अगले साल शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) की मेजबानी भारत करेगा। इसका संकेत शुक्रवार को समरकंद में मिला जब चीन के राष्ट्रपति शी चिनफिंग ने भारत को एससीओ की अध्यक्षता ग्रहण करने पर बधाई दी। दोनों नेताओं ने इस अवसर पर मुस्कुराते हुए हाथ भी मिलाया।
शिखर सम्मेलन के पहले दिन पीएम मोदी, रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन, चीन के राष्ट्रपति शी चिनफिंग और शंघाई सहयोग संगठन के अन्य सदस्य देशों के नेताओं ने समरकंद में क्षेत्रीय सुरक्षा की स्थिति और व्यापार और संपर्क बढ़ाने के तरीकों पर विचार-विमर्श किया। एससीओ समूह के देश दुनिया की 40 फीसदी आबादी और 30 फीसदी वैश्विक जीडीपी का प्रतिनिधित्व करते हैं।
भारत के अगले एससीओ की मेजबानी करने का संकेत तब मिला जब चीन के राष्ट्रपति चिनफिंग ने मोदी को इसके लिए बधाई दी। दोनों नेताओं ने इस अवसर हाथ मिलाया। चिनफिंग ने कहा – ‘चीन अगले साल सम्मेलन आयोजित करने में भारत की मदद करेगा।’
चिनफिंग के बयान से लगता है कि अगला एससीओ सम्मेलन भारत में होगा। भारत-चीन के बीच लद्दाख सीमा पर सैन्य तनाव होने के बाद दोनों देशों के राष्ट्राध्यक्ष पहली बार आमने-सामने मिले हैं।
उधर वार्षिक सम्मेलन में पीएम मोदी ने कहा – ‘हम भारत को मैन्युफैक्चरिंग हब बनाना चाहते हैं।’ शिखर सम्मेलन से इतर पीएम मोदी रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के साथ भी द्विपक्षीय बैठक करेंगे। बातचीत का एजेंडा व्यापार और राजनीति होगा।