कांग्रेस से अलग होने के बाद वरिष्ठ नेता गुलाम नबी आज़ाद आजकल अपने गृह सूबे में नई पार्टी बनाने की संभावनाएं टटोल रहे हैं। एक कार्यक्रम में जब उन्होंने आतंकियों से हथियार छोड़ने की अपील की तो उन्हें यह कहकर जान से मारने की धमकी मिली है कि उन्होंने सूबे में आने से पहले गृह मंत्री अमित शाह और एनएसए अजित डोवल से मुलाकात की थी। अब आज़ाद ने सफाई दी है कि वे कभी डोवल से नहीं मिले।
आज़ाद ने हाल में यह भी कहा था कि जम्मू कश्मीर में अब धारा 370 कभी बहाल नहीं होगी। इसके बाद भी उनके खिलाफ कश्मीर में नाराजगी दिखी थी। हालांकि, उन्हें मिल रही धमकी और डोवल से उनकी मुलाकात को लेकर आज़ाद ने सफाई दी है। आज़ाद ने कहा – ‘मैं कभी भी अजित डोवल से नहीं मिला हूं। मैं खुदा की कसम खाता हूं। हां, मैं अमित शाह मिला हूं क्योंकि वह गृह मंत्री हैं और ये मुलाकात संसद में हुई थी।’
उनकी पुरानी पार्टी कांग्रेस पहले से ही उनपर हमलावर है और उन्हें भाजपा के इशारों पर नाचने वाला नेता बता रही है। कांग्रेस का कहना है आज़ाद ‘मोदी-फाईड’ हो गए हैं।
इस बीच आज़ाद को अब आतंकी धमकी मिली है। कश्मीर के अनंतनाग जिले के डाक बंगले में कल एक जनसभा में आजाद ने कहा कि उन्हें ऐसी जानकारी मिली है कि लश्कर-ए-तैयबा (एलईटी) से जुड़े ‘द रेजिस्टेंस फ्रंट’ ने उन्हें जान से मारने की धमकी दी है।
आजाद ने कहा – ‘मैंने ऐसी रिपोर्ट के बारे में सुना है कि आतंकी मुझे मारने की धमकी दे रहे हैं। वे कह रहे हैं कि मैं यहां आने से पहले गृह मंत्री अमित शाह और एनएसए अजित डोवल से मिला था। लेकिन डोवल से मुलाकात की गलत है। जहाँ तक गृह मंत्री शाह से मिलने की बात है मैं विभिन्न दलों के नेताओं से मिलता हूं क्योंकि यह मेरे काम का हिस्सा है’।