सभी बीमा कंपनियों को मानसिक बीमारियों को बीमा पॉलिसियों के दायरे में लाने का प्रावधान करने का निर्देश दिया गया है।
भारतीय बीमा नियामक एवं विकास प्राधिकरण (इरडा) ने की ओर से 16 अगस्त को जारी आदेश में कहा गया है कि ‘मानसिक स्वास्थ्य सुरक्षा कानून-2017, 29 मई, 2018 से अस्तित्व में आया है।
पीटीआई भाषा की एक रिपोर्ट के मुताबिक़ कानून की धारा 21(4) में कहा गया है कि सभी बीमा कंपनियों को मेडिकल बीमा के तहत मानसिक रोग के इलाज का भी प्रावधान करना होगा। यह अन्य बीमारियों के लिए उपलब्ध सुविधा के अनुरूप ही होगा।
आदेश में ये भी कहा गया है कि सभी बीमा कंपनियों को मानसिक स्वास्थ्य सुरक्षा कानून, 2017 के इस प्रावधान का अनुपालन तत्काल प्रभाव से करना होगा।
ये भी बता दें कि आदेश के अनुसार मानसिक स्वास्थ्य सुरक्षा कानून-2017 के तहत मानसिक रोग से पीड़ित किसी भी व्यक्ति को अन्य प्रकार की बीमारियों से प्रभावित व्यक्ति के समान ही माना जाएगा।