की धूम

इस बार सबसे ज़्यादा आकर्षण का केंद्र रहा अफगानिस्तान । उसने अपने पहले ही मैच में श्रीलंका को 91 रनों से हरा कर तहलका मचा दिया। सभी के लए यह अप्रत्याशित परिणाम था। इतना ही नहीं उसने सुपर फोर के मुकाबलों में भारत के साथ 252-252 से टाई कर सभी का दिल जीत लिया। हालांकि वह फाइनल में जगह नहीं बना पाया, पर भविष्य के लिए वह एशिया की हर टीम के लिए एक बड़ी चुनौती बन गया। श्रीलंका के खिलाफ पहले बल्लेबाजी करते हुए अफगानिस्तान ने 249 रन बना दिए। उनके लिए रहमत शाह ने 72 और अहसानुल्ला ने 45 रन बनाए। श्रीलंका के लिए थिसारा परेरा ने 55 रन दे कर पांच विकेट लिए।

जीत के लिए 250 रन का लक्ष्य ले कर उतरी श्रीलंका की टीम के लिए कोई भी बल्लेबाज टिक नहीं पाया। उनके लिए सर्वाधिक 36 रन उपुंल थरंगा ने बनाए। इस प्रकार श्रीलंका की टीम 158 पर ढेर हो गई।

इसकी अगली टक्कर बांग्लादेश के साथ थी। इस मुकाबले में अफगानिस्तान ने अपनी सबसे बड़ी जीत दर्ज की। उसने पहले बल्लेबाजी करते हुए 50 ओवर में सात विकेट पर 255 रन बना दिए। इसके जवाब में बांग्ला देश की टीम 42.1 ओवर में 119 रनों पर आउट हो गई।

बांग्लादेश फाइनल में

मुश्फिकर रहीम के शानदार 99 रनों की पारी और मोहम्मद मिथुन के 60 रनों ने बांग्लादेश को एशिया कप क्रिकेट के फाइनल में स्थान दिला दिया। टॉस जीतने के बाद जब बांग्लादेश ने पारी शुरू की तो उसके पहले तीन खिलाड़ी मात्र 11 रन का ही योगदान दे पाए। सलामी बल्लेबाज लिटन दास छह रन, दूसरे सलामी बल्लेबाज सौमया सरकार बिना रन बनाए और तीसरे नंबर पर आए मोमिनुल हक केवल पांच रन ही बना सके। लेकिन तीसरे विकेट के लिए मुश्फिकर और मोहम्मद मिथुन के बीच हुई सांझेदारी  स्कोर को सम्मानजनक स्थिति तक ले गई। इनके अलावा महमदुल्ला के 25 रन भी महत्वपूर्ण साबित हुए। पाकिस्तान के लिए जुनैद खान ने चार और शहीन शाह अफरीदी और हसनअली ने दो-दो खिलाड़ी आऊट किए।

पाकिस्तान को यह मैच जीतने के लिए 240 रन चाहिए थे। उसकी शुरूआत भी खराब रही। सलामी बल्लेबाज फखऱज़मा चार गेंदों में मात्र एक रन बना कर और तीसरे नंबर के बल्लेबाज बाबर आज़म तीन गेंदों में एक रन बना पेवलियन लौट गए। कप्तान सरफराज़ अहमद सात ही गेंद खेल पाए और 10 रन बना कर आऊट हो गए।

इसके बाद सलामी बल्लेबाज इमाम-उल-हक और शोएब मलिक ने पारी को संभाला। शोएब 30 रन बना कर रूबल हुसैन का शिकार बने। असिफ अली ने 31 रनों का योगदान दिया। इस बीच इमाम-उल- हक ने अर्धशतक बनाते हुए 83 रनों का योगदान दिया। पर ‘रन रेट’ बहुत अधिक होने के कारण वे ज़्यादा कुछ नहीं कर पाए और अंत में पाकिस्तान की टीम 50 ओवर में नौ विकेट पर 202 रन ही बना पाईं

बांग्लादेश की ओर से मुस्ताफिज़ुर रहमान ने चार विकेट और मेहदी हसन ने दो विकेट लिए।