देश में कोरोना और लॉक डाउन के बाद पैदा हुई स्थिति को लेकर कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने गुरूवार को कांग्रेस कार्यसमिति (सीडब्ल्यूसी) की बैठक की। इसमें उन्होंने लॉक डाउन के बाद गरीबों को आ रही दिक्क्तों को लेकर कहा लॉक डाउन जरूरी था लेकिन इसे जल्दबाजी और बिना तैयारी लागू किया गया जिससे लाखों लोगों के लिए दिक्कत पैदा। इस बीच पीएम मोदी ने कोरोना को लेकर विभिन्न राज्यों के मुख्यमंत्रियों से वीडियो कांफ्रेंसिंग कर हालात की जानकारी ली है।
सोनिया गांधी ने कहा कि मोदी सरकार ने लॉक डाउन से पहले इसकी कोइ तैयारी नहीं की थी जिससे लाखों लोग डर, पैसे और खाने-पीने के सामान की कमी के चलते पलायन को मजबूर हो गए। गांधी ने इस समय फील्ड में काम कर रहे स्वास्थ्य कर्मियों और अन्य को जरूरी उपकरण देने की भी मांग की है ताकि वायरस से उनका बचाव रहे।
कांग्रेस अध्यक्ष ने कांग्रेस कार्यसमिति की बैठक में कहा – ”केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार ने लॉकडाउन का फैसला बिना तैयारी किया जिसका खामियाजा पूरे देश को भुगतना पड़ रहा है। देश में कोरोना वायरस की स्थिति गंभीर है और इसे लेकर सरकार के कदम उठाए जाने की जरूरत तो थी लेकिन पीएम मोदी ने लॉकडाउन का फैसला बिना तैयारी के किया। इस २१ दिन के लॉकडाउन की कोई तैयारी नहीं होने से गरीबों और मजदूरों को भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है।”
गांधी ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए की बैठक में मोदी सरकार घेरा। गौरतलब है कि गांधी ने लॉकडाउन लागू होने के बाद पीएम मोदी को पत्र लिखकर कुछ सुझाव दिए थे। उन्होंने लॉकडाउन को समर्थन देते हुए कहा था कि कांग्रेस इस संकट के काल में सरकार के साथ है। हालांकि, लॉक डाउन को जल्दबाजी में लागू करने से लाखों लोगों की परेशानी पर भी उन्होंने आवाज उठाई है।