भाजपा सांसद प्रज्ञा सिंह ने शुक्रवार को लोक सभा में गांधी के हत्यारे गोडसे को देशभक्त कहने वाले अपने गुरूवार वाले ब्यान पर माफी मांग ली। साथ ही उन्होंने ट्वीट में कांग्रेस नेता राहुल गांधी के उन्हें आतंकी कहने पर ऐतराज जताया। भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने भी राहुल के खिलाफ कार्रवाई की मांग करते हुए कहा कि सांसद प्रज्ञा को आतंकी कहना गांधी की हत्या से भी बदतर है। लोकसभा में इस मसले पर जबरदस्त हंगामा जारी है और कांग्रेस के सदस्य साध्वी प्रज्ञा के निलंबन की मांग कर रहे हैं।
प्रज्ञा सिंह के महात्मा गांधी के हत्यारे नाथूराम गोडसे को देशभक्त बताने पर शुक्रवार को भी लोकसभा में हंगामा जारी है। साध्वी प्रज्ञा ने लोकसभा में अपने कथन पर खेद जताते हुए माफी मांगी, लेकिन इसी के साथ उन्होंने बिना नाम लिए कांग्रेस नेता राहुल गांधी पर हमला भी बोल दिया, जिसपर विवाद हो गया। सुबह ही साध्वी प्रज्ञा ने भाजपा के कार्यकारी अध्यक्ष जगत प्रकाश नड्डा से मुलाकात की थी।
प्रज्ञा ने अपने बयान में कहा कि ”बीते घटनाक्रम में मैं सबसे पहले मेरी टिप्पणी से अगर किसी को ठेस पहुंची हो, तो खेद प्रकट कर मैं क्षमा चाहती हूं। परंतु मैं ये भी कहना चाहती हूं कि संसद में मेरे बयानों को तोड़मरोड़ कर पेश किया गया है, मेरा कहना कुछ और था जिसे गलत रूप से प्रस्तुत किया गया है।”
साध्वी प्रज्ञा ने कहा कि महात्मा गांधी की देश के प्रति सेवा का मैं सम्मान करती हूं, परंतु मैं सदन को ध्यान दिलाना चाहती हूं कि इसी सदन के एक माननीय सदस्य की तरफ से मुझे सार्वजनिक तौर पर आतंकवादी कहा गया। मेरे साथ तत्कालीन सरकार के रचे गए षडयंत्र के बावजूद कोई आरोप सिद्ध नहीं हुआ है। जबतक कोर्ट से मुझे दोषी साबित नहीं किया जाता है मुझे आतंकवादी कहना कानून के खिलाफ है।
इसी के बाद साध्वी प्रज्ञा के बयान पर लोकसभा में हंगामा शुरू हो गया। लोकसभा में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी ने साध्वी के बयान पर आपत्ति जताई और कहा कि उन्होंने सही तरीके से माफी नहीं मांगी है। साध्वी के बयान के बाद सदन में ‘डाउन डाउन गोडसे’ के नारे भी लगे।