देश में कोरोना के मामलों में हर रोज कमी आने से
दिल्ली के बाजारों में रौनक लौटने लगी है। बताते चलें
कोरोना के बढ़ते मामलों के चलते दिल्ली में सप्ताह में
दो- दिन शनिवार और रविवार को लाँकडाउन लगने से
दिल्ली के बाहर से लोगों का आना –जाना बंद रहा है।
सर्दी के मौसम के गर्म कपड़े तक नहीं बिक पाये है।
दिल्ली चांदनी चौक के व्यापारी विजय प्रकाश जैन का
कहना है कि कोरोना महामारी का कहर कुछ ऐसा रहा
है। कि गत दो सालों से व्यापारियों को काफी नुकसान
उठाना पड़ा है। उनका कहना है कि आलम तो ये है।
कि व्यापारियों को अपने पास रखे माल को सस्ते दामों
तक में बेंचना पड़ा है। जिससे व्यापारियों को नुकसान
उठाना पड़ा है। सरोजनी नगर मार्केट के अध्यक्ष अशोक
रंधावा का कहना है कि कोरोना के कारण लाँकडाउन की
वजह से छोटा-बड़ा व्यापारी काफी परेशान रहा है।उनका
कहना है कि मौजूदा समय में सरकारी दफ्तरों के खुलने
से बाजारों में खरीददार तो आने लगे है। उन्होंने बताया
कि सर्दी के मौसम के कपड़े और शादी विवाह के कपड़े
तक लाँकडाउन , आँड-ईवन और बाजारों को आठ बजे
तक खुलने के कारण बिक्री काफी कम हुई है। कई
दुकान दारों को तो अपनी दुकान तक का किराया
निकालना मुश्किल हो रहा है।
लक्ष्मी नगर बाजार एसोसिएशन के पदाधिकारी अमन
गुप्ता का कहना है कि इन दिनों बाजारों में इस बात
की खुशी देखी जा रही है। कि दिल्ली में गांव-गांव और
कस्बों –कस्बों तक से फिर से व्यापारी आने लगे है।जो
कोरोना के भय के कारण नहीं आ रहे थे। उनका कहना
है कि सरकार अगर कोरोना को लेकर जो भी पाबंदियां
लगाये। लेकिन व्यापारियों को कुछ राहत दें। ताकि
व्यापारियों का काम चलता रहे और आर्थिक हालत भी
ठीक रहे ।साथ ही सरकार को राजस्व मिलता रहे।