बिहार में हिंसा की वारदातें थमने का नाम नहीं ले रहीं। वहां बुधवार को डेहरी (रोहतास) में बच्चों के मामले में एक पुरुष की हत्या कर दी गयी थी। अब शनिवार को पीट-पीट कर उसकी पत्नी की भी बेरहमी से हत्या कर दी गयी। पुलिस और प्रशासन कुछ नहीं कर पाया।
पुरुष की पीट-पीटकर हत्या का मामला शनिवार को एक और खूनी संघर्ष में तब्दील हो गया। दो विरोधी पक्षों में जमकर मारपीट हुई जिसमें बुधवार को जान गवाने वाले विश्वनाथ राम की पत्नी की भी डंडों-पथरों से पीट-पीटकर हत्या कर दी गई। आंबेडकर चौक के पास की इस घटना में एक व्यक्ति गंभीर घायल हो गया। पुलिस ने महिला समेत तीन लोगों को हिरासत में लिया है। घटना के बाद इलाके में रविवार को भी तनाव देखते हुए पुलिस आरोपियों की खोज कर रही है।
हिंसा में जान गवाने वाली महिला माला देवी (५०) के पुत्र ने पुलिस में जो एफआईआर दर्ज करवाई है उसमें मान की मौत के लिए उसे डायन बताकर मारने का आरोप लगाया गया है। माला वर्षों से आंबेडकर चौक के समीप झोपड़ी में रह रही थी और बांस का सूप-दौरा बेचने का काम करती थी। बुधवार को माला और बच्चों के विवाद में पड़ोसी हीरामुनी देवी से उसका झगड़ा हुआ था। परिजनों का आरोप है कि हीरामुनि देवी ने अपने लोगों के साथ माला देवी के पति विश्वनाथ राम की पिटाई की थी, जिससे उसकी मौत हो गई। हालांकि, इसकी शिकायत पुलिस से नहीं कर शव का दाह संस्कार आनन-फानन में सोन नद के तट पर कर दिया गया था।
विश्वनाथ और उसकी पत्नी की पीट-पीट कर हत्या करने के बाद परिजनों में गुस्सा फ़ैल गया। गुस्साए परिजनों ने पड़ोसियों से मारपीट की जो जल्दी ही हिंसा में बदल गयी। लाठी-डंडों के साथ सड़क पर दोनों गुटों में जमकर मारपीट हुई। लोगों का आरोप है कि सूचना के बावजूद पुलिस घटनास्थल पर नहीं पहुंची। बाद में पुलिस ने मौके से हीरामुनी देवी, रंगबहादुर और रामअवतार को गिरफ्तार जरूर किया।