बुलडोजर को लेकर शंका और आशंका का माहौल बनने लगा है 

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को बुल्डोजर बाबा के नाम से इस बार के  चुनाव प्रचार जो प्रसिद्धि मिली है।उससे जरूर विपक्ष में सुगबुगाहट है ।बताते चलें 2022 चुनाव के पहले कई विधायकों और अपराधियों के अवैध  मकान , होटल सहित अनेक निर्माण कार्यों पर बुलडोजर चलवा कर निर्माण कार्यो को ध्वस्त करवाया था।
तभी से उत्तर प्रदेश की जनता योगी आदित्य नाथ को बुल्डोजर बाबा के नाम से जानने लगे थे।2022 में दोबारा मिली जीत से भाजपा गदगद है और उसके जीते हुए विधायक भी काफी खुश है। वे अपने अब विजय जुलूस के दौरान मीडिया में कह रहे है। कि उनके क्षेत्र में जो भी अवैध निर्माण कार्य हुआ है। उस पर बुलडोजर चल सकता है।
ऐसे में अवैध निर्माण कार्य करने वालों के बीच इस बात की दहशत है। कि कहीं सियासी चालों में वे फंस न जाये और उनके निर्माण कार्य को ध्वस्त न करवा दिया जाये। लेकिन वहीं उत्तर प्रदेश की राजनीति के जानकार संतोष पाल का कहना है कि कई बार कुछ चुने हुए नेता अपने पावर का दुरुपयोग अपने  राजनीतिक प्रतिशोध के लिये कर सकते है। या फिर बुलडोजर चलाने के नाम पर कोई समझौता कर सकते है।
अगर इस तरह की राजनीति चली तो आने वाले दिनों में  प्रदेश में ही नहीं बल्कि पूरे प्रदेश में नये तरह की राजनीति का चलन सामने आ सकता है। उत्तर प्रदेश में भाजपा पहले भी कई बार गैर भाजपा पार्टी पर अवैध कब्जा  करने वाली पार्टी का आरोप लगा चुके है। ऐसे में ये निश्चित तौर ये नहीं कहा जा सकता है । कि विधायक की शिकायत पर कई बड़े नेताओं की अवैध इमारतों पर बुलडोजर चलता है। शंका और आशंका का जरूर माहौल बन रहा है।