आईआईटी कानपुर के अध्ययन और अनुमान के हिसाब से बताया गया था कि दिल्ली और यूपी में कोरोना खत्म होने की कगार पर है। और अगले दो हफ्तों के बाद इन दोनों ही राज्यों में प्रतिदिन दस से कम नए मरीज मिलने का दावा किया गया था। इसी बीच, तीसरी लहर के सितंबर में पीक पर होने की भी आशंका जताई जा रही है।
स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा कि महाराष्ट्र के रत्नागिरी और जलगांव जिलों के जीनोम सिक्वेंसिंग में इस वायरस के होने की पुष्टि हुई है। वहीं, केरल के पलक्कड़ और पथनमथिट्टा जिले, और मध्य प्रदेश के भोपाल और शिवपुरी जिले में भी डेल्टा स्वरूप पाया गया है। महाराष्ट्र में खतरनाक डेल्टा प्लस के अभी तक 21 मामले सामने आ चुके हैं।
महाराष्ट्र के स्वास्थ्य मंत्री राजेश टोपे ने सोमवार को बताया था कि इस स्वरूप के सबसे अधिक नौ मामले रत्नागिरी, जलगांव में सात मामले, मुंबई में दो और पालघर, ठाणे तथा सिंधुदुर्ग जिले में एक-एक मामला सामने आया है। उन्होंने बताया कि राज्य के विभिन्न हिस्सों से 7,500 नमूने लेकर जांच के लिए भेजे गए हैं।