क्या अमेरिका की खुफिया एजेंसी सीआईए के प्रमुख विलियम बर्न्स ने रूस के साथ युद्ध में उलझे यूक्रेन की गुप्त यात्रा कर कथित तौर रूस से क्षेत्र वापस लेने के लिए यूक्रेनी राष्ट्रपति वोलोडिमिर ज़ेलेंस्की और यूक्रेन के शीर्ष खुफिया अधिकारियों से मुलाकात की थी ? एक रिपोर्ट में दावा किया गया है कि बर्न्स की इस यात्रा के दौरान साल के आखिर तक मॉस्को के साथ युद्ध विराम वार्ता शुरू करने की महत्वाकांक्षी रणनीति पर भी उनकी बात हुई थी।
यूक्रेन और रूस के बीच पिछले एक साल से ज्यादा से चल रहे युद्ध में अब तक दोनों ही पक्षों ने अपने-अपने दावे किये हैं। हालांकि, ज्यादातर रिपोर्ट्स में यह बताया गया है कि पश्चिम की मदद के बावजूद यूक्रेन को इस युद्ध में काफी ज्यादा नुकसान उठाना पड़ा है। अब रूस की सरकारी समाचार एजेंसी स्पुतनिक न्यूज़ की वाशिंगटन से एक रिपोर्ट में खुलासा किया गया है कि सीआईए प्रमुख बर्न्स ने यूक्रेन की गुप्त यात्रा की थी।
बर्न्स की यात्रा से परिचित अधिकारियों का हवाला देते हुए, स्पुतनिक की इस रिपोर्ट में कहा गया है कि ‘अमेरिकी मीडिया ने बताया कि जून में यात्रा के दौरान सीआईए निदेशक विलियम बर्न्स ने यूक्रेनी राष्ट्रपति वोलोडिमिर ज़ेलेंस्की और यूक्रेन के शीर्ष खुफिया अधिकारियों से मुलाकात की। यात्रा का उद्देश्य संघर्ष में यूक्रेन की मदद के लिए डिज़ाइन की गई खुफिया जानकारी साझा करने के लिए बिडेन प्रशासन की प्रतिबद्धता की पुष्टि करना था’।
इस रिपोर्ट के मुताबिक ‘यूक्रेन के अधिकारियों ने बर्न्स को बताया कि उनका लक्ष्य तोपखाने और मिसाइल प्रणालियों को क्रीमिया की सीमा रेखा के पास ले जाना और अंत तक पूर्वी यूक्रेन में पहुंचाना है’। स्पुतनिक न्यूज़ की रिपोर्ट में योजना से जुड़े लोगों का हवाला देते हुए कहा गया है कि ‘पिछले साल मार्च में बातचीत टूटने के बाद कीव पहली बार मॉस्को के साथ बातचीत शुरू करने का इरादा रखता है’।
रिपोर्ट के मुताबिक ‘अधिकारियों ने कथित तौर पर बाद में कहा कि उन्हें उम्मीद है कि क्रीमिया को न लेने पर सहमत होकर, रूस पश्चिम से कीव को जो भी सुरक्षा गारंटी दे सकता है, उसे स्वीकार कर लेगा। स्पुतनिक न्यूज़ के मुताबिक ‘एक यूक्रेनी अधिकारी ने आउटलेट को बताया कि अमेरिका इस बात से सहमत है कि यूक्रेन को मजबूत स्थिति का आधार बनाकर वार्ता में शामिल होना चाहिए’।
स्पुतनिक न्यूज़ की रिपोर्ट के मुताबिक ‘कीव की योजनाओं के बारे में बर्न्स के आकलन के बारे में पूछे जाने पर सीआईए ने टिप्पणी करने से इनकार कर दिया’। रिपोर्ट में बताया गया है कि बर्न्स की यह यात्रा वागनर ग्रुप प्रमुख येवगेनी प्रिगोझिन के नाकाम विद्रोह से ठीक पहले हुई थी। रिपोर्ट में कहा गया है कि ‘अमेरिकी खुफिया समुदाय ने जून के मध्य में पता लगाया था कि प्रिगोझिन कुछ साजिश रच रहा था, लेकिन उन निष्कर्षों को यूक्रेनी अधिकारियों तक नहीं पहुंचाया गया था’।
इस रिपोर्ट में दावा किया गया है कि ‘कीव उन पश्चिमी सहयोगियों के असाधारण दबाव में है, जिन्होंने जवाबी हमले से पहले यूक्रेन को अरबों डॉलर के हथियार उपलब्ध कराए थे’। स्पुतनिक न्यूज़ के मुताबिक ‘इससे पहले शुक्रवार को, अमेरिकी मीडिया ने बताया कि बर्न्स ने हाल ही में अपने रूसी समकक्ष सर्गेई नारीश्किन को फोन करके उन्हें सूचित किया था कि प्रिगोझिन के नाकाम विद्रोह में संयुक्त राज्य अमेरिका की कोई भागीदारी नहीं थी’।
याद रहे रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने इस हफ्ते के शुरू में कहा था कि ‘यूक्रेन ने अपने जवाबी हमले की शुरुआत के बाद से 259 टैंक और 780 बख्तरबंद वाहन खो दिए हैं’। कई पश्चिमी मीडिया ने भी कीव के जवाबी हमले के ‘कमजोर नतीजों’ पर ध्यान दिया, जबकि ज़ेलेंस्की ने खुद स्वीकार किया कि प्रगति इच्छा से धीमी थी।