महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव के नतीजे भले ही बीजेपी- शिवसेना महागठबंधन के पक्ष में रहे होंं लेकिन इस पॉलिटिकल मैच मेंं शरद पवार ‘मैन ऑफ द मैच’ के रूप में उभरे। यह मानने मे कोई गुरेज़ नहीं कर सकता कि यह उनके प्रचार का नतीजा था कि बीजेपी महागठबंधन का ‘अबकी बार 220 पार’ का मंसूबा धरा का धरा ही रह गया।
सातारा में शरद पवार ने प्रचार सभा में जिस तरह बारिश में भीगते हुए भाषण किया उसने काफी हद तक चुनाव की तस्वीर बदल कर रख दी।देखते ही देखते बारिश में भीगते हुए शरद पवार सोशल मीडिया पर छा गए ।और इसका असर सतारा में हुए मध्यावधि चुनाव के नतीजों पर पड़ा। शिवाजी महाराज के वंशज उदयनराजे भोसले ने एनसीपी छोड़ बीजेपी में ज्वाइन कर ली। यह शरद पवार और एनसीपी के लिए एक बड़ा झटका था।
भोसले ही नहीं बीजेपी को भी पूरा पूरा भरोसा था जीत का। लेकिन शरद पवार के करीबी श्रीनिवास पाटिल ने उनके इस भरोसे की धज्जियां उड़ा दी। देवेंद्र फडणवीस ने भी भोसले की हार से आहत होने की बात स्वीकारी है । बीजेपी- शिवसेना महागठबंधन राज्य में 220 सीटों का दावा करते रहे लेकिन ऐन मौके पर 80 वर्षीय पवार के धुआंधार प्रचार और बारिश में भीगते हुए एक भाषण ने उनकी विजय यात्रा को 160 में रुका दिया। राजनीति के जानकार अब कहने लगे हैं शरद पवार की करिश्माई व्यक्तित्व को हावी होने से रोका नहीं जा सकता।
नतीजों के बाद सोशल मीडिया पर शरद पवार ‘मैन ऑफ द मैच’ के तौर पर उभरते नजर आए। जिस तरह से क्रिकेट मैच टीम के हारने पर भी उस टीम के एक अच्छे खिलाड़ी की धुआंदार पारी के चलते वह ‘मैन ऑफ द मैच’ का हकदार बनता है उसी तरह शरद पवार भी ‘मैन ऑफ द मैच’ के हकदार हैं ।