18 दिन में 15वीं बार बढ़े पेट्रोल-डीजल के दाम

एक ओर जहां किसानों का आंदोलन जारी है, तो दूसरी ओर सरकार तेल के दामों में इजाफा करके किसानों और मिडिल क्लास के लिए पहले से बनी मुसीबतों को और जटिल बनाती जा रही है। सरकारी तेल कंपनियों ने बीते 18 दिनों में 15 बार पेट्रोल-डीजल के दामों में बढ़ोतरी की है। इस दौरान डीजल की कीमतों में 3.41 रुपये का इजाफा किया जा चुका है, जबकि पेट्रोल की कीमत में 2.55 रुपये की बढ़ाेतरी हो चुकी है।  पेट्रोलियम के दाम पिछले दो सालों में शिखर पर पहुंच चुके हैं। मुंबई में पेट्रोल की कीमत 90 रुपये के पार हो चुकी है।

दिसंबर के पहले हफ्ते में अब तक पेट्रोल और डीजल के दाम में 6 बार बढ़ोतरी की जा चुकी है। इसके चलते दिसंबर में ही पेट्रोल 1 रुपए 37 पैसे और डीजल 1 रुपये 45 पैसे और महंगा हो चुका है।

दिल्ली में 8 साल पहले यानी जून 2012 में पेट्रोल 71 और डीजल 41 रुपये प्रति लीटर बिक रहा था। इस मतलब ये है कि डीजल 30 रुपए सस्ता हुआ करता था। वहीं, मुंबई में जून 2012 में यह फर्क 32 रुपए का था। अब पेट्रोल और डीजल के दाम में ज्यादा अंतर नहीं रह गया है। दिल्ली में सोमवार को पेट्रोल 83.71 और डीजल 73.87 रुपये प्रति लीटर बिक रहा है। वहीं, मुंबई में अभी पेट्रोल 90.34 और डीजल 80.51 रुपये प्रति लीटर बिक रहा है।

क्यों महंगा बिक रहा पेट्रोल-डीजल
अंतर्राष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की कीमतों में ऐतिहासिक गिरावट के बाद सरकार ने पेट्रोल पर 10 रुपये और डीजल पर 13 रुपये प्रति लीटर उत्पाद शुल्क और बढ़ा दिया था।  नवंबर 2014 से जनवरी 2016 तक केंद्र सरकार ने इसमें नौ बार बढ़ाेतरी की गई। इससे कच्चे तेल की कीमतें गिरने का फायदा आम आदमी को नहीं मिला।