महाराष्ट्र में सरकार बनाने की कवायद तेज।
महाराष्ट्र के चीफ मिनिस्टर देवेंद्र फडणवीस के इस दावे के साथ कि शिवसेना के साथ इस तरह से कोई चर्चा नहीं हुई थी जिसमें बारी-बारी से ढाई ढाई साल तक चीफ मिनिस्टरशिप देने का वादा किया गया था, महाराष्ट्र की राजनीति तेजी से गर्मा गई है। उन्होंने यह भी कहा कि अगले 5 साल तक वही चीफ मिनिस्टर बने रहेंगे। दूसरी तरफ शिवसेना के सांसद संजय राउत के इस बयान के साथ कि महाराष्ट्र में कोई दुष्यंत चौटाला नहीं है जिसके पिता जेल में जेल में है ने भी शिवसेना का रुख साफ कर दिया है कि वह किसी भी हालत में झुकने को तैयार नहीं है। माना जा रहा है कि शिवसेना एनसीपी के साथ गठबंधन बनाकर सरकार बनाने की सोच में है। शिवसेना ने इसे अपने प्लान बी के तौर पर रखा हुआ है। यह बात जुदा है कि शिवसेना की तरफ से इस बाबत कोई स्टेटमेंट जारी नहीं किया जा रहा है। गौरतलब है कि चुनाव के नतीजे आने के बाद एनसीपी के प्रवक्ता नवाब मलिक ने कहा था कि शिवसेना, एनसीपी और कांग्रेस मिलकर सरकार बना सकती है। हालांकि उस समय शिवसेना ने इस स्टेटमेंट को कोरी गप्प कहा था।
देवेंद्र फडणवीस ने साफ कर दिया है महागठबंधन की सरकार बीजेपी के नेतृत्व में ही बनेगी। कल होने जा रही बीजेपी के बैठक में विधानमंडल का नेता चुन लिया जाएगा।
लेकिन फडणवीस के शिवसेना संग बारी बारी से चीफ मिनिस्टरशिप की डील न होने के दावे को ऑफ द रिकॉर्ड बताया जा रहा है। चीफ मिनिस्टर का कहना था कि पिछले 30 वर्षों में सबसे बेहतर स्ट्राइक रेट बीजेपी का है। उन्होंने कहा कि उनके पास कोई प्लान B नहीं है,प्लानA ही है और उसी में वह सफल होंगे।
बीजेपी सूत्रों का मानना है कि कल अमित शाह बैठक में नहीं आ रहे हैं। लेकिन सरकार बनाने की सारी कवायद चल रही हैंं। चीफ मिनिस्टर ने कहा कि शिवसेना के साथ चर्चा जरूर होगी और दोनों पक्ष अपनी अपनी बातें रखेंगे। शिवसेना की मांगों पर भी चर्चा होगी लेकिन मेरिट पर सारी बातें तय की जाएंगी। सीएम फडणवीस ने दावा किया है कि उन्हें 15 इंडिपेंडेंस एम एलएस का समर्थन मिल रहा है। उधर शिवसेना के हेड क्वार्टर मातोश्री में चुने गए एमएलए की मीटिंग हुई जिसमें एक सुर से मांग किया गया कि अगला चीफ मिनिस्टरशिप आदित्य ठाकरे को ही मिलना चाहिए और शिवसेना को इस बार नहीं झुकना चाहिए।