ओपन एआ के सीईओ सैम अल्टमैन ने एआई के खतरे पर सरकारों द्वारा नियामक हस्तक्षेप पर दिया जोर

पिछले साल ओपन एआई ने चैट जीपीटी को लॉन्च किया था और तभी से यह चर्चा का विषय बना हुआ है। लोगों के मन में एक डर है कि चैट जीपीटी से उनकी नौकरी खतरे में है।

ओपन एआई के सीईओ सैम अल्टमैन ने सोमवार को एक संसदीय पैनल में हिस्सा लिया और कृत्रिम बुद्धिमत्ता से समाज को होने वाले खतरों व चेतावनियों पर भी विचार-विमर्श किया।

सैम अल्टमैन ने कहा कि, “उनके चैटबॉट ने दुनिया को चौंका दिया है। जिसके बाद आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस को विनियमित करना आवश्यक था। एआई से होने वाले जोखिमों को कम करने के लिए सरकार का इसमें हस्तक्षेप करना बेहद महत्वपूर्ण होगा।“

अल्टमैन ने सुनवाई के दौरान कहा कि, आई के वैश्विक चेहरे अल्टमैन ने चेतावनी दी है कि कृत्रिम बुद्धिमत्ता में हमारे जीवन के लगभग हर पहलू को बेहतर बनाने की क्षमता है लेकिन यह गंभीर जोखिम भी पैदा करता है।

उन्होंने जोर देकर आगे कहा कि, समय के साथ आई एक दिन मानव जीवन की कुछ सबसे बड़ी चुनौतियों का समाधान करेगी, जैसे जलवायु परिवर्तन और कैंसर का इलाज। दूसरी ओर यह बड़े स्तर पर लोगों की नौकरी जाने की वजह भी बनेगा।

सैम अल्टमैन ने सुझाव देते हुए कहा कि, एआई मॉडल जारी करने से पहले अमेरिकी सरकार लाइसेंसिंग और परीक्षण आवश्यकताओं के संयोजन पर विचार कर सकती है। उन्होंने कहा कि एआई के खतरे को कम करने के लिए वैश्विक स्तर पर कुछ करने की जरूरत है लेकिन अमेरिका को नेतृत्व करना चाहिए।