मध्यप्रदेश के राज्यपाल लाल जी टंडन का मंगलवार सुबह निधन हो गया। वे 85 साल के थे और कुछ समय से अस्वस्थ चल रहे थे। उनका निधन लखनऊ के मेंदाता अस्पताल में हुआ। पीएम नरेंद्र मोदी और यूपी की पूर्व मुख्यमंत्री मायावती ने उनके निधन पर शोक जताया है।
टंडन का लंबे समय से लखनऊ के मेदांता अस्पताल में इलाज चल रहा था। टंडन को 11 जून को सांस लेने में तकलीफ और बुखार के बाद अस्पताल में भर्ती किया गया था। उनका जून में ही लिवर की भी आपातकालीन सर्जरी की गयी थी। हालांकि, इसके बाद उनकी हालत नाजुक हो गई और उन्हें वेंटिलेटर पर रखा गया।
टंडन भाजपा के बड़े नेताओं में शामिल किये जाते रहे हैं। मध्य प्रदेश से पहले वह बिहार के राज्यपाल का जिम्मा देख रहे थे। उन्हें पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के करीबियों में गिना जाता था। अटल की लख़नऊ सीट से ही वे चुनाव लड़े।
पीएम नरेंद्र मोदी ने टंडन के निधन पर शोक जताया है। मोदी ने ट्वीट कर लिखा – ”लालजी टंडन को उनकी समाज सेवा के लिए याद किया जाएगा। उन्होंने उत्तर प्रदेश में भाजपा को मजबूत बनाने में अहम भूमिका निभाई। वह जनता की भलाई के लिए काम करने वाले नेता थे। वह कानूनी मामलों के जानकार थे और अटलजी के साथ उन्होंने लंबा वक्त बिताया। मैं उनके प्रति श्रद्धांजलि व्यक्त करता हूं।”
रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने भी लालजी टंडन के निधन पर दुख व्यक्त किया है। उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री मायावती ने लालजी टंडन के निधन पर दुख जताया है। मायावती ने उन्हें राखी बाँधी थी और भाई मानती थीं। टंडन का जन्म 12 अप्रैल, 1935 को उत्तर प्रदेश के लखनऊ में हुआ था। वे लम्बे समय तक आरएसएस से