अमेरिका १४ महीने में अफगानिस्तान से अपने सैनिक हटा लेगा। इसका फैसला क़तर में अमेरिका और अफगानिस्तान के तालिबान के बीच एक शांति समझौते में किया गया है। इस समझौते पर दोनों ने हस्ताक्षर किये हैं।
रिपोर्ट्स के मुताबिक समझौते में तय कि अमेरिका अगले १४ महीनों में अफगानिस्तान से अपने सैनिक हटा लेगा। समझौते में जो अन्य शर्तें हैं उन्हें भी १३५ दिन के भीतर पूरा करने की बात हुई।
अमेरिका के विदेश मंत्री माइक पोम्पियो ने समझौते को लेकर बताया कि यह तभी कारगर साबित होगा, जब तालिबान पूरी तरह से शांति कायम करने की दिशा में काम करेगा। पोम्पियो ने कहा – ”तालिबान को आतंकी संगठन अलकायदा से अपने सारे रिश्ते तोड़ने होंगे। यह समझौता इस क्षेत्र में एक प्रयोग है। हम तालिबान पर नजर बनाए रखेंगे। अफगानिस्तान से अपनी सेना पूरी तरह से तभी हटाएंगे, जब पूरी तरह से पुख्ता कर लेंगे कि तालिबान अंतरराष्ट्रीय समुदाय पर आतंकी हमले नहीं करेगा।”
हाल में भारत दौरे पर आए अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने इस मसले को लेकर पीएम मोदी से चर्चा की थी। शांति समझौते के लिए भारतीय विदेश सचिव हर्षवर्धन शृंगला काबुल गए थे और राष्ट्रपति अशरफ गनी के अलावा आला अधिकारियों से भी मुलाकात की थी। दरअसल समझौते के लिए भारत सहित ३० देशों के राजदूतों को दोहा आने का न्योता भेजा गया था।