अप्रैल 2019 का एक सीसीटीवी फुटेज सामने आया है। ये वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया है। दरअसल यह वीडियो हैदराबाद उच्च न्यायालय के पूर्व न्यायाधीश की बहू सिंधु शर्मा द्वारा जारी किया गया है। इस वीडियो में देखा जा सकता है कि पूर्व न्यायाधीश नूटी राम मोहन राव, उनकी पत्नी नूटी दुर्गा जया लक्ष्मी और बेटा बहू सिंधू शर्मा की प्रताडि़त कर रहे है। इस हंगामे के बीच दो बच्चे अपनी मां को बचाने की पूरी कोशिश करते है।
ये भयावह दृश्य 30 वर्षीय सिंधू शर्मा द्वारा पहले और ससुराल वालों के खिलाफ दहेज उत्पीड़त के मामले में डाले गए सीसीटीवी वीडियो का हिस्सा है। शर्मा ने हैदराबाद के सेंट्रल क्राइम स्टेशन में शिकायत दर्ज की थी, जिसमें दावा किया गया था कि पूर्व न्यायाधीश, उनकी पत्नी और बेटा कई वर्षों से दहेज को लेकर उन्हें मानसिक और शारीरिक रूप से परेशान कर रहे थे।
राममोहन राव हैदराबाद उच्च न्यायालय में वरिष्ठ न्यायाधीश थे, अगस्त 2017 में मद्रास उच्च न्यायालय में सेवा देते हुए वे सेवानिवृत हुए। उन्हें 2016 में हैदराबाद उच्च न्यायालय में स्थानांतरित कर दिया गया था। पिछले साल अप्रैल में सिंधु घर से बाहर निकालने और शिकायत दर्ज करने में कामयाब रही थी। यह मांग करते हुए कि बच्चों को उसे सौंप दिया जाए उसने उनके निवास के सामने विरोध भी किया था।
हालांकि दहेज उत्पीडऩ मामले ने एक और मोड़ लिया जब सिंधु शर्मा ने वीडियो जारी किया। शर्मा ने आरोप लगाया, ‘‘यह एक बुरा सपना है जिसे मैं कभी भूल नहीं सकती। मेरे घर से बाहर निकलने में कामयाब होने से पहले यह सीसीटीवी फुटेज उनके घर की है। उन्होंने मुझे उस जगहों पर मारा, जहां मैं आपको नहीं बता सकती।’’
उन्होंने कहा कि ‘‘एक बार जब मैं अपने कमरे में सो रही थी। वह अन्दर आया और मुझ पर हमला करने लगा। कारण उन्हें (उसके पति) पदोन्नत नहीं किया गया था। मेरी सास उन्हें उकसा रही थी।’’ वीडियो में समय सीमा 23.30 बजे दिखाई देती है। जैसे ही शर्मा बचने के लिए दरवाजे पर पहुंचने की कोशिश करती है, उसका पति उसे पकड़ लेता है और उसे मारता है। शर्मा फिर से दरवाजे तक पहुंचने की कोशिश करती है। उसे खींचकर सोफे पर धकेल दिया जाता है। वीडियो मे एक दूसरा बुजुर्ग व्यक्ति उसे सोफे पर धक्का देता है और उसे कुछ समझाने की कोशिश करता है। वीडियो में एक अन्य महिला, सिंधु शर्मा को पकड़े हुए है, वह उसे दरवाजे तक पहुंचने से रोकने की कोशिश करती है पीडि़ता के मुताबिक वह महिला घर की नौकरानी है।
सिंधु शर्मा को फर्श पर घसीटा जाता है। उसे मुख्य दरवाजे से दूर धकेल दिया जाता है। यह सब तब होता है जब उसके दो और चार साल के बच्चे सदमे में यह सब देखते है। एक जगह चार वर्षीय बच्चा अपनी मां को बचाने आता है लेकिन उसके पिता द्वारा उसे दूर कर दिया जाता है। ‘‘मैं मदद के लिए चिल्ला रही थी। मेरी बड़ी बेटी का नाम पांडु है इसलिए मैंने उसका नाम चिल्लाते हुए उसे मदद करने को कहा। वह सो रही थी और वह उठकर हॉल में आई। आप देख सकते है कि वे उसे दूर ले गए। उन तीनों (ससुर, सास, पति) ने इकट्ठे होकर मुझ पर हमला किया।
जैसे ही सिंधु शर्मा जवाबी कार्रवाई करने के लिए उठती है बुजुर्ग व्यक्ति, कथित तौर पर मद्रास उच्च न्यायालय का सेवा निवृत जज नूटी राममोहन राव, उसका बाजू पकडक़र उसे रोकने की कोशिश करता है और उसे सोफे पर धकेल देता है। इस बीच सिंधु शर्मा की बेटी वीडियो में मां के पैर से टकराती हुई दिखाई दे रही है। इस स्तर पर एक अन्य महिला कमरे में आती है और सिंधु को फर्श पर खींचती है बच्चा असहाय और भ्रमित सा अपनी मां को गिरते हुए देखता है कुछ समय बाद सिंधु की बड़ी बेटी कमरे में आती है लेकिन उसका पिता उसे वापिस कमरे में भेज देता है।
जब सिंधु को अस्पताल ले जाया जा रहा था तो उन्होंने आरोप लगाया कि मेरी सास चिल्लाती रही कि मैं पागल हूं और मुझे इलाज की ज़रूरत है। मेरे कपड़े फट गए थे और मैंने उन्हें अपने शरीर को ढकने के लिए कुछ देने के लिए कहा, उन्होंने मेरे ऊपर एक चादर डाल दी। अपोलो अस्पताल की रिपोर्ट ने कहा गया कि सिंधु के दाहिने कंधे, ऊपरी होंठ और दाहिने हाथ पर चोट के निशान थे।
उस रात अपोलो अस्पताल द्वारा दर्ज किए गए मेडिकल मामले के अनुसार शर्मा के शरीर पर चोट के निशान थे, मीडिया रिपोर्टस के मुताबिक सहायक पुलिस आयुक्त के श्रीदेवी ने कहा कि यह वीडियो दस्तावेजी सबूत होगा।
हैदराबाद में सेंट्रल क्राइम स्टेशन मेें पूर्व न्यायाधीश, उनकी पत्नी, बेटे और नौकरानी के खिलाफ मामला दर्ज किया गया। यह मुकदमा भारतीय दंड संहिता की धारा 498ए (पति और रिश्तेदारों द्वारा क्रूरता), 323 (स्वेच्छा से चोट पहुंचाने) और 406 और दहेज निषेघ अधिनियम के तहत यह मामला दर्ज किया गया।
पुलिस ने कहा, हमने आरोपियों के लिए दंड प्रक्रिया संहिता (सीआरपीसी) की धारा 41ए (वारंट के बिना गिरफ्तारी) के तहत नोटिस जारी किए है। मामले की जांच चल रही है और गवाहों की जांच की जा रही है। पीडि़ता और उसके परिवार को उम्मीद है कि मारपीट का वीडियो लोगों के सामने पेश करने से मामले में तेजी आएगी। वे उम्मीद कर रही है कि भारतीय दंड संहिता के तहत नई धाराएं जैसे उस धारा 307 हत्या करने का प्रयास और धारा 354 को मामले में जोड़ा जाएगा। जज राममोहन राव, उनकी पत्नी और बेटे को बहू द्वारा शिकायत के आधार पर घरेलू हिंसा के लिए बुक किया गया था। शिकायतकर्ता ने आरोप लगाया कि वह 2012 में पूर्व न्यायाधीश के बेटे से शादी के बाद से दहेज उत्पीडऩ का सामना कर रही है। उसके पति द्वारा तलाक की मांग के बाद उसने यह वीडियो जारी किया।
यह मामला हैदराबाद में सेंट्रल क्राइम स्टेशन में दर्ज किया गया था। पुलिस ने कहा कि उन्होंने कुछ गवाहों की जांच की और कुछ आरोपियों को नोटिस जारी किया। महिला संगठनों ने पूर्व न्यायाधीश के आवास के सामने धरना भी दिया और उनकी गिरफ्तारी की मांग की। सीसीटीवी फुटेज के वायरल होने के साथ मामला आने वाले दिनों में तेजी पकड़ सकता है।