सीबीआई विवाद पर कांग्रेस ने भाजपा पर एक और हमला बोला है। लोक सभा में कांग्रेस संसदीय दल के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने सीबीआई के निदेशक पद से आलोक वर्मा को हटाए जाने को ‘शर्मनाक घटना’ बताया है। गुरूवार को मीडिया से बातचीत में खड़गे ने कहा की यदि कोइ विवाद था तो सरकार को इसे संबंधित कमेटी में लाना चाहिए था।
वरिष्ठ कांग्रेस नेता ने कहा कि निदेशक को इस तरीके से हटाने का अधिकार किसी को नहीं। खड़गे ने कहा कि ”पीएम और सबसे बड़ी विपक्षी पार्टी के नेता के तौर पर मैं उस सलेक्शन कमिटी का हिस्सा हूं, जो सीबीआई डायरेक्टर की नियुक्ति करती है। इस तरह से निदेशक को हटाना बिल्कुल गलत है”। उन्होंने आरोप लगाया कि सीवीसी को भी दबाव में लाया गया होगा। वो पहली बार टीवी पर आकर सफ़ाई दे रहे हैं कि उनको अधिकार है पर सीवीसी को अधिकार नहीं। ”पीएम को शुरु से देखना चाहिए था”। खड़के ने कहा कि वे सीबीआई, सीवीसी और कुछ और अन्य समितियों का हिस्सा हैं लेकिन उन्हें स्थाई सदस्य के तौर पर लोकपाल समिति में शामिल नहीं किया गया है। खड़गे ने कहा – ”चार साल छह महीने में इतने घोटाले किए गए हैं कि इनको (भाजपा) को रात में नींद नहीं आती। वे रात में ही ऐसी कार्रवाई करते हैं”।
कांग्रस नेता ने कहा कि ”राफेल पर मेमोरेंडम लेकर हम जांच की मांग के लिए जाने वाले थे। यह बात पीएम को पसंद नहीं होगी। मैने तीन पेज की चिट्ठी पीएम को इस बारे में लिखी है”। खड़गे ने कहा कि सरकार घिर रही है क्योंकि उसकी नियत साफ़ नहीं है।