राजघाट पर कांग्रेस का ‘सत्याग्रह’

राहुल, सोनिया, मनमोहन ने पढ़ी संविधान की प्रस्तावना

झारखंड में जेएमएम के साथ मिलकर भाजपा को सत्ता से उखाड़ने के बीच कांग्रेस ने सोमवार शाम राजधानी दिल्ली में नागरिकता संशोधन कानून के खिलाफ राजघाट पर धरना ”सत्याग्रह” आयोजित किया। इसमें कांग्रेस की पूरी लीडरशिप शामिल हुई जिसमें पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी, कार्यकारी अध्यक्ष सोनिया गांधी, पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन  शामिल हैं।

कांग्रेस के दो मुख्यमंत्रियों, मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री कमलनाथ और राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत, ने अपने-अपने राज्यों में नागरिकता संशोधन क़ानून को लागू नहीं करने का ऐलान किया। राहुल गांधी, सोनिया गांधी, मनमोहन सिंह और महासचिव प्रियंका गांधी ने राजघाट पर इस धरने के दौरान संविधान की प्रस्तावना पढ़ी।

कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने इस मौके पर कहा कि वह और उनकी पार्टी के लोग नागरिकता संशोधन कानून के खिलाफ आंदोलन में ”शहीद” हुए लोगों के नाम पर संकल्प लेते हैं कि वे संविधान की रक्षा करेंगे। राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के समाधि स्थल राजघाट पर कांग्रेस की ओर से आयोजित ”सत्याग्रह” में प्रियंका ने संविधान की प्रस्तावना हिंदी में पढ़ी।

उन्होंने नागरिकता संशोधन कानून विरोधी प्रदर्शन के दौरान जान गंवाने वाले उत्तर प्रदेश के दो युवकों का उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि बिजनौर का २२ साल का अनस कॉफी की मशीन चलाकर परिवार चलाता था। हाल में उसकी शादी हुई थी। और २१ साल का सुलेमान यूपीएससी की तैयारी कर रहा था। उसकी मां ने कल मुझसे कहा कि मेरा बेटा देश के लिए शहीद हुआ है। जो लोग इस आंदोलन में शहीद हुए हैं उन सबके नाम हम संकल्प लें कि हम संविधान को नष्ट नहीं होने देंगे और इसकी रक्षा करेंगे।’’

इस मौके पर कांग्रेस के तमाम बड़े नेता गुलाम नबी आज़ाद, ज्योतिरादित्य सिंधिया,  अहमद पटेल, आनंद शर्मा आदि भी मौजूद थे। गौरतलब है कि नागरिकता क़ानून के खिलाफ कुछ रोज पहले कांग्रेस ने दिल्ली के रामलीला मैदान में बड़ी रैली की थी। इसमें पीएम मोदी और गृहमंत्री अमित शाह पर जमकर निशाना साधा गया था।

इसके बाद रविवार को भी कांग्रेस ने एनआरसी के संबंध में बयान जारी कर पीएम मोदी से सवाल किया था क्या उनके और गृह मंत्री मंत्री अमित शाह के बीच सामंजस्य नहीं है या फिर दोनों मिलकर देश को बेवकूफ बना रहे हैं। पार्टी प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने अपने ट्वीट में कहा था – ”साहेब दिल्ली में बोलते हैं कि एनआरसी पर कोई डिस्कशन नहीं हुआ, पर २८ नवंबर को झारखंड चुनाव के घोषणापत्र में भाजपा  एनआरसी लागू करने का वादा करती है। सच कौन बोल रहा है।”