कहते है राजनीति हिंसा और प्रलोभन से शून्य नहीं होती है। ऐसे में दिल्ली विधान सभा चुनाव में मतदाताओं को केन्द्र शासित भाजपा सरकार ने अपने पक्ष में लाने के लिये दिल्ली वालों को तोहफा दिया है क्योंकि चुनाव में भले ही तीन-चार माह की देरी है पर केन्द्र सरकार ने चुनाव की देरी का इंतजार न करते हुये काफी समय अटके-लटके और फंसे प्रस्ताव को पास लाकर मतदाताओं का पास ला दिया है क्योंकि दिल्ली सरकार दिल्ली वालों को तमाम मुफ्त की योजनायें लाकर अपनी राजनीति और वोट बैंक पक्के करने में लगे थे ऐसे में ऐसे केन्द्र की मोदी सरकार ने केजरीवाल को तोड़ निकालने में देरी न करते हुये ऐसे में अनधिकृत कॉलोनियों को पक्का करने का निर्णय लिया है। इस समय दिल्ली में प्रलोभन की राजनीति चल रही है। केन्द्र सरकार ने राजधानी दिल्ली की 1797 अनधिकृत कॉलोनियों के लगभग 40 से 50 लाख लोगों को दीपावली का तोहफा देते हुये इन कॉलोनियों को नियमित करने के जो बनाये गये कायदे -नियम सम्बंधी प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है। केन्द्र के इस प्रस्ताव से दिल्ली में खुशी की लहर दौड़ गयी और भाजपा कार्यालय में जमकर जश्न मना दिल्ली में भाजपा के पार्षदों ने भी अनधिकृत कॉलोनियों का नियमित करने पर लोगों के बीच जाकर कहा कि आज का दिन दिल्ली वालों का ऐतिहासिक दिन है।
केन्द्रीय आवास एवं शहरी कार्य मंत्री हरदीप पुरी व सूचना एवं प्रसारण मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने बताया कि इस प्रस्ताव को आगामी संसद सत्र में लाया जायेगा। उन्होंने बताया कि सरकार के इस फैसले से दिल्ली में लगभग 175 वर्ग किलोमीटर में फैली 1797 अनधिकृत कॉलोनियों के 40 से 50 लाख से अधिक निवासियों का सीधा लाभ होगा। हरदीप पुरी ने बताया कि सरकार यह फैसला प्रगतिशील और दूर दर्शी वाला साबित होगा। क्योंकि जो लोग दिल्ली में बेहत्तर जीवन-यापन के लिये आये थे पर उनको तमाम सुविधाये नहीं मिल पा रही थी लेकिन अब कच्ची कॉलोनियों के पास होने से मजबूत मकान वाला हक मिल जायेगा ।
फिलहाल जो भी किन्तु परन्तु हो पर दिल्ली में सालों साल से रह रहे अनधिकृत कॉलोनियों वालों में खुशी की लहर है। नियमित कॉलोनियों का प्रारूप ऐसे होगा।
आगामी माह की 18वें नवंबर का शुरू हो रहे शीतकालीन सत्र में पेश किया जायेगा।
दिल्ली विकास प्राधिकरण डीडीए लोकल एरिया का प्लान बनाएगी।फिर रजिस्ट्ेन की प्रक्रिया शुरू होगी। कानून बनने पर सरकारी जमीन पर बसी कॉलोंनियों को सर्कल रेट के आधार पर देना होगा शुल्क और प्राइवेट का रेट आधा होगा
सीवर लाइने बिछेंगी, सडकें बनेगी और पार्क जैसे विकास के काम होगे मूल भूत सुविधायें मुहैया करायी जायेगी।
सम्पति की खरीद -फरोख्त को कानूनी दर्जा मिलेगा और मामूली रेट पर रजिस्ट्ी होगी।
इस बारे में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल का कहना है कि अब केन्द्र सरकार को देरी नहीं करनी चाहिये क्योंकि दिल्ली सरकार रजिस्ट्ी का काम जल्दी शुरू कर देगी। उन्होंनेे कहा कि दिल्ली सरकार द्वारा भेजे गये आधार पर केन्द्र सरकार ने रोड मैप तैयार किया है।
दिल्ली भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष मनोज तिवारी ने कहा कि आज दिल्ली वालों के लिये खुशी का दिन है। क्योंकि भाजपा और केन्द्र सरकार के अथक प्रयास से दिल्ली में रहे अनधिकृत कॉलोनी वालों को मालिकाना हक के साथ विकास करने का मौका मिलेगा।
फिलहाल अनधिकृत कॉलोनियों में अभी भी है कई चुनौतियां
नये सिरे से कॉलोनियों का मास्टर प्लान बनाना होगा। जिसमें कई तरह की अडचनें आएगी।
संपति के दस्तावेजों के आधार पर दी जायेगी मान्यता और सबसे बड़ी बात ये है कि बिना सीमा के आधार पर बनेगा लोकल एरिया। ऐसे में काफी समय लग सकता है सीमाओं को निर्धारित करने में।
जबकि वनक्षेत्र, पुरातत्व स्मारक और सडक़े मार्ग में आने वाले घर नहीं होगे अधिकृत, सैनिक फार्म हाउस बसंतकुंज और 69 कॉलोनियों जो महरौली में रह रहे लोगों को नहीं मिलेगा मालिकाना हक।
स्थानीय निवासियों का कहना है कि केन्द्र सरकार ये फैसला दिल्ली वालों के लिये राहत वाला है। अनधिकृत कॉलोनी में रहने वाले गोविन्द ने बताया कि अब मालिकाना हक मिलने से खुशी होगी।