व्हाट्सएप ने जासूसी मामले में भारत सरकार से ‘खेद’ जताया

कहा बेहतर तालमेल की है ज़रुरत

सरकार के लोकसभा को यह बताने कि सीबीआई, ईडी और आईबी समेत दस केंद्रीय एजेंसियों को टेलीफोन बातचीत टैप करने का अधिकार होने और उन्हें फोन कॉल पर किसी की निगरानी करने से पहले केंद्रीय गृह सचिव की मंजूरी लेना जरूरी है, के एक दिन बाद बुधवार को व्हाट्सएप ने हाल में सामने आये भारतीय पत्रकारों और सामाजिक कार्यकर्ताओं की जासूसी मामले में भारत सरकार से खेद जताते हुए कहा है कि कंप्यूटर इमरजेंसी रिस्पांस टीम-इंडिया (सीईआरटी-इन) इस मामले की जांच कर रहा है।

इससे पहले भारतीय साइबर सुरक्षा एजेंसी सीईआरटी-इन ने व्हाट्सऐप उपयोक्ताओं के लिये एक चेतावनी जारी की जिसमें कहा गया कि एक एमपी४ फाइल के साथ वायरस फैल रहा है, जिसके कारण व्हाट्सऐप के उपयोक्ताओं को पता चले बिना उनकी निजी जानकारियां चोरी होने का जोखिम है।

व्हाट्सएप ने सरकार से कहा कि उन्हें सरकार के साथ अधिक तालमेल की जरूरत है। उसने सभी सुरक्षा उपायों का भरोसा भी दिया है। व्हाट्सएप के भारत सरकार से खेद जताने के बाद सरकार ने उम्मीद जताई कि व्हाट्सएप अपने सेफ्टी वाल को मजबूत करेगा। साथ ही कहा कि अब व्हाट्सएप में सुरक्षा उल्लंघन को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। ”सरकार अपने नागरिकों की सुरक्षा और संरक्षा के लिए प्रतिबद्ध है”।

इससे पहले आज लोकसभा में सरकार ने कहा कि हैंकिग और स्पाईवेयर से निपटने के लिए सूचना प्रौद्योगिकी (आईटी) एक्ट में पयार्प्त प्रावधान हैं। सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री रविशंकर प्रसाद ने लोकसभा में एक लिखित जवाब में कहा कि सरकार नागरिकों की गोपनीयता की सुरक्षा को लेकर पर्सनल डाटा प्रोटेक्शन बिल पर भी काम कर रही है और इसे संसद में जल्द पेश किया जाएगा।