पंजाब में कांग्रेस को बड़ा झटका लगा है। पार्टी की अमरिंदर सिंह के नेतृत्व वाली सरकार में वित्त मंत्री रहे मनप्रीत बादल ने कांग्रेस से इस्तीफा दे दिया है। वे भाजपा में शामिल हो गए हैं। यह प्रतीत होता है कि भाजपा पंजाब में कद्दावर नेताओं को अपने साथ जोड़ रही है ताकि लोकसभा के अगले चुनाव में पंजाब में अधिक सीटें जीती जा सकें।
एक ट्वीट में मनप्रीत बादल, जो पूर्व उपमुख्यमंत्री और अकाली नेता सुखबीर सिंह बादल के चचेरे भाई हैं, कांग्रेस में शामिल होने से पहले अकाली दल से अलग होकर अपनी पार्टी पीपल्स पार्टी ऑफ पंजाब चला रहे थे। कांग्रेस ने उन्हें पार्टी में शामिल होते ही अपनी सरकार में वित्त मंत्री बनाया था।
पूर्व प्रदेश अध्यक्ष सुनील जाखड़ के पार्टी छोड़ने बाद मनप्रीत बादल ऐसे पहले बड़े नेता हैं जो भाजपा में गए हैं। दिल्ली में भाजपा नेताओं केंद्रीय मंत्री पियूष गोयल की उपस्थिति में भाजपा में शामिल हुए। पूर्व मुख्यमंत्री कैप्टेन अमरिंदर सिंह पहले ही अपनी पार्टी का भाजपा में विलय कर चुके हैं, हालांकि, उनकी पत्नी परनीत कौर अभी कांग्रेस की ही सांसद हैं।
मनप्रीत बादल ने राहुल गांधी को लिखे सन्देश में पार्टी छोड़ने की बात कही है। इसे उन्हें ट्वीट करके सार्वजनिक किया है। मनप्रीत बादल आज ही भाजपा का दामन थाम सकते हैं। मनप्रीत पंजाब के पूर्व मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल के भतीजे हैं, हालांकि मतभेदों के चलते 2011 में उन्होंने बादलों की पार्टी शिरोमणि अकाली दल से इस्तीफा दे दिया था।
इसके बाद 2011 में मनप्रीत ने अपनी पार्टी पंजाब पीपुल्स पार्टी बनाई और 2016 में पार्टी का कांग्रेस में विलय करके वे उसमें शामिल हो गए। मनप्रीत लंदन से कानून के ग्रैजुएट हैं। वे 1995, 1997, 2002 और 2007 में गिद्दड़बाहा से विधायक और 2010 तक बादल सरकार में वित्त मंत्री रहे। मनप्रीत 2012 के विधानसभा चुनाव में बुरी तरह हार गए, हालांकि, कांग्रेस की टिकट पर वे 2017 में जीत गए थे। हालांकि, 2022 के विधानसभा चुनाव में भी बठिंडा शहरी सीट से उन्हें हार झेलनी पड़ी।